ETV Bharat / state

रेत माफियाओं के हौसले बुलंद, शासन को लग रही करोड़ों की चपत

बरसात के दिनों में नदियों से रेत निकालने पर पाबंदी रहती है, फिर भी रेत माफिया रेत निकालने से बाज नहीं आ रहे हैं. अधिकारियों का कहना है कि समय-समय पर कार्रवाई होती है.

Illegal sand mining
अवैध रेत खनन
author img

By

Published : Aug 31, 2020, 9:48 PM IST

कटनी। जिले भर में रेत माफियाओं के हौसले बुलंद हैं. बरसात के 4 महीने तक किसी भी नदी से रेत निकालने पर पाबंदी होती है. इस साल भी जिला प्रशासन ने प्रतिबंध लगाया है, लेकिन जिले में इसका पालन नहीं हो रहा है. महानदी, उमडार नदी से परसवारा गांव के पास रोज भारी मशीनों से रेत निकाली जा रही है. रेत निकालने के लिए पोकलेन मशीन को नदी में उतारा जा रहा है और नदियों की धार से रेत निकालने का काला धंधा जोरों पर चल रहा है.

अवैध रेत खनन

ग्रामीणों ने बताया कि नदी से रेत खनन का काम सुबह 4 बजे से ही शुरू हो जाता है और सुबह 3 बजे से गांव की सड़कों पर बड़े वाहनों की लाइन लग जाती है. अवैध खनन मामले में खनिज विभाग ने रेत की रॉयल्टी पूरे जिले का विस्टा कंपनी को दे दी है. रेत माफियाओं सड़क पर अपना खुद का बैरियर लगाया हुआ है. ग्रामीणों ने बताया कि हर साल अवैध रेत खनन के चलते नदी की दिशा बदल जाती है. जिलेभर में ऐसी कई अवैध रेत खदान चल रही हैं, लेकिन जिला प्रशासन मौन बैठा है.

जबकि लगातार ग्रामीण शिकायतें देते आ रहे हैं. हाल ही में प्रशासन ने जिले में 2 नए रेट भंडारण की अनुमति दी है. भंडारित रेत की रॉयल्टी काटी जाती है, इसीलिए एक नंबर के रेत की कीमत में बढ़ोतरी हुई है, जिसका सीधा फायदा अवैध खनन और रेत बेचने वाले उठा रहे हैं. पहले जो एक हाइवा 18 हजार में मिल जाता था, वह अब 30 हजार में मिल रहा है. जिला खनिज अधिकारी संतोष सिंह बघेल ने कहा कि अवैध रेत खनन के मामले में विभाग व प्रशासनिक अधिकारी समय-समय पर कार्रवाई करते हैं.

कटनी। जिले भर में रेत माफियाओं के हौसले बुलंद हैं. बरसात के 4 महीने तक किसी भी नदी से रेत निकालने पर पाबंदी होती है. इस साल भी जिला प्रशासन ने प्रतिबंध लगाया है, लेकिन जिले में इसका पालन नहीं हो रहा है. महानदी, उमडार नदी से परसवारा गांव के पास रोज भारी मशीनों से रेत निकाली जा रही है. रेत निकालने के लिए पोकलेन मशीन को नदी में उतारा जा रहा है और नदियों की धार से रेत निकालने का काला धंधा जोरों पर चल रहा है.

अवैध रेत खनन

ग्रामीणों ने बताया कि नदी से रेत खनन का काम सुबह 4 बजे से ही शुरू हो जाता है और सुबह 3 बजे से गांव की सड़कों पर बड़े वाहनों की लाइन लग जाती है. अवैध खनन मामले में खनिज विभाग ने रेत की रॉयल्टी पूरे जिले का विस्टा कंपनी को दे दी है. रेत माफियाओं सड़क पर अपना खुद का बैरियर लगाया हुआ है. ग्रामीणों ने बताया कि हर साल अवैध रेत खनन के चलते नदी की दिशा बदल जाती है. जिलेभर में ऐसी कई अवैध रेत खदान चल रही हैं, लेकिन जिला प्रशासन मौन बैठा है.

जबकि लगातार ग्रामीण शिकायतें देते आ रहे हैं. हाल ही में प्रशासन ने जिले में 2 नए रेट भंडारण की अनुमति दी है. भंडारित रेत की रॉयल्टी काटी जाती है, इसीलिए एक नंबर के रेत की कीमत में बढ़ोतरी हुई है, जिसका सीधा फायदा अवैध खनन और रेत बेचने वाले उठा रहे हैं. पहले जो एक हाइवा 18 हजार में मिल जाता था, वह अब 30 हजार में मिल रहा है. जिला खनिज अधिकारी संतोष सिंह बघेल ने कहा कि अवैध रेत खनन के मामले में विभाग व प्रशासनिक अधिकारी समय-समय पर कार्रवाई करते हैं.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.