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उज्जैन में है ज्ञान की देवी का मंदिर, स्याही चढ़ाकर छात्र दूर करते हैं 'स्याह अंधेरा'

बसंत पंचमी के मौके पर उज्जैन के सरस्वती माता मंदिर में छात्र और उनके परिजन स्याही चढ़ाकर माता को खुश करते हैं, माता की पूजा कर वे अच्छे अंकों की प्राप्ति और आशीर्वाद की कामना करते हैं.

Students worship maa Saraswati in Ujjain
सरस्वती मंदिर
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Published : Jan 30, 2020, 5:28 PM IST

Updated : Jan 30, 2020, 5:49 PM IST

उज्जैन। देश में एकमात्र विद्या की देवी मां सरस्वती का मंदिर मध्यप्रदेश के उज्जैन जिले में है, जहां उन्हें स्याही चढ़ाई जाती है. मान्यता है कि प्राचीन सरस्वती मंदिर में बसंत पंचमी के मौके पर छात्र स्याही चढ़ाते हैं, ताकि छात्रों को परीक्षा में ज्यादा अंक मिले और साल भर मां सरस्वती का आशीर्वाद बना रहे.

मां सरस्वती को चढ़ाते हैं स्याही

उज्जैन के सिंहपुरी में स्थित सरस्वती माता के इस मंदिर की मान्यता है कि जो भी भक्त इस मंदिर में स्याही चढ़ाते हैं, उन्हें मां सरस्वती की असीम कृपा मिलती है, इसी के चलते बसंत पंचमी और परीक्षा के दिनों में छात्र-छात्राएं मां सरस्वती की मूर्ति पर स्याही चढ़ाते हैं. ताकि उन्हें अच्छे अंक की प्राप्ति हो.

छात्रों के परिजन भी अपने बच्चों के लिए इस मंदिर में स्याही चढ़ाते हैं, उज्जैन के सिंहपुरी स्थित इस मंदिर की मान्यता है कि बसंत पंचमी पर सबसे ज्यादा लोग मां सरस्वती की पूजा करते हैं, छात्र-छात्राएं भविष्य में आगे बढ़ने और सरस्वती माता का आशीर्वाद बनाए रखने के लिए पूजन व अभिषेक करते हैं.

उज्जैन। देश में एकमात्र विद्या की देवी मां सरस्वती का मंदिर मध्यप्रदेश के उज्जैन जिले में है, जहां उन्हें स्याही चढ़ाई जाती है. मान्यता है कि प्राचीन सरस्वती मंदिर में बसंत पंचमी के मौके पर छात्र स्याही चढ़ाते हैं, ताकि छात्रों को परीक्षा में ज्यादा अंक मिले और साल भर मां सरस्वती का आशीर्वाद बना रहे.

मां सरस्वती को चढ़ाते हैं स्याही

उज्जैन के सिंहपुरी में स्थित सरस्वती माता के इस मंदिर की मान्यता है कि जो भी भक्त इस मंदिर में स्याही चढ़ाते हैं, उन्हें मां सरस्वती की असीम कृपा मिलती है, इसी के चलते बसंत पंचमी और परीक्षा के दिनों में छात्र-छात्राएं मां सरस्वती की मूर्ति पर स्याही चढ़ाते हैं. ताकि उन्हें अच्छे अंक की प्राप्ति हो.

छात्रों के परिजन भी अपने बच्चों के लिए इस मंदिर में स्याही चढ़ाते हैं, उज्जैन के सिंहपुरी स्थित इस मंदिर की मान्यता है कि बसंत पंचमी पर सबसे ज्यादा लोग मां सरस्वती की पूजा करते हैं, छात्र-छात्राएं भविष्य में आगे बढ़ने और सरस्वती माता का आशीर्वाद बनाए रखने के लिए पूजन व अभिषेक करते हैं.

Intro:उज्जैन देश का एकमात्र सरस्वती विद्या देवी का मंदिर जहां चढ़ाई जाती है। भोग में सहाई


Body:उज्जैन देश का एकमात्र सरस्वती विद्या देवी का मंदिर उज्जैन में है यहां सहाई चढ़ाई जाती है बसंत पंचमी के पर्व पर मान्यता है कि प्राचीन सरस्वती के इस मंदिर पर छात्र-छात्राएं सहाई चढ़ाते हैं जिससे छात्र-छात्राओं को परीक्षा में अधिकतम अंकों की प्राप्ति और वर्षभर मां सरस्वती का आशीर्वाद बना रहता है


Conclusion:उज्जैन के सिंहपुरी स्थित सरस्वती माता के इस मंदिर की मान्यता है कि जो भी भक्त इस मंदिर में सहाई चढ़ाते है मां सरस्वती का असीम कृपा की प्राप्ति होती है इसी के चलते बसंत पंचमी और परीक्षा के दिनों में छात्र-छात्राएं मां सरस्वती की मूर्ति पर सहाई चढ़ाते हैं जिससे उन्हें अच्छे अंकों की प्राप्ति होती है इसके अलावा अभिभावक भी अपने अपने बच्चों के लिए इस मंदिर में सहाई चढ़ाते हैं उज्जैन के सिंहपुरी स्थित इस मंदिर की मान्यता है कि बसंत पंचमी पर सबसे ज्यादा पूजा जाता है इस कारण छात्र छात्राएं अपने भविष्य में आगे बढ़ने और सरस्वती माता का आशीर्वाद बनाए रखने के लिए मां सरस्वती का पूजन अभिषेक करते हैं।



बाइट--- अदिति छात्रा

बाइट--- उदित छात्र

बाइट--- गिरिराज चौरसिया पुजारी
Last Updated : Jan 30, 2020, 5:49 PM IST
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