उज्जैन। शहर के नागदा में उत्तर प्रदेश और बिहार संस्कृति से जुड़ाव रखने वाले बड़ी संख्या में लोग निवास करते हैं. इसको लेकर छठ महापर्व को हर वर्ष बड़े उल्लास के साथ मनाया जाता है. चंबल नदी तट पर इस पर्व के दौरान मेले जैसा दृश्य दिखाई पड़ता है, लेकिन कोरोना वायरस को देखते हुए प्रशासन ने इस बार चंबल तट पर छठ पर्व मनाने की अनुमति नहीं दी थी. हालांकि पूर्व विधायक दिलीप सिंह शेखावत ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात कर छठ पर्व चंबल तट पर मनाने की अनुमति मांग ली है.
पूर्व विधायक के प्रयास से मिली अनुमति
छठ पर्व को लेकर समाज द्वारा बार-बार प्रशासन से चंबल तट पर पूजा करने की अनुमति दिए जाने की मांग की जा रही थी. जनप्रतिनिधियों से भी समाज ने छठ पर्व मनाने की अनुमति दिलाए जाने की मांग की गई थी. प्रशासन द्वारा लगातार मांगों के बाद भी जब अनुमति नहीं दी गई, तो पूर्व विधायक दिलीप सिंह शेखावत ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात कर छठ पर्व पर चंबल तट पर आस्था के अनुसार पूजा करने की अनुमति मांगी थी. जिसके बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने तत्काल प्रशासन को निर्देश देकर छठ पर्व की पूजा करने की अनुमति दिए जाने के निर्देश दिए हैं.
नियमों के पालन के साथ होगी छठ पूजा
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा दिए गए निर्देश के बाद प्रशासन ने कड़े नियमों के साथ चंबल तट पर छठ पर्व की पूजा करने की अनुमति दी है. छठ पूजा को लेकर सर्किट हाउस नागदा में एसडीएम आशुतोष गोस्वामी, सीएसपी मनोज रत्नाकर ने आयोजन कार्यकर्ताओं के साथ बैठक की और पर्व मनाने के नियमों से अवगत कराया. नगर पालिका के माध्यम से व्रत रख कर पूजन करने वाली महिलाओ का पंजीयन कर पास जारी किये जाएंगे.
मंगलवार 17 नवंबर को सुबह 10 बजे से इन स्थानों पर मिलेंगे पास
1.दुर्गापुरा(शिमन्दिर)
2. सीब्लॉक(हनुमान मंदिर)
3.रामलीला मैदान(कबड्डी ग्राउंड)
4.मेतवास(पानी की टंकी)
5.गवर्मेंट कॉलोनी(शिवाजी स्कूल)
6.इंद्रपुरी (प्रिंटिग प्रेस)
7. विद्या नगर और मंडी क्षेत्र वालों के लिए नगर पालिका में पास बनेंगे
कार्यक्रम में मास्क लगाना आवश्यक होगा. व्रत पूजन करने वाली महिला के साथ एक ही अटेंडर की अनुमति होगी. घाट पर पूजा को लेकर कोई पक्का निर्माण नहीं किया जाएगा. घाटों पर कोई भी सामाजिक संस्था चाय या नास्ते की व्यवथा नहीं करेगी. सभी स्थलों पर पंजीयन के लिए नगर पालिका एनाउंस करेगी और समिति द्वारा भी प्रचार किया जाएगा.