रीवा। अन्य प्रदेशों में लॉकडाउन के चलते फंसे मजदूरों को उनके गृह क्षेत्र तक पहुंचाने की कवायद तेज कर दी गई है. श्रमिकों को लाने के लिए जगह-जगह से स्पेशल श्रमिक ट्रेन चलाई गई हैं ताकि मजदूर अपने घर पहुंच जाएं. इसी कड़ी में आज रीवा रेलवे स्टेशन में कोने-कोने से श्रमिकों और विद्यार्थियों को लेकर पांच ट्रेनें पहुंचीं. प्रशासन ने आने वाले मजदूरों के लिए खाने-पीने और आने-जाने के तमाम व्यवस्थाएं पहले से ही की हुई थी. इसके साथ ही आने वाले मजदूरों का स्वास्थ्य परीक्षण करने के लिए स्टेशन पर ही मेडिकल टीम मौजूद रहीं. जहां मजदूरों और विद्यार्थियों की स्क्रीनिंग की गई.
लॉकडाउन के दौरान देश के अलग-अलग हिस्सों में श्रमिकों और विद्यार्थियों को घर पहुंचाने का जिम्मा केंद्र और सभी राज्यों की सरकार ने उठाया है. जिसका खर्चा भी सरकार ही दे रही है, और अब मध्य प्रदेश के प्रत्येक जिलों के मजदूर और विद्यार्थी जो देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे हुए थे उन्हें उनके घर विशेष ट्रेनों के माध्यम से अपने-पहुंचाया जा रहा है.
पिछले एक सप्ताह से रीवा रेलवे स्टेशन में तकरीबन 10 ट्रेन आ चुकी हैं. जिसमें 5000 के करीब प्रवासी मजदूर अपने घर रीवा पहुंचे हैं. वहीं आज भी एक दिन में पांच ट्रेनें देश के अलग-अलग हिस्सों से रीवा रेलवे स्टेशन पहुंची, जिसमें भारी मात्रा में विद्यार्थी और मजदूर अपने घर वापस आए. सभी मजदूर काफी खुश नजर आए. वहीं सभी मजदूरों और विद्यार्थियों की स्क्रीनिंग कराई गई. इसके बाद प्रशासन ने इनके आने-जाने और खाने-पीने की उचित व्यवस्था की थी.
सभी मजदूरों और विद्यार्थियों को उनके गंतव्य स्थान तक भेजने के लिए बस का इंतेजाम किया गया था. ताकि वह बिना परेशानी के अपने घरों तक पहुंच जाएं. वहीं मजदूरों का कहना था कि ट्रेन में शासन ने सभी व्यवस्था की हुई थी उन्हें किसी भी प्रकार की कोई परेशानी का सामना नहीं करना पड़ा और न ही कोई तकलीफ हुई.