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'मेक माय ट्रिप' की आई शामत, युवकों को दुबई ट्रिप पर भेजा लेकिन नहीं दिया नाश्ता, अब कंपनी को देना होगा हर्जाना

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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Dec 14, 2023, 10:06 PM IST

Updated : Dec 14, 2023, 10:21 PM IST

Make MY Trip Tour Company Case: जबलपुर उपभोक्ता फोरम ने 2022 के एक मामले में फैसला सुनाते हुए 'मेक माय ट्रिप' कंपनी पर भारी जुर्माना लागाया है. दरअसल तीन युवक 'मेक माय ट्रिप' के जरिए दुबई घूमने गए थे. लेकिन कंपनी ने अपनी सेवाएं सही तरीके से नहीं निभाईं. युवकों को नाश्ता तक नहीं दिया गया.

makemytrip not provide breakfast to customer
मेक माय ट्रिप कंपनी पर जुर्माना
मेक माय ट्रिप कंपनी पर जुर्माना

जबलपुर। शहर के तीन युवक यश जैन, वंश कटारिया और भरत सुखेजा ने दुबई घूमने का प्लान बनाया और इन्होंने जबलपुर के ग्वारीघाट के पास जम ट्रेवल्स से 'मेक माय ट्रिप' के जरिए पैकेज लिया. इस पैकेज में ₹50,000 प्रति व्यक्ति का खर्चा आ रहा था. लेकिन इसमें रहना खाना घूमने सब कुछ शामिल था. जब यह लोग जबलपुर से दुबई पहुंचे तो इन्हें पहले तो जी ओमेगा होटल में बुकिंग की बात कही गई थी, लेकिन वहां कमरा ही बुक नहीं मिला. बाद में काफी बातचीत के बाद इन्हें रहने की व्यवस्था मिली, लेकिन होटल ने इन्हें फ्री खाना नहीं दिया.

मेक माय ट्रिप के जरिए दुबई गए थे युवक: इन लोगों को होटल से लगभग 20 किलोमीटर दूर एक रेस्टोरेंट में ब्रेकफास्ट और लंच का जुगाड़ करना पड़ा. यह तीनों युवा दुबई घूम कर तो लौट आए लेकिन इसके बाद इन्होंने टूर ऑपरेटर को सबक सिखाने का फैसला लिया. इन तीनों ने 'मेक माय ट्रिप' के खिलाफ उपभोक्ता फोरम में एक मामला दर्ज करवाया. इस मामले की पैरवी एडवोकेट गौरव मिश्रा ने की. उपभोक्ता फोरम ने 2022 के इस मामले पर फैसला सुनाते हुए 'मेक माय ट्रिप' को आदेश दिया है कि वह इन तीनों युवकों को ₹12,000 की क्षतिपूर्ति दें और मानसिक प्रताड़ना के लिए ₹10,000 भी जमा करें. यदि आयोग के फैसले पर कंपनी पैसा नहीं देती है तो इस मामले की अपील भी की जा सकती है. इसे दूसरी अदालतों में भी चुनौती दी जा सकती है.

कंपनी पर भारी जुर्माना: यह फैसला सरकार के अनुचित व्यापार प्रथा व सेवा में कमी नियम के तहत सुनाया गया. इस मामले में जबलपुर जिला उपभोक्ता आयोग की युगल पीठ जिसमें अध्यक्ष पंकज यादव और सदस्य अमित तिवारी ने फैसला सुनाया. जबकि यह तीनों ही युवा शाकाहारी हैं और कंपनी को इन्हें शाकाहारी खाना देने पर बहुत कम पैसे का खर्चा होता, लेकिन अपनी सेवा सही तरीके से अंजाम नहीं देने की वजह से अब कंपनी को कई गुना ज्यादा पैसे देने पड़ेंगे.

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टूर ऑपरेटरों द्वारा ठगी जारी: सामान्य तौर पर अक्सर टूर ऑपरेटर लोगों को इसी तरह से ठगते हैं. लेकिन परेशान होने के बाद भी लोग इन लोगों के खिलाफ कोर्ट कचहरी तक नहीं जाते. जबकि उपभोक्ता मामलों के जानकार लोगों का मानना है कि ऐसे मामलों में ठगी के शिकार लोगों को फार्म का दरवाजा जरूर खटखटाना चाहिए. इससे न केवल लोगों को न्याय मिलता है बल्कि इन क्षेत्रों में काम करने वाली कंपनियों को भी कोर्ट का डर होता है और वह लोगों को सही सुविधाएं मुहैया करवाती हैं.

मेक माय ट्रिप कंपनी पर जुर्माना

जबलपुर। शहर के तीन युवक यश जैन, वंश कटारिया और भरत सुखेजा ने दुबई घूमने का प्लान बनाया और इन्होंने जबलपुर के ग्वारीघाट के पास जम ट्रेवल्स से 'मेक माय ट्रिप' के जरिए पैकेज लिया. इस पैकेज में ₹50,000 प्रति व्यक्ति का खर्चा आ रहा था. लेकिन इसमें रहना खाना घूमने सब कुछ शामिल था. जब यह लोग जबलपुर से दुबई पहुंचे तो इन्हें पहले तो जी ओमेगा होटल में बुकिंग की बात कही गई थी, लेकिन वहां कमरा ही बुक नहीं मिला. बाद में काफी बातचीत के बाद इन्हें रहने की व्यवस्था मिली, लेकिन होटल ने इन्हें फ्री खाना नहीं दिया.

मेक माय ट्रिप के जरिए दुबई गए थे युवक: इन लोगों को होटल से लगभग 20 किलोमीटर दूर एक रेस्टोरेंट में ब्रेकफास्ट और लंच का जुगाड़ करना पड़ा. यह तीनों युवा दुबई घूम कर तो लौट आए लेकिन इसके बाद इन्होंने टूर ऑपरेटर को सबक सिखाने का फैसला लिया. इन तीनों ने 'मेक माय ट्रिप' के खिलाफ उपभोक्ता फोरम में एक मामला दर्ज करवाया. इस मामले की पैरवी एडवोकेट गौरव मिश्रा ने की. उपभोक्ता फोरम ने 2022 के इस मामले पर फैसला सुनाते हुए 'मेक माय ट्रिप' को आदेश दिया है कि वह इन तीनों युवकों को ₹12,000 की क्षतिपूर्ति दें और मानसिक प्रताड़ना के लिए ₹10,000 भी जमा करें. यदि आयोग के फैसले पर कंपनी पैसा नहीं देती है तो इस मामले की अपील भी की जा सकती है. इसे दूसरी अदालतों में भी चुनौती दी जा सकती है.

कंपनी पर भारी जुर्माना: यह फैसला सरकार के अनुचित व्यापार प्रथा व सेवा में कमी नियम के तहत सुनाया गया. इस मामले में जबलपुर जिला उपभोक्ता आयोग की युगल पीठ जिसमें अध्यक्ष पंकज यादव और सदस्य अमित तिवारी ने फैसला सुनाया. जबकि यह तीनों ही युवा शाकाहारी हैं और कंपनी को इन्हें शाकाहारी खाना देने पर बहुत कम पैसे का खर्चा होता, लेकिन अपनी सेवा सही तरीके से अंजाम नहीं देने की वजह से अब कंपनी को कई गुना ज्यादा पैसे देने पड़ेंगे.

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टूर ऑपरेटरों द्वारा ठगी जारी: सामान्य तौर पर अक्सर टूर ऑपरेटर लोगों को इसी तरह से ठगते हैं. लेकिन परेशान होने के बाद भी लोग इन लोगों के खिलाफ कोर्ट कचहरी तक नहीं जाते. जबकि उपभोक्ता मामलों के जानकार लोगों का मानना है कि ऐसे मामलों में ठगी के शिकार लोगों को फार्म का दरवाजा जरूर खटखटाना चाहिए. इससे न केवल लोगों को न्याय मिलता है बल्कि इन क्षेत्रों में काम करने वाली कंपनियों को भी कोर्ट का डर होता है और वह लोगों को सही सुविधाएं मुहैया करवाती हैं.

Last Updated : Dec 14, 2023, 10:21 PM IST
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