उज्जैन। तपती गर्मी से जिले के राजाधिराज महाकाल को राहत दिलाने के लिए वैशाख माह की शुरुआत पर सात गलंतिकाएं बांधी गई. ये गलंतिका ज्येष्ठ माह की शुक्ल पूर्णिमा तक बंधी रहेगी. जिसमें सतत दो महीने तक मिट्टी के 11 कलश से बाबा महाकाल पर धारा प्रवाहित की जाएगी.
जिले के विश्व प्रसिद्ध महाकालेश्वर मंदिर में भगवान महाकाल को वैशाख और ज्येष्ठ माह की तपती गर्मी में ठंडक प्रदान करने के लिए पुजारी और पुरोहित द्वारा प्रतिवर्ष गलंतिका यानि की मिट्टी के कलश, वैशाख कृष्ण प्रतिपदा से बांधे जाते हैं जो ज्येष्ठ शुल्क पूर्णिमा तक बंधे रहेंगे.
शनिवार को शिवलिंग के ऊपर सतत जलधारा प्रभावित करने के लिए 11 छोटे कलश बांधे गए हैं. इन कलशों पर सतत जलधारा दो माह तक चलेगी. पुजारियों ने बताया की कैलाश निवासी महाकालेश्वर भगवान महाकाल को शीतलता प्रदान करने के लिए इस तरह का प्रयोग गर्मी में किया जाता है. मान्यता है कि इससे तृप्त होकर बाबा महाकाल प्रजा के कल्याण के लिए सुख समृद्धि प्रदान करते हैं.