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किसानों की मेहनत हो रही है पानी-पानी, लापरवाही की चलते भीग रहा धान

प्रदेश भर के कई इलाकों में हुई अचानक बरिश में मंडला के किसानों को भी प्रभावित किया है. जिले के समर्थन मूल्य केंद्रों के बाहर खरीदी हुई धान के परिवहन और भंडारण की उचित व्यवस्था नहीं होने से खुले में पड़ी धान भीग रही है.

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Published : Dec 15, 2019, 7:46 PM IST

Paddy getting wet due to unseasonal rain in mandala
बारिश में भीग रहा धान, प्रशासन लापरवाह

मंडला। जिले में 36 केन्द्रों में किसानों से समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी तो की जा रही है लेकिन खरीदी हुई धान को भंडारण के लिए ले जाने की अब तक कोई व्यवस्था नागरिक आपूर्ति निगम के द्वारा नहीं की गई है, जिससे ये धान खुले में रखे होने और बेमौसम हो रही झमाझम बारिश से खराब हो रही है.

बारिश में भीग रहा धान, प्रशासन लापरवाह

जिले के तमाम खरीदी केंद्रों में धान की खरीदी चालू तो कर दी गई लेकिन इसके सुरक्षित भंडारण की कोई व्यवस्था नहीं की जा रही है. धान को उठाकर इसे वेयरहाउस तक नहीं ले जाने की वजह से धान भीग रहा है. धान की ढुलाई के लिए अब तक ट्रांसपोर्टर के लिए टेंडर ही नहीं हुए हैं न ही समितियों के माध्यम से धान की ढुलाई की व्यवस्था की गई.

भीग रहा धान, अन्नदाता हो रहा परेशान
इन लापरवाहियों के चलते अब खुले में पड़ा यह धान जहां खरीदी केंद्र के प्रभारियों के लिए मुसीबत का सबब बन हुआ है, वहीं खुले में पड़े होने के चलते भीग कर खराब हो रहा क्योंकि इतनी सारी धान को ढकने के लिए त्रिपाल या कोई अन्य व्यवस्था कर पाना मुमकिन हो रहा है. ऐसे में सीधे तौर पर ये नागरिक आपूर्ति निगम की लापरवाही कही जा सकती है क्योंकि अमूमन इस मौसम में बादल बरसते ही हैं लेकिन निगम ने इसके लिए कोई तैयारी नहीं की.

लापरवाह अधिकारियों को नहीं है सुध
ईटीवी भारत ने परिवहन की व्यवस्था को लेकर जिला आपूर्ति अधिकारी से बात की थी. जिसमें उन्होंने इसके लिए भोपाल से निर्देश आने की बात कही थी, लेकिन भोपाल से निर्देश आने के पहले बारिश आ गयी और एसी रूम में बैठे अधिकारी अब तक इस सोचा विचार में ही लगे हैं कि परिवहन की व्यवस्था किसे देने से क्या लाभ होगा..

मंडला। जिले में 36 केन्द्रों में किसानों से समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी तो की जा रही है लेकिन खरीदी हुई धान को भंडारण के लिए ले जाने की अब तक कोई व्यवस्था नागरिक आपूर्ति निगम के द्वारा नहीं की गई है, जिससे ये धान खुले में रखे होने और बेमौसम हो रही झमाझम बारिश से खराब हो रही है.

बारिश में भीग रहा धान, प्रशासन लापरवाह

जिले के तमाम खरीदी केंद्रों में धान की खरीदी चालू तो कर दी गई लेकिन इसके सुरक्षित भंडारण की कोई व्यवस्था नहीं की जा रही है. धान को उठाकर इसे वेयरहाउस तक नहीं ले जाने की वजह से धान भीग रहा है. धान की ढुलाई के लिए अब तक ट्रांसपोर्टर के लिए टेंडर ही नहीं हुए हैं न ही समितियों के माध्यम से धान की ढुलाई की व्यवस्था की गई.

भीग रहा धान, अन्नदाता हो रहा परेशान
इन लापरवाहियों के चलते अब खुले में पड़ा यह धान जहां खरीदी केंद्र के प्रभारियों के लिए मुसीबत का सबब बन हुआ है, वहीं खुले में पड़े होने के चलते भीग कर खराब हो रहा क्योंकि इतनी सारी धान को ढकने के लिए त्रिपाल या कोई अन्य व्यवस्था कर पाना मुमकिन हो रहा है. ऐसे में सीधे तौर पर ये नागरिक आपूर्ति निगम की लापरवाही कही जा सकती है क्योंकि अमूमन इस मौसम में बादल बरसते ही हैं लेकिन निगम ने इसके लिए कोई तैयारी नहीं की.

लापरवाह अधिकारियों को नहीं है सुध
ईटीवी भारत ने परिवहन की व्यवस्था को लेकर जिला आपूर्ति अधिकारी से बात की थी. जिसमें उन्होंने इसके लिए भोपाल से निर्देश आने की बात कही थी, लेकिन भोपाल से निर्देश आने के पहले बारिश आ गयी और एसी रूम में बैठे अधिकारी अब तक इस सोचा विचार में ही लगे हैं कि परिवहन की व्यवस्था किसे देने से क्या लाभ होगा..

Intro:((इस खबर के वीडियो इसी slag से रैप से भेजे जा रहै है साथ ही बाईट भी)) मण्डला जिले में 36 केन्द्रों में किसानों से समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी तो की जा रही है लेकिन खरीदी हुई धान को भंडारण के लिए ले जाने की अब तक कोई व्यवस्था नागरिक आपूर्ति निगम के द्वारा नहीं की गई है जिससे यह धान खुले में रखे होने और बेमौसम हो रही झमाझम बारिश से खराब हो रही है


Body:ये नजारा है मण्डला जिले में उस लापरवाही का जिसमें धान की खरीदी जिले के तमाम खरीदी केन्द्रों में तो चालू कर दी गयी लेकिन इसके सुरक्षित भंडारण के लिए धान को उठा कर इसे परिवहन कर वेयरहाउस या फिर ओपन कैब तक नहीं ले जाया गया और किसानों की मेहनत के साथ ही जनता के रुपये अब पानी मे जाया हो रहे हैं क्योंकि धान की ढुलाई के लिए अब तक ट्रांसपोर्टर के लिए टेंडर ही नहीं हुए हैं न ही समितियों के माध्यम से धान की ढुलाई की व्यवस्था की गई जिसके चलते खुले में पड़ा यह धान जहाँ खरीदी केंद्र के प्रभारियों के लिए मुसीबत का सबब बन रहा वहीं खुले में पड़े होने के चलते भीग कर खराब हो रहा क्योंकि इतनी सारी धान को ढकने के लिए त्रिपाल या कोई अन्य व्यवस्था कर पाना मुमकिन नहीं वहीं पानी है की तीन दिनों से रह रह कर बरस रहा है ऐसे में सीधे तौर पर यह नागरिक आपूर्ति निगम की ही लापरवाही कहि जाएगी क्योंकि अमूमन इस मौसम में बादल बरसते ही हैं लेकिन विभाग की लापरवाही जहाँ खराब हो रही धान के चलते सरकारी पैसे का नुकसान है वहीं अधिकारियों की लीपापोती से यही खराब धान सोसाइटियों के माध्यम से गरीब की थाली के लिए भेज दिया जाएगा।


Conclusion:ईटीवी भारत ने बीते हफ्ते ही परिवहन की व्यवस्था को लेकर जिला आपूर्ति अधिकारी से बात की थी जिसमें उन्होंने इसके लिए भोपाल से निर्देश आने की बात कही थी लेकिन भोपाल से निर्देश आने के पहले बारिस आ गयी और एयरकंडीशनर रूम में बैठे अधिकारी अब तक इस सोचा विचारी में ही लगे हैं कि परिवहन की व्यवस्था किसे देने से क्या लाभ होगा ?? बाईट--अनिरुद्ध पटेल,खरीदी केंद्र प्रभारी जहारमौ बाईट--सत्रुघ्न ठाकुर किसान पदमी बाईट--ओपी पांडे,जिला आपूर्ति अधिकारी मण्डला
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