जबलपुर। हाई-प्रोफाइल शादी की वजह से शहर में कोरोना संक्रमण के फैलने के मामले की न्यायिक जांच करवाने की मांग करते हुए हाईकोर्ट में याचिका दायर की गयी थी. हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस मोहम्मद रफीक और जस्टिस वी के शुक्ला की युगलपीठ ने सरकार की तरफ से पेश जवाब पर याचिकाकर्ता को हफलनामें के साथ रिज्वाइंडर पेश करने के निर्देश दिए हैं. याचिका पर शनिवार को हुई सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता की तरफ से रिज्वाइंडर पेश करने के लिए समय मांगा है. जिसे स्वीकार करते हुए युगलपीठ ने याचिका पर चार सप्ताह बाद सुनवाई करने की बात कही है.
- शादी समारोह के दौरान फैला संक्रमण
याचिकाकर्ता अखिलेश त्रिपाठी की तरफ से दायर याचिका में कहा गया था कि नगर निगम के वरिष्ठ अधिकारी राकेश अयाची की बेटी का विवाह 30 जून 2020 को हुआ था. शासन की गाइडलाइन के मुताबिक वैवाहिक कार्यक्रम में सिर्फ 50 लोग ही शामिल हो सकते थे. लेकिन गुलजार होटल में हुई इस हाई प्रोफाइल पार्टी में नियमों को तोड़कर वीवीआइपी समेत करीब 4 सौ लोग शामिल हुए थे. वहां पर किसी कोरोना पॉजीटिव की मौजूदगी की वजह से वहां आए लोगों में संक्रमण फैला और उसके बाद शहर में स्थिति विस्फोटक बन गई. उस समारोह के बाद से शहर में हर रोज कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या में इजाफा हुआ. याचिका में राहत चाही गई है कि इस पूरे मामले की न्यायिक जांच कराई जाएं.
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- याचिकाकर्ता की याचिका पर सुनवाई
याचिका की सुनवाई के दौरान सरकार की तरफ से पेश किए गये जवाब में कहा गया था कि दोषियों के खिलाफ एफ आई आर दर्ज की गई है. याचिकाकर्ता की तरफ से युगलपीठ को बताया गया था कि एफ आई आर शादी के 13 दिन बाद दर्ज हुई. साक्ष्य छुपाने की धाराएं एक माह बाद बढ़ाई गई. नगर निगम अधिकारी के रिश्ते का भाई संबंधित थाने का प्रभारी था. जिसके बाद युगलपीठ ने याचिकाकर्ता को सरकार के जवाब पर हलफनामें के साथ रिज्वाइंडर पेश करने निर्देश दिए थे. सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता की तरफ से अधिवक्ता पंकज दुबे ने पक्ष रखा. अब इस पूरे मामले की सुनवाई चार सप्ताह बाद होगी.