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लाखों की नोटरियों के मामले में चार वकीलों को जिला प्रशासन का नोटिस, कलेक्टर ने दिए निर्देश

ग्वालियर में अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर नोटरी बनाने वाले वकीलों को जिला प्रशासन ने नोटिस जारी किया है. इनके पास 500 रुपये तक की नोटरी का अधिकार है, जबकी इन्होंने लाखों की नोटरियां की.

नोटरी वकीलों को जिला प्रशासन का नोटिस
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Published : Sep 29, 2019, 9:41 PM IST

ग्वालियर। जिला प्रशासन ने चार अधिवक्ताओं को अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर नोटरी करने के मामले में नोटिस जारी किया हैं. इन वकीलों के पास पांच सौ रुपये से ज्यादा की नोटरी जारी करने का अधिकार नहीं है, जबकी इन्होंने अपने अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर ना सिर्फ लाखों की नोटरियां की बल्कि, अवैध अतिक्रमण के मामले में किसी न किसी रूप में सहयोगी भी बने. खास बात ये है कि नोटरियों पर वकीलों के नोटरी नंबर तक अंकित नहीं थे.

नोटरी वकीलों को जिला प्रशासन का नोटिस

जिला प्रशासन ने हाईकोर्ट के निर्देश पर जिले भर में अतिक्रमण विरोधी मुहिम चला रहा है, इसी के चलते डूंगरपुर, हुरावली और कृष्णा नगर पहाड़िया पर भी मुहिम चला कर सैकड़ों अवैध कच्चे-पक्के मकानों को जमींदोज किया. कार्रवाई के दौरान लोगो नें अधिकारियों को ऐसी कई नोटरी दिखाई थी, जिनमें जमीन अंतरण अधिनियम के तहत उन्होंने लाखों रुपए का भुगतान किया था.

मामले के खुलासे के बाद कलेक्टर ने एसडीएम को जांच के निर्देश जारी किए थे साथ ही जमीन अंतरण अधिनियम का उल्लंघन करने वालों को नोटिस जारी करने की बात कही थी. इसी के तहत वकील वीएस तोमर, एसएस तोमर, लाल सिंह कुशवाहा और एनएस गुर्जर को नोटिस जारी किया गया है. मामले में ग्वालियर एसडीएम अनिल बनवारिया ने कहा कि इसमें वकीलों की भूमिका की विस्तार से जांच की जाएगी और उनके खिलाफ वैधानिक कार्रवाई की जाएगी.

ग्वालियर। जिला प्रशासन ने चार अधिवक्ताओं को अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर नोटरी करने के मामले में नोटिस जारी किया हैं. इन वकीलों के पास पांच सौ रुपये से ज्यादा की नोटरी जारी करने का अधिकार नहीं है, जबकी इन्होंने अपने अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर ना सिर्फ लाखों की नोटरियां की बल्कि, अवैध अतिक्रमण के मामले में किसी न किसी रूप में सहयोगी भी बने. खास बात ये है कि नोटरियों पर वकीलों के नोटरी नंबर तक अंकित नहीं थे.

नोटरी वकीलों को जिला प्रशासन का नोटिस

जिला प्रशासन ने हाईकोर्ट के निर्देश पर जिले भर में अतिक्रमण विरोधी मुहिम चला रहा है, इसी के चलते डूंगरपुर, हुरावली और कृष्णा नगर पहाड़िया पर भी मुहिम चला कर सैकड़ों अवैध कच्चे-पक्के मकानों को जमींदोज किया. कार्रवाई के दौरान लोगो नें अधिकारियों को ऐसी कई नोटरी दिखाई थी, जिनमें जमीन अंतरण अधिनियम के तहत उन्होंने लाखों रुपए का भुगतान किया था.

मामले के खुलासे के बाद कलेक्टर ने एसडीएम को जांच के निर्देश जारी किए थे साथ ही जमीन अंतरण अधिनियम का उल्लंघन करने वालों को नोटिस जारी करने की बात कही थी. इसी के तहत वकील वीएस तोमर, एसएस तोमर, लाल सिंह कुशवाहा और एनएस गुर्जर को नोटिस जारी किया गया है. मामले में ग्वालियर एसडीएम अनिल बनवारिया ने कहा कि इसमें वकीलों की भूमिका की विस्तार से जांच की जाएगी और उनके खिलाफ वैधानिक कार्रवाई की जाएगी.

Intro:ग्वालियर
ग्वालियर जिला प्रशासन ने ऐसे चार अधिवक्ताओं को नोटिस जारी किए हैं जिन्होंने अपने अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर ना सिर्फ लाखों की नोटरियां की थी बल्कि अवैध अतिक्रमण के मामले में किसी न किसी रूप में सहयोगी भी बने थे।


Body:हाल ही में जिला प्रशासन ने हाईकोर्ट के निर्देश पर डूंगरपुर हुरावली कृष्णा नगर पहाड़िया पर अतिक्रमण विरोधी मुहिम चलाकर सैकड़ों कच्चे-पक्के मकानों को जमींदोज किया था तब वहां लोगों ने प्रशासनिक अधिकारियों को ऐसी कई नोटरी दिखाई थी जिनमें जमीन अंतरण अधिनियम के तहत उन्होंने लाखों रुपए का भुगतान किया था जबकि अधिवक्ता नोटरी को 500 रुपए से ज्यादा की नोटरी करने का अधिकार नहीं है।


Conclusion:इस घालमेल के सामने आने के बाद कलेक्टर ने अपने जिले के सभी एसडीएम को निर्देश जारी किए थे और कहा था कि वह संदिग्ध नोटरियो की जांच करवाएं और जमीन अंतरण अधिनियम का उल्लंघन करने वालों को नोटिस जारी करें। इसके तहत ग्वालियर के चार अधिवक्ता जो नोटरी भी है उन्हें नोटिस जारी किए गए हैं ।इनमें वी एस तोमर, एसएस तोमर लाल सिंह कुशवाहा और एनएस गुर्जर शामिल है। खास बात यह है कि नोटरियों पर उनके नोटरी नंबर तक अंकित नहीं थे। अधिकारियों का कहना है इस बारे में वकीलों की भूमिका की विस्तार से जांच की जाएगी और उनके खिलाफ कड़ी वैधानिक कार्यवाही की जाएगी।
बाइट अनिल बनवारिया... एसडीएम ग्वालियर
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