उज्जैन। शहर के कोठी रोड स्थित कालिदास अकादमी परिसर में राष्ट्रीय अखिल भारतीय कालिदास समारोह का आयोजन किया गया है. जिसका शुभारंभ प्रदेश के राज्यपाल मंगू भाई पटेल, पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर ने दीप प्रज्ववलित कर किया. इस दौरान उच्च शिक्षा मंत्री मोहन यादव, तुलसी पीठाधीश्वर पद्मविभूषण जगद्गुरु स्वामी रामभद्राचार्य चित्रकूट, सांसद अनिल फिरोजिया भी मौजूद रहे. 7 दिवसीय यह आयोजन एमपी शासन एवं संस्कृति विभाग की देख रेख में विक्रम विश्वविद्यालय, जिला प्रशासन और कालिदास संस्कृत अकादमी मप्र. संस्कृति परिषद मिलकर करता है. जिसमें पहले मां गढ़कालिका की पूजा, कलश यात्रा निकाल कर आम जन को आमंत्रित किया जाता है जिसके बाद चित्रकला, मूर्तिकला व 15 दिवसीय हस्तशिल्प मेले का शुभारंभ किया जाता है. (akhil bhartiya kalidas samaroh)
राज्यपाल ने किया कलाकारों को सम्मानित: राज्यपाल मंगू भाई पटेल ने इस अवसर पर प्रसिद्ध कलाकार राजीव वर्मा मुंबई को रंगकर्म, पद्मभूषण बुधादित्य मुखर्जी कोलकाता को शास्त्रीय गायन, पद्मश्री डॉ. पुरु दधीच इंदौर को शास्त्रीय नृत्य व वसुधेव कामथ मुंबई को रूपांकन के लिए सम्मानित किया. मौके पर राज्यपाल ने कहा आज का युवा सिर्फ विराट कोहली और एक्टर को जानता है विद्वानों को नहीं. उन्होने सरकार को धन्यवाद देते हुए कहा कि सरकार के ऐसे आयोजन युवा पीढ़ी को विद्वानों की ओर आकर्षित करते है. मंत्री उषा ठाकुर ने कहा कि हमें एक न एक विद्वान कि तस्वीर घर मे लगाना चाहिए. (kalidas samaroh 2022)
एक नजर अखिल भारतीय कालिदास समारोह पर: महाकवि कालिदास की आराध्य देवी गढ़कालिका की प्रार्थना कर समारोह का आरंभ किया जाता है और उसी दिन शाम में नांदी नगाड़ा व संगीत की प्रस्तुति देकर देवताओं का आव्हान किया जाता है. अगले दिन शाम 7 बजे परंपरा अनुसार सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है जिसका समापन इस वर्ष 10 नवंबर को होगा. देश के अलग अलग राज्यो से कलाकार अपने राज्य की संस्कर्ति को संस्कृत नाटक, कत्थक, के माध्यम से दर्शाने आयोजन में हर वर्ष आते हैं जिसे देखने संस्कर्ति से जुड़े विद्वान, युवा वर्ग व बच्चे भी शामिल होते है. अखिल भारतीय कालिदास समारोह कार्यक्रम 2 नवंबर को गढ़कालिका मां 3 नवंबर को क्षिप्रा घाट व महाकाल मंदिर से कलश यात्रा के माध्यम से नगर को निमंत्रण देकर शुरू किया गया था जिसके बाद 04 से 10 तक होने वाले 7 दिवसीय सांस्कृति कार्यक्रमों में पहले दिन राज्यपाल, संस्कर्ति व पर्यटन मंत्री उच्च शिक्षा मंत्री ने चित्रकला व मूर्तिकला का शुभारंभ किया.
04 नवंबर से 10 नवंबर के कार्यक्रम के बारे में जानिए: (kalidas samaroh 7day programs)
04 नवंबर - संस्कृत नाटक मालविकाग्निमित्रम की प्रस्तुति देखी गई.
05 नवम्बर- आयुर्धा शर्मा द्वारा शास्त्रीय नृत्य कथक, पद्मभूषण बुधादित्य मुखर्जी द्वारा सितार वादन की प्रस्तुति दी जाएगी.
06 नवम्बर- भुवनेश्वर के गजेंद्र पंडा के निर्देशन में ओडीसी की प्रस्तुति दी जाएगी. कोलकाता के पियाल भट्टाचार्य के निर्देशन में हिन्दी नाटक विक्रम संवतसर की प्रस्तुति होगी.
07 नवम्बर- उज्जैन के डॉ.हरिहरेश्वर पोद्दार के द्वारा शास्त्रीय नृत्य कथक, विशाल कलंबकर के निर्देशन में मालवी नाटक मालवा कीर्ति गाथा की प्रस्तुति होगी.
08 नवम्बर- उज्जैन की डॉ.खुशबू पांचाल द्वारा कथक की प्रस्तुति, त्रिवेंद्रम की मैथिल देविका द्वारा नृत्य मोहिनीअट्टम की एकल प्रस्तुति दी जाएगी.
09 नवम्बर- उज्जैन की आयुषी त्रिवेदी द्वारा कथक की प्रस्तुति, कोलकाता की कौशिकी चतुर्वेदी द्वारा शास्त्रीय गायन किया जाएगा.
10 नवम्बर- उज्जैन की डॉ.वर्षा अग्रवाल का संतुर वादन, नई दिल्ली की संध्या पुरेचा के निर्देशन में नृत्य नाटिका भरतनाट्यम शैली में ऋतु संहार की प्रस्तुति होगी.
अखिल भारतीय कालिदास समारोह में विदेशी कलाकारों ने दी मनमोहक प्रस्तुति
समारोह में सारस्वत आयोजन भी होंगे: अखिल भारतीय कालिदास समारोह के अन्तर्गत सारस्वत आयोजन में 5 नवम्बर को भारतीय संस्कृति की दीपशिखा कालिदास विषय पर आधारित राष्ट्रीय संगोष्ठी का प्रथम सत्र प्रात:10 बजे से आयोजित होगा. दोपहर 2.30 बजे कालिदास समिति विक्रम विश्वविद्यालय द्वारा राष्ट्रीय शोध संगोष्ठी के प्रथम सत्र का आयोजन और शाम 5 बजे भारतीयता के पर्याय कालिदास पर आधारित पं. सूर्य नारायण व्यास व्याख्यानमाला का आयोजन होगा.
6 नवम्बर को भारतीय संस्कृति की दीपशिखा कालिदास पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का द्वितीय सत्र प्रात: 10 बजे से प्रारम्भ होगा. शाम 5 बजे रघुवंश की पाठालोचना पर आधारित व्याख्यानमाला का आयोजन किया जाएगा. 7 नवम्बर को प्रात: 10 बजे संस्कृत कवि समवाय: कार्यक्रम का आयोजन इसके पश्चात दोपहर 2.30 बजे से राष्ट्रीय शोध संगोष्ठी का तृतीय सत्र प्रारम्भ होगा. इसके बाद कालिदास समिति विक्रम विश्वविद्यालय द्वारा विक्रम कालिदास पुरस्कार चयनित शोध पत्र का वाचन किया जाएगा. शाम 5 बजे महाकवि कालिदास व्याख्यानमाला के अन्तर्गत चित्रकला मर्मज्ञ कालिदास के नाटकों में व्यक्ति चित्र पर व्याख्यानमाला आयोजित होगी.
8 नवम्बर को प्रात: 10 बजे से राष्ट्रीय शोध संगोष्ठी का चतुर्थ सत्र इसके पश्चात दोपहर 2 बजे से अन्तरविश्वविद्यालयीन संस्कृत वाद-विवाद प्रतियोगिता शाम 5 बजे से कालिदास की भौगोलिक यात्रा पर व्याख्यानमाला होगी. 9 नवम्बर को प्रात: 10 बजे मालविकाग्निमित्रम से अपनी रूचि अनुसार चयनित श्लोक पर अन्तरमहाविद्यालयीन काव्यपाठ प्रतियोगिता व दोपहर 2 बजे महाकवि कालिदास की रचनाओं में राजवैभव का वर्णन पर आधारित अन्तरमहाविद्यालयीन हिन्दी वाद-विवाद प्रतियोगिता होगी. शाम 5 बजे कालिदास व्याख्यानमाला के अन्तर्गत वैदिक संस्कृति एवं कालिदास पर व्याख्यानमाला आयोजित की जाएगी. 10 नवम्बर को प्रात: 10 बजे कांकरोली के छीतरमल जोशी के निर्देशन में राजस्थानी शैली में भोपा-भोपी चित्रांकन एवं गायन की प्रस्तुति होगी. (ujjain kalidas samaroh) (mangu bhai patel inaugurated kalidas ceremony) (ujjain akhil bhartiya kalidas samaroh) (all india kalidas ceremony in ujjain)