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Indore Ganesh Utsav यहां 130 साल से अनंत है चतुर्दशी का झांकी महोत्सव, जोरो-शोरो पर चल रही तैयारियां - Indore Ganesh Utsav 2022

कोरोना काल में दो साल तक त्योहारों को धूमधाम से ना मना पाने के चलते इस बार लोग हर त्योहार बड़े ही धूमधाम से मना रहे हैं. वहीं इंदौर में अनंत चतुर्दशी पर चल समारोह निकालने की परंपरा इस बार भव्य रूप में निभाई जाएगी. शहर में अनंत चतुर्दशी की तैयारियां जोरो-शोरो पर चल रही है. नगर निगम और जिला प्रशासन तैयारियों पर नजर बनाए हुए हैं. Indore Ganesh Utsav, Indore Mill workers prepare tableau, Indore Anant Chaturdashi

Indore Ganesh Utsav
गणेश उत्सव
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Published : Sep 9, 2022, 6:56 AM IST

Updated : Sep 9, 2022, 8:09 AM IST

इंदौर। मुंबई के बाद प्रदेश में इंदौर ही ऐसा इकलौता शहर है, जहां गणेश उत्सव को आज भी पुरानी परंपरा और उत्सव के साथ हर्षोल्लास से मनाया जा रहा है. करीब 130 साल पुरानी अनंत चतुर्दशी पर चल समारोह निकालने की परंपरा इस बार फिर भव्य रूप में निभाई जाएगी. जहां शहर भर के लोग अनंत चतुर्दशी पर निकलने वाले चल समारोह का हिस्सा बनेंगे. इस समारोह में आकर्षण का केंद्र होगी मिल मजदूरों द्वारा तैयार की गई विभिन्न झांकियां, जो आज भी अंचल के लाखों श्रद्धालुओं और स्थानीय नागरिकों के लिए परंपरा और आकर्षण का केंद्र बनी हुई है. इंदौर जिला प्रशासन, नगर निगम और अन्य संस्थाओं ने इस आयोजन के लिए अपने-अपने स्तर पर व्यापक इंतजाम भी किए हैं. Indore Ganesh Utsav, Indore Mill workers prepare tableau,Indore Ganesh Utsav 2022

अनंत चतुर्दशी पर झांकी महोत्सव
जोर-शोर से हो रही अनंत चतुर्दशी की तैयारी:
दरअसल आजादी के पूर्व स्वतंत्रता संग्राम के दौरान 1920 में स्वतंत्रता संग्राम सेनानी बाल गंगाधर तिलक द्वारा मुंबई शहर की कपड़ा मिलों में इस उत्सव की शुरुआत की गई थी. उस दौरान उद्देश्य था आजादी आंदोलन से जुड़े हुए लोग इस उत्सव के बहाने मिलकर आजादी की योजना बनाते थे. इंदौर में भी 1930 के करीब इस उत्सव की शुरुआत हुई, यहां के मजदूर कर्मचारियों ने अपने चंदे और यहां स्थापित कपड़ा मिलों के सहयोग से अनंत चतुर्दशी के चल समारोह के लिए अलग-अलग मिलो के हिसाब से 3-3 चलित झांकियां बनाने की शुरुआत की थी. उसके बाद से इंदौर के प्रमुख इलाकों में आज तक अनंत चतुर्दशी का चल समारोह और झांकियां निकालने की परंपरा कायम है. कोरोना संक्रमण काल में 2 साल से यह परंपरा अवरुद्ध हुई थी, लेकिन इस वर्ष इंदौर के तमाम उत्सवप्रिय रहवासी एवं नगर निगम इंदौर विकास प्राधिकरण समेत तमाम मिलों के मजदूर इस बार फिर बड़े पैमाने पर अनंत चतुर्दशी महोत्सव के लिए झांकियां निर्माण से लेकर उत्सव को अपने अनूठे रंग में मनाने की व्यापक तैयारियां कर चुके हैं. इस उत्सव के लिए खास तौर पर इंदौर नगर निगम ने शहर के पारंपरिक झांकी मार्ग को बारिश के बाद पेच वर्क करके अपग्रेड किया है. इसके अलावा इस बार झांकी मार्ग को चौड़ा किए जाने का लाभ भी पूरे समारोह को मिलने जा रहा है. नगर निगम द्वारा पूरे शहर को लाइट से सजाया गया है. इसके अलावा झांकियों को परंपरा और उत्साह के रूप में निकलने के लिए सभी झांकियों के नंबर चेंज किए हैं. वहीं अखाड़ों को भी बारी-बारी से अपना प्रदर्शन करते हुए निकलने की तमाम व्यवस्था की है. इसके अलावा पूरे झांकी मार्ग और उत्सव के दौरान तत्काल सफाई के लिए भी नगर निगम में सभी क्षेत्र के सफाई कर्मचारियों को तैनात किया है.
Indore Ganesh Utsav
भगवान हनुमान की झांकी

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पारंपरिक कलाकारों ने तैयार की झांकियां: इंदौर में झांकी निकालने की परंपरा के साथ यहां पर झांकियां तैयार करने वाले भी कारीगर मौजूद हैं. इस बार त्यौहार को पूरे उत्साह से मनाए जाने के कारण इन कारीगरों ने अलग-अलग ढंग से विभिन्न धार्मिक पात्रों को अपनी झांकियों में साकार किया है. राजकुमार मिल की झांकी में बाल गणेश दर्शाए गए हैं, जिसमें हाइड्रोलिक प्रयोग के जरिए गणेश जी नित्य करते नजर आएंगे. इसी प्रकार राष्ट्रीय झांकी में मेरा रंग दे बसंती चोला प्रस्तुत होगा. एक अन्य झांकी में शिव जी का अभिषेक एवं महात्मा गांधी पदयात्रा करते हुए नजर आएंगे. इसके अलावा शहर के 50 से अधिक अखाड़े झांकी मार्ग पर सड़क पर अपने करतब दिखाएंगे. वहीं 2 दर्जन से ज्यादा मिलों की झांकियां अलग-अलग रूप में अनंत चतुर्दशी का चल समारोह देखने वालों के लिए आकर्षण का केंद्र रहेंगे. इसके अलावा स्वदेशी मिल होप टेक्सटाइल मालवा मिल राजकुमार मिल समेत इंदौर विकास प्राधिकरण की झांकियां भी रोचक ढंग से तैयार की गई है.

Indore Ganesh Utsav
अद्भुत झांकी

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गाना गाते नजर आएंगे कैलाश विजयवर्गीय: परंपरा बनाए रखने के लिए आर्थिक सहयोग: शहर में अनंत चतुर्दशी पर झांकियां निकालने की परंपरा बनाए रखने के लिए इस बार नगर निगम इंदौर विकास प्राधिकरण के अलावा कांग्रेस नेताओं ने भी अपने-अपने स्तर पर झांकी निर्माताओं और मिल मजदूरों को आर्थिक सहयोग दिया है. इसके अलावा 12 से अधिक झांकियां अलग-अलग संस्थाओं द्वारा निकाली जा रही है. इसमें कनकेश्वरी इन्फोटेक से लेकर भाजपा नेताओं की भी झांकियां शामिल है, एक झांकी में खुद कैलाश विजयवर्गीय गानों की धुनों पर गीत गाते हुए नजर आएंगे.(Indore Ganesh Utsav) (Indore Mill workers prepare tableau) (Indore Anant Chaturdashi )

इंदौर। मुंबई के बाद प्रदेश में इंदौर ही ऐसा इकलौता शहर है, जहां गणेश उत्सव को आज भी पुरानी परंपरा और उत्सव के साथ हर्षोल्लास से मनाया जा रहा है. करीब 130 साल पुरानी अनंत चतुर्दशी पर चल समारोह निकालने की परंपरा इस बार फिर भव्य रूप में निभाई जाएगी. जहां शहर भर के लोग अनंत चतुर्दशी पर निकलने वाले चल समारोह का हिस्सा बनेंगे. इस समारोह में आकर्षण का केंद्र होगी मिल मजदूरों द्वारा तैयार की गई विभिन्न झांकियां, जो आज भी अंचल के लाखों श्रद्धालुओं और स्थानीय नागरिकों के लिए परंपरा और आकर्षण का केंद्र बनी हुई है. इंदौर जिला प्रशासन, नगर निगम और अन्य संस्थाओं ने इस आयोजन के लिए अपने-अपने स्तर पर व्यापक इंतजाम भी किए हैं. Indore Ganesh Utsav, Indore Mill workers prepare tableau,Indore Ganesh Utsav 2022

अनंत चतुर्दशी पर झांकी महोत्सव
जोर-शोर से हो रही अनंत चतुर्दशी की तैयारी: दरअसल आजादी के पूर्व स्वतंत्रता संग्राम के दौरान 1920 में स्वतंत्रता संग्राम सेनानी बाल गंगाधर तिलक द्वारा मुंबई शहर की कपड़ा मिलों में इस उत्सव की शुरुआत की गई थी. उस दौरान उद्देश्य था आजादी आंदोलन से जुड़े हुए लोग इस उत्सव के बहाने मिलकर आजादी की योजना बनाते थे. इंदौर में भी 1930 के करीब इस उत्सव की शुरुआत हुई, यहां के मजदूर कर्मचारियों ने अपने चंदे और यहां स्थापित कपड़ा मिलों के सहयोग से अनंत चतुर्दशी के चल समारोह के लिए अलग-अलग मिलो के हिसाब से 3-3 चलित झांकियां बनाने की शुरुआत की थी. उसके बाद से इंदौर के प्रमुख इलाकों में आज तक अनंत चतुर्दशी का चल समारोह और झांकियां निकालने की परंपरा कायम है. कोरोना संक्रमण काल में 2 साल से यह परंपरा अवरुद्ध हुई थी, लेकिन इस वर्ष इंदौर के तमाम उत्सवप्रिय रहवासी एवं नगर निगम इंदौर विकास प्राधिकरण समेत तमाम मिलों के मजदूर इस बार फिर बड़े पैमाने पर अनंत चतुर्दशी महोत्सव के लिए झांकियां निर्माण से लेकर उत्सव को अपने अनूठे रंग में मनाने की व्यापक तैयारियां कर चुके हैं. इस उत्सव के लिए खास तौर पर इंदौर नगर निगम ने शहर के पारंपरिक झांकी मार्ग को बारिश के बाद पेच वर्क करके अपग्रेड किया है. इसके अलावा इस बार झांकी मार्ग को चौड़ा किए जाने का लाभ भी पूरे समारोह को मिलने जा रहा है. नगर निगम द्वारा पूरे शहर को लाइट से सजाया गया है. इसके अलावा झांकियों को परंपरा और उत्साह के रूप में निकलने के लिए सभी झांकियों के नंबर चेंज किए हैं. वहीं अखाड़ों को भी बारी-बारी से अपना प्रदर्शन करते हुए निकलने की तमाम व्यवस्था की है. इसके अलावा पूरे झांकी मार्ग और उत्सव के दौरान तत्काल सफाई के लिए भी नगर निगम में सभी क्षेत्र के सफाई कर्मचारियों को तैनात किया है.
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पारंपरिक कलाकारों ने तैयार की झांकियां: इंदौर में झांकी निकालने की परंपरा के साथ यहां पर झांकियां तैयार करने वाले भी कारीगर मौजूद हैं. इस बार त्यौहार को पूरे उत्साह से मनाए जाने के कारण इन कारीगरों ने अलग-अलग ढंग से विभिन्न धार्मिक पात्रों को अपनी झांकियों में साकार किया है. राजकुमार मिल की झांकी में बाल गणेश दर्शाए गए हैं, जिसमें हाइड्रोलिक प्रयोग के जरिए गणेश जी नित्य करते नजर आएंगे. इसी प्रकार राष्ट्रीय झांकी में मेरा रंग दे बसंती चोला प्रस्तुत होगा. एक अन्य झांकी में शिव जी का अभिषेक एवं महात्मा गांधी पदयात्रा करते हुए नजर आएंगे. इसके अलावा शहर के 50 से अधिक अखाड़े झांकी मार्ग पर सड़क पर अपने करतब दिखाएंगे. वहीं 2 दर्जन से ज्यादा मिलों की झांकियां अलग-अलग रूप में अनंत चतुर्दशी का चल समारोह देखने वालों के लिए आकर्षण का केंद्र रहेंगे. इसके अलावा स्वदेशी मिल होप टेक्सटाइल मालवा मिल राजकुमार मिल समेत इंदौर विकास प्राधिकरण की झांकियां भी रोचक ढंग से तैयार की गई है.

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अद्भुत झांकी

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Last Updated : Sep 9, 2022, 8:09 AM IST
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