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फ्रॉड के केस निपटाने के लिए बनाया टास्क फोर्स, अभियोजन अधिकारी और डीएसपी टीम में होंगे शामिल

ग्वालियर में पिछले 6 साल से लंबित पड़े जमीन, मकान, दुकान और जालसाजी के मामलों को अब टास्क फोर्स के जरिए निपटाया जाएगा. एसपी के मार्ग निर्देशन में विवेचना प्लान बनाया गया है, जिसमें 6 लोगों की टीम शामिल होगी जो सिर्फ धोखाधड़ी के मामलों को ही सॉर्ट आउट करेगी.

फ्रॉड के केस निपटाने के लिए बनाया टास्क फोर्स
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Published : Jun 13, 2019, 11:06 PM IST

ग्वालियर| जिले में पिछले 6 साल से लंबित पड़े जमीन, मकान, दुकान और जालसाजी के केस अब टास्क फोर्स के जरिए निपटाए जाएंगे. जिला कोर्ट, हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट तक में ऐसे मामले लंबित हैं. सिर्फ ग्वालियर में ऐसे मामलों की संख्या 200 से ज्यादा है.

फ्रॉड के केस निपटाने के लिए बनाया टास्क फोर्स

क्या है मामला

  • जमीन जायदाद के मामलों में धोखाधड़ी की शिकायतें और जालसाजी के मामलों में ग्वालियर उत्तर भारत में अव्वल है.
  • लंबी विवेचना के कारण अधिकांश मामले आरोपियों के फरार रहने, कोर्ट में मामला चलने और दस्तावेजों की कमी होने की वजह से जूझ रहे हैं.
  • पिछले 6 साल में ही 200 से ज्यादा मामले धोखाधड़ी के लंबित हैं, इन मामलों की लोक अभियोजन अधिकारी और डीएसपी स्तर के अधिकारी मिलकर नए सिरे से विवेचना करेंगे.
  • एसपी के मार्ग निर्देशन में विवेचना प्लान बनाया गया है, जिसमें 6 लोगों की टीम शामिल होगी जो सिर्फ धोखाधड़ी के मामलों को ही सॉर्ट आउट करेगी.
  • तीन उप पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारी और 3 लोक अभियोजन अधिकारी शामिल रहेंगे.

ग्वालियर| जिले में पिछले 6 साल से लंबित पड़े जमीन, मकान, दुकान और जालसाजी के केस अब टास्क फोर्स के जरिए निपटाए जाएंगे. जिला कोर्ट, हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट तक में ऐसे मामले लंबित हैं. सिर्फ ग्वालियर में ऐसे मामलों की संख्या 200 से ज्यादा है.

फ्रॉड के केस निपटाने के लिए बनाया टास्क फोर्स

क्या है मामला

  • जमीन जायदाद के मामलों में धोखाधड़ी की शिकायतें और जालसाजी के मामलों में ग्वालियर उत्तर भारत में अव्वल है.
  • लंबी विवेचना के कारण अधिकांश मामले आरोपियों के फरार रहने, कोर्ट में मामला चलने और दस्तावेजों की कमी होने की वजह से जूझ रहे हैं.
  • पिछले 6 साल में ही 200 से ज्यादा मामले धोखाधड़ी के लंबित हैं, इन मामलों की लोक अभियोजन अधिकारी और डीएसपी स्तर के अधिकारी मिलकर नए सिरे से विवेचना करेंगे.
  • एसपी के मार्ग निर्देशन में विवेचना प्लान बनाया गया है, जिसमें 6 लोगों की टीम शामिल होगी जो सिर्फ धोखाधड़ी के मामलों को ही सॉर्ट आउट करेगी.
  • तीन उप पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारी और 3 लोक अभियोजन अधिकारी शामिल रहेंगे.
Intro: ग्वालियर
ग्वालियर जिले में जमीन मकान दुकान और जालसाजी के मामले के पिछले 6 साल से लंबित मामलों को अब टास्क फोर्स के जरिए निपटाया जाएगा ।यह मामले जिला न्यायालय हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट तक में लंबित है अकेले ग्वालियर में ऐसे मामलों की संख्या 200 से ज्यादा बताई गई है।


Body:दरअसल जमीन जायदाद के मामलों में धोखाधड़ी की शिकायतें एवं जालसाजी के मामलों में ग्वालियर उत्तर भारत में अव्वल है ।लंबी विवेचना के कारण अधिकांश मामले आरोपियों के फरार रहने कोर्ट में मामला चलने और दस्तावेजों की कमीपेशी से जूझ रहे हैं। पिछले 6 साल में ही 200 से ज्यादा मामले धोखाधड़ी के लंबित है। इन मामलों को अब लोक अभियोजन अधिकारी और डीएसपी स्तर के अधिकारी मिलकर नए सिरे से विवेचना करेंगे ।एसपी के मार्ग निर्देशन में विवेचना प्लान बनाया गया है जिसमें 6 लोगों की टीम शामिल होगी जो सिर्फ धोखाधड़ी के मामलों को ही सॉर्ट आउट करेगी।


Conclusion:इनमें तीन उप पुलिस अधीक्षक स्तर के अधिकारी और 3 लोक अभियोजन अधिकारी शामिल रहेंगे। वह ऐसे सभी मामलों की दोबारा से विवेचना करेंगे और कोर्ट में मुलजिम और साक्ष्य कोर्ट में पेश कर मामले को निपटाएंगे ताकि जमीन जायदाद और जालसाजी के मामलों में अंतिम रिपोर्ट पेश हो सके ।
बाइट पंकज पांडे... एएसपी ग्वालियर
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