रीवा। कांग्रेस मे टिकट को लेकर घमासान शुरू हो गया है. मध्यप्रदेश के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष श्रीनिवास तिवारी के पोते सिद्धार्थ तिवारी को उनके पिता पूर्व सांसद स्व. सुंदरलाल तिवारी के निधन उपरांत 2019 के लोकसभा चुनाव में में उतारा गया था. मगर मोदी लहर होने के चलते लोकसभा चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा. उसके बाद से ही उन्होंने विधानसभा चुनाव की तैयारियां तेज कर दी थीं. हालांकि पहले विधानसभा क्षेत्र तय नहीं हुआ था. जिसकी वजह से उन्होंने पूरे जिले में भ्रमण किया.
त्योंथर से कर रखी तैयारी : एक साल पहले ही कांग्रेस पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने उन्हें त्योंथर से चुनाव लडने के लिए संकेत दिए थे. इसके बाद से वह इस विधानसभा क्षेत्र में अपनी किस्मत आजमाने के लिए तैयारी में जुट गए. अब चुनाव के ठीक पहले ही उन्हें संगठन में महामंत्री की जिम्मेदारी दे दी गई, जिसके बाद से उनके समर्थकों में गुस्सा देखने को मिल रहा है. समर्थकों का मानना है कि संगठन में जिम्मेदारी मिलने के बाद अब वह चुनाव नहीं लड़ सकेंगे. सिद्धार्थ तिवारी को चाहने वाले तमाम लोग जो कांग्रेस पार्टी में पदाधिकारी और कार्यकर्ताओं हैं, वह अपने इस्तीफे सौंप रहे हैं.
गुढ़ से मिला ऑफर ठुकराया : सूत्रों के मुताबिक सिद्धार्थ तिवारी को रीवा जिले की गुढ़ विधानसभा सीट से टिकट ऑफर की गई थी और यह वही विधानसभा सीट है जहां से सिद्दार्थ तिवारी के पिता सुंदर लाल तिवारी ने वर्ष 2013 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को जीत दिलाई थी. लेकिन इस वर्ष 2023 के चुनाव से एक वर्ष पहले से सिद्धार्थ तिवारी त्योंथर विधानसभा क्षेत्र में तैयारी कर रहे हैं, जिसकी वजह से उन्होंने गुढ़ विधानसभा सीट से टिकट लेने से इनकार कर दिया. जिसके बाद पार्टी ने उन्हें संगठन में बड़ी जिम्मेदारी दे दी.
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इन्होंने दिया इस्तीफा : जानकारों का कहना है कि कांग्रेस पार्टी ने अभी किसी भी विधानसभा क्षेत्र से टिकट का बंटवारा नहीं किया है, ऐसे में अभी यह कंफर्म नहीं होता है कि सिद्धार्थ तिवारी को टिकट नहीं मिलेगी परंतु उनके समर्थक पार्टी के इस निर्णय से नाराज हैं. कांग्रेस के पार्षद स्वतंत्र शर्मा और नगर निगम के एमआईसी सदस्य ऋषिकेश त्रिपाठी ने कांग्रेस पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था. जिला महामंत्री नारेंद्र तिवारी और जिला कांग्रेस सचिव व मऊगंज जनपद सदस्य अभयराज साकेत ने भी पार्टी की प्राथमिक सदस्याता से अपना इस्तीफा दे दिया.