उज्जैन। बड़नगर रोड स्थित एक कबाड़ की दुकान में रद्दी मिली है, जिसमें हजारों किसानों के जय किसान फसल ऋण माफी योजना के प्रमाण पत्र हैं. महंगे एसीपी सीट पर बने हजारों प्रमाण पत्र ने तत्कालीन कांग्रेस सरकार की पोल खोल कर रख दी. उज्जैन पहुंचे गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने भी इस मामले में तत्कालीन कमलनाथ सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि प्रमाण पत्र ताम्र के हों या कागज के, सरकार पूरी झूठ पर खड़ी थी. आप न मेरी सुनो न ही कांग्रेस की, एक ऐसा किसान लाकर बताओ, जिसका कर्ज माफ हुआ हो. वहीं इसके बाद कांग्रेस प्रदेश सचिव ने तत्कालीन जिम्मेदार अधिकारियों को ऋण माफी पत्र न बांटने का आरोप लगाते हुए जांच की मांग की है.
रद्दी में मिला किसानों को बंटने वाला ऋण माफी प्रमाण पत्र
नरोत्तम मिश्रा ने क्या कहा ?
गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने तत्कालीन कमलनाथ सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि इसका जवाब तो कमलनाथ ही अच्छे से दे सकते हैं. प्रमाण पत्र ताम्र के हों या कागज के, सरकार पूरी झूठ पर खड़ी थी. आप न मेरी सुनो न ही कांग्रेस की, एक ऐसा किसान लाकर बताओ, जिस का कर्ज माफ हुआ हो.
लाखों रुपए के हैं एसीपी के प्रमाण पत्र
कबाड़ में मिले ताम्र पत्र हजारों की संख्या में है. इनकी कीमत लाखों रुपए होने की संभावना जताई जा रही है, जो कि जनता के पैसों से बनाई गई है. इसको लेकर राजनीति आगे देखने को जरूर मिल सकती है.
विधानसभा में हुआ था हंगामा
भोपाल में किसान कर्ज माफी के मुद्दे पर कांग्रेस ने विधानसभा में सरकार पर योजनाओं को बंद करने का आरोप लगाते हुए वॉकआउट किया. विधानसभा में चर्चा के दौरान विपक्ष ने कर्ज माफी का मुद्दा उठाया था. इस पर कृषि मंत्री कमल पटेल ने जवाब देते हुए कहा कि मैं पहले किसान हूं और बाद में विधायक. मंत्री और विधायकों ने जो भी सुझाव दिए हैं और मांग रखी है, मैं उन्हें पूरा करने की कोशिश करूंगा.