शिवपुरी। महिलाओं ने शिक्षा और रोजगार के क्षेत्र में बहुत प्रगति की, लेकिन शादियों में दहेज की समस्या बनी हुई है. पिछले दशकों में लगातार नए बने नए कानूनों के बावजूद इसके रोकने में कोई कामयाबी नहीं मिली है. इस दौर में लड़कियों को अकेले घर से बाहर निकालने में अधिकांश माता-पिता कतराते हैं, लेकिन राजस्थान की एक लड़की बागेश्वर धाम सरकार के पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री से मिलने शिवपुरी पहुंची. राजस्थान की वैष्णवी खत्री का लालमाठी-फतेहपुर पर बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने स्वागत किया. इस दौरान युवती ने दहेज प्रथा को बंद करने की बात कही.
समाज में बेटियों का सम्मान: वैष्णवी खत्री ने बताया कि, इस यात्रा से दहेज प्रथा को रोकने के साथ हिंदू बहनों को जागरूक करने का प्रयास है. वैष्णवी के मुताबिक, राजस्थान में समाज में बेटियों के प्रति काफी सम्मान है. अगर बेटी निर्धन परिवार से है तो उसके संबंध और विवाह का खर्चा ससुराल वाले उठाते हैं. इसके बाद भी पर कई तरह की मदद बेटी के मायके वालों के लिए करते रहते हैं, लेकिन मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में दहेज का अलग ही चलन चलता है. यहां पति पत्नी के रिश्ते को बनाने के लिए उन्हें पैसों से तोला जाता है. बागेश्वर धाम वाले महाराज से मिलकर दहेज प्रथा के खिलाफ आवाज उठाने की मांग करेंगी.
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दहेज प्रथा के खिलाफ पैदल यात्रा: इस मौके पर स्वागत करने पहुंचे समाजसेवी ने कहा कि, यह गर्व की बात की कोई लड़की दहेज प्रथा के खिलाफ बिगुल बजा रही है. उसमें वो एक दिन जरूर सफल होंगी. स्वागत करने वालों में खरई से उनके साथ पैदल चलकर आए खरई बजरंग दल अध्यक्ष मलखानसिंह धाकड़, भाजयुमो मंत्री गोलू सोनी, बजरंग दल संयोजक खरई नरेंद्र वर्मा, संजीव बहादुरा, छोटू बरखेड़ा, विशाल धाकड़ आदि कार्यकर्तागण उपस्थित रहे.