नीमच। जिला न्यायाधीश (डीजे) हृदयेश श्रीवास्तव द्वारा बाछड़ा समुदाय की बालिकाओं के उत्थान के लिए एक संवाद का कार्यक्रम आयोजित किया गया. जिसका उद्देश्य बाछड़ा समुदाय मे सदियों से जो परंपरा के नाम से लड़कियों से देहव्यापार करवाया जा रहा है. उस बुराई को खत्म करने के उद्देश्य व उनके उत्थान के उद्देश्य से जिला न्यायाधीश सहित सभी न्यायाधीश सामने आए और कार्यक्रम में मौजूद बाछड़ा समुदाय की लड़कियों व उनके माता-पिता से सीधा संवाद किया और लड़कियों को आने वाली परेशानियों के बारे में जाना. इस मे अच्छी बात यह भी देखने को मिली कि जो बाछड़ा समुदाय की युवतियों है जो पढ़ लिख रही है और जो आगे जा कर सरकारी नौकरी करना चाहती है या पहले से नौकरी कर रही हैं उन्होंने भी अपने-अपने विचार रखे और समाज के सुधार की बात कही.
गौरतलब है कि नीमच मंदसौर जिले में सदियों से हाईवे किनारे बांछड़ा समुदाय द्वारा दे व्यापार होता रहा है. आंकड़ों की मानें तो लगभग आज भी दो हजार से ज्यादा नाबालिक लड़कियां एक देह व्यापार के दलदल में जबरन धकेली गई है. सवाल यह भी है कि जो काम जिला प्रशासन एवं पुलिस को करना चाहिए. उस काम के लिए स्वयं जिला न्यायाधीश को मैदान में आना पड़ा. जो कही ना कही पुलिस और प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सीधा-सीधा सवालिया निशान है.