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साइकिल ट्रैक घोटाला, कोर्ट ने सुनवाई कर कलेक्टर, निगम कमिश्नर और पीडब्ल्यूडी को भेजा नोटिस

ग्वालियर में स्मार्ट सिटी योजना के तहत बनाए गए साइकिल ट्रैक में घोटाला हुआ है. जिसके बाद कोर्ट ने प्रशासन के अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस भेजा है.

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Published : Feb 11, 2020, 7:54 PM IST

Updated : Feb 11, 2020, 8:13 PM IST

scam in cycle track in gwalior
ग्वालियर साइकिल ट्रैक में हुआ घोटाला

ग्वालियर। जिला सत्र न्यायालय ने स्मार्ट सिटी योजना के तहत बनाए गए साइकिल ट्रैक में घोटाले को लेकर दायर याचिका की सुनवाई करते हुए, जिला कलेक्टर, स्मार्ट सिटी सीईओ, ग्वालियर नगर निगम कमिश्नर और पीडब्ल्यूडी के अधीक्षण यंत्री को कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए जवाब मांगा है.

ग्वालियर साइकिल ट्रैक में हुआ घोटाला


एक साल पहले ग्वालियर में स्मार्ट सिटी योजना के तहत सड़क किनारे बने फुटपाथ को हटाकर उसे साइकिल ट्रैक में तब्दील किया गया था, लेकिन चंद महीने बाद ही वो साइकिल ट्रैक को भी तोड़ दिया गया. इसको लेकर ग्वालियर के अधिवक्ता अवधेश सिंह ने एक जनहित याचिका हाई कोर्ट में दायर की थी, जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए हाई कोर्ट ने याचिकाकर्ता को निर्देश दिए थे कि वो इसे जिला सत्र न्यायालय में पेश करें. जिसके बाद अधिवक्ता द्वारा जिला सत्र न्यायालय में एक याचिका पेश की गई थी.


अधिवक्ता का कहना है कि जनता की गाढ़ी कमाई का इस प्रोजेक्ट के माध्यम से दुरुपयोग किया गया है. यदि ट्रैक यातायात में बाधक था तो आखिर बनाया क्यों गया था. इसमें जो भी दोषी अधिकारी हैं, उनके खिलाफ क्या कार्रवाई की गई. इसकी जानकारी मांगी है. इसके साथ ही नगर निगम के लिए जो साइकिल खरीदी है उनके जवाब भी मांगे गए हैं.

ग्वालियर। जिला सत्र न्यायालय ने स्मार्ट सिटी योजना के तहत बनाए गए साइकिल ट्रैक में घोटाले को लेकर दायर याचिका की सुनवाई करते हुए, जिला कलेक्टर, स्मार्ट सिटी सीईओ, ग्वालियर नगर निगम कमिश्नर और पीडब्ल्यूडी के अधीक्षण यंत्री को कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए जवाब मांगा है.

ग्वालियर साइकिल ट्रैक में हुआ घोटाला


एक साल पहले ग्वालियर में स्मार्ट सिटी योजना के तहत सड़क किनारे बने फुटपाथ को हटाकर उसे साइकिल ट्रैक में तब्दील किया गया था, लेकिन चंद महीने बाद ही वो साइकिल ट्रैक को भी तोड़ दिया गया. इसको लेकर ग्वालियर के अधिवक्ता अवधेश सिंह ने एक जनहित याचिका हाई कोर्ट में दायर की थी, जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए हाई कोर्ट ने याचिकाकर्ता को निर्देश दिए थे कि वो इसे जिला सत्र न्यायालय में पेश करें. जिसके बाद अधिवक्ता द्वारा जिला सत्र न्यायालय में एक याचिका पेश की गई थी.


अधिवक्ता का कहना है कि जनता की गाढ़ी कमाई का इस प्रोजेक्ट के माध्यम से दुरुपयोग किया गया है. यदि ट्रैक यातायात में बाधक था तो आखिर बनाया क्यों गया था. इसमें जो भी दोषी अधिकारी हैं, उनके खिलाफ क्या कार्रवाई की गई. इसकी जानकारी मांगी है. इसके साथ ही नगर निगम के लिए जो साइकिल खरीदी है उनके जवाब भी मांगे गए हैं.

Intro:ग्वालियर- ग्वालियर जिला सत्र न्यायालय ने स्मार्ट सिटी योजना के तहत बनाई गई साइकिल ट्रैक में घोटाले को लेकर दायर दावे की सुनवाई करते हुए ग्वालियर जिला कलेक्टर, स्मार्ट सिटी सीईओ, ग्वालियर नगर निगम कमिश्नर और पीडब्ल्यूडी के अधीक्षण यंत्री को कारण बताओ नोटिस जारी करते हुए जवाब मांगा है।


Body:दरअसल एक साल पहले ग्वालियर में स्मार्ट सिटी योजना के तहत सड़क किनारे बने फुटपाथ को हटाकर उसे साइकिल ट्रैक में तब्दील किया गया था लेकिन चंद महीने बाद ही वह साइकिल को भी तोड़ दिया गया। इसको लेकर ग्वालियर के अधिवक्ता अवधेश सिंह ने एक जनहित याचिका हाईकोर्ट में दायर की थी जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ता को निर्देश दिए थे कि वह इसके लिए जिला सत्र न्यायालय में द्वारा पेश करें।जिसके बाद अधिवक्ता द्वारा जिला सत्र न्यायालय में एक द्वारा पेश किया गया था।


Conclusion:अधिवक्ता का कहना है कि जनता की गाढ़ी कमाई का इस प्रोजेक्ट के माध्यम से दुरुपयोग किया गया है यदि यातायात में बाधक थी तो आखिर क्यों बनाई गये। इसमें जो भी दोषी अधिकारी है उनके खिलाफ क्या कार्रवाई की गई ।इसकी जानकारी मांगी है इसके साथ ही नगर निगम के लिए जो साइकिल खरीदी है उनके जवाब मांगा है।

वाइट - अवधेश सिंह तोमर, याचिकाकर्ता वकील
Last Updated : Feb 11, 2020, 8:13 PM IST
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