सागर। डॉ. हरि सिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया गया. यह आयोजन दर्शन शास्त्र विभाग के तत्त्वाधान में अद्वैत वेदांत दर्शन विषय था, जिसमें कई देशों के दार्शनिकों ने शिरकत किया. कार्यक्रम का शुभारंभ मध्य प्रदेश के पूर्व सीएम शिवराज सिंह ने किया.
कार्यक्रम में पहुंचे स्वामी परमानंद गिरी महाराज ने कहा कि जानवरों के आचरण पर तो मानव अंकुश लगा सकता है, लेकिन खुद की इंद्रियों पर नहीं. साथ ही कहा- शंकराचार्य के दर्शन को आत्मसात कर मानव इंद्रियों पर विजय पाया जा सकता है. विज्ञान ने मानव जाति को काफी सुविधाएं दी हैं, लेकिन उनका उपयोग सावधानी से करना चाहिए, क्योंकि विज्ञान वरदान भी है और अभिशाप भी.
कार्यक्रम के बारे में पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा की, इस आयोजन के लिए सागर विश्वविद्यालय बधाई का पात्र है. साथ ही उन्होंने कहा- भौतिकता की अग्नि में जलने वाले सम्पूर्ण विश्व को शांति केवल भारतीय पुरातन दर्शन ही दे सकता है.
विश्वविद्यालय के स्वर्णजयंती सभागार में इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया. कार्यक्रम के शुभारंभ दिवस पर मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, पूर्व केंद्रीय मंत्री सतपाल सिंह, सागर विश्वविद्यालय के कुलपति आर पी तिवारी, स्वामी परमात्मानंद सरस्वती, स्वामी परमानंद गिरी सहित अनेकों विद्वान और राजनीतिक लोग उपस्थित थे. कार्यक्रम में उपस्थित विद्वानों ने आदि शंकराचार्य के जीवन दर्शन के महत्व को बताने वाले व्याख्यान दिए.