जबलपुर: मध्य प्रदेश के जबलपुर में पहली बार एक बड़ा विज्ञान मेला लगाया गया है. इसमें इसरो और डीआरडीओ जैसी बड़ी वैज्ञानिक संस्थाओं ने अपने स्टॉल लगाए हैं. इसके साथ ही महाकौशल क्षेत्र में काम करने वाली कई संस्थाओं ने अपने स्टॉल लगाए हैं. इन स्टालों में बच्चों को बड़ी ही रोचक जानकारियां दी जा रही हैं. इसके साथ ही जबलपुर के कई इंजीनियरिंग कॉलेज के छात्र-छात्राओं ने भी अपने मॉडल प्रदर्शित किए हैं.
जैविक हथियार का इस्तेमाल
डीआरडीओ के वैज्ञानिक गजानन चौहान ने बताया, "इस समय दुनिया में जो युद्ध चल रहे हैं. उन युद्धों में केवल गोला बारूद से ही हमला नहीं किया जाता बल्कि जैविक हथियार का इस्तेमाल किया जा रहा है. यहां तक की कुछ ऐसे हथियारों के इस्तेमाल किया जाता है. जिनकी वजह से वातावरण में जहर घुल जाता है. ऐसे हथियार जहां से निकलते हैं उस जगह का पानी विषैला हो जाता है. यहां तक कि उस जगह की हवा में तक जहरीली हो जाती है. इसलिए डीआरडीओ की टीम ने कुछ ऐसी किट बनाई है. जिससे पानी में किस किस्म का जहर डाला गया है. इसका टेस्ट बड़ी आसानी से किया जा सकता है."
थ्री कलर डिटेक्टर पेपर
वैज्ञानिक गजानन चौहान ने बताया, "डीआरडीओ ने एक थ्री कलर डिटेक्टर पेपर बनाया है, जो इस बात की जानकारी देता है कि जिस हवा में हमारे सैनिक सांस ले रहे हैं वह कहीं जहरीली तो नहीं है. इसलिए डीआरडीओ के थ्री कलर डिटेक्टर पेपर को सैनिक अक्सर अपने पास रखते हैं. जबलपुर के विज्ञान मेले में डीआरडीओ ग्वालियर की टीम ने स्टॉल लगाकर अपनी कुछ खोजों के बारे में लोगों को जानकारी दी."
ब्रह्मोस मिसाइल देख बच्चे रोमांचित
जबलपुर के विज्ञान मेले में केवल डीआरडीओ नहीं बल्कि ब्रह्मोस मिसाइल का भी स्टॉल लगाया गया. इसमें इस मिसाइल के बारे में बच्चों को बताया और समझाया गया. साथ ही बच्चों को ब्रह्मोस मिसाइल के कार्य प्रणाली के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई. इसके अलावा स्टाल में टैंक, युद्ध पोत और लड़ाकू विमान भी विज्ञान मेले में मॉडल के रूप में सजाए गए हैं, जिन्हें देखकर बच्चे रोमांचित हैं.
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सेटेलाइट के बारे में जानकारी दी
इसरो की एक टीम भी जबलपुर पहुंची है. इस टीम ने अपने अंतरिक्ष कार्यक्रम के बारे में बच्चों को जानकारी दी. इसमें कई ऐसे सेटेलाइट के मॉडल रखे गए हैं, जो वर्तमान में आसमान में है और हमें अपना डाटा पहुंचा रहे हैं. इसरो के वैज्ञानिक गिरीश कुमार ने बताया, "सेटेलाइट से मिलने वाली जानकारी से हमें कई मदद पहुंचाई है. इसरो की टीम भी विज्ञान मेले में अपने कामकाज के बारे में आम जनता को जानकारी दे रही है."