ग्वालियर। हाई कोर्ट बार एसोसिएशन के सचिव पवन पाठक के खिलाफ 4 सितंबर को लाए गए अविश्वास प्रस्ताव की प्रक्रिया को अधिवक्ता संघ की साधारण सभा की बैठक में बहुमत के साथ खारिज कर दिया गया. साथ ही पवन पाठक को फिर से सचिव पद की जिम्मेदारी संभालने का दायित्व सौंपा गया है. इसके उलट सचिव पवन पाठक को पद से हटाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले विजेंद्र तोमर ने साधारण सभा के आयोजन पर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने अपने साथ अभद्रता और कुछ कागजातों को ले जाने का भी आरोप अपने साथी वकीलों पर लगाया है.
दरअसल हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के सचिव पवन पाठक के खिलाफ विजेंद्र तोमर ने कुछ साथियों के साथ मिलकर उन्हें पद से हटा दिया था और खुद कार्यकारी सचिव बन गए थे. पवन पाठक के अलावा चार अन्य पदाधिकारियों को भी उनके पद से हटाया गया था. इस निर्णय के खिलाफ साधारण सभा की बैठक में प्रस्ताव पेश किया गया. जिसमें पवन पाठक को सचिव पद पर फिर से बहाल करते हुए अन्य सदस्यों को भी बहाल किया है.
सचिव पद संभालते ही पवन पाठक ने कहा है कि वे आर्थिक रूप से पिछड़े उन वकीलों को ढाई हजार रुपये और दिलवाने की कोशिश करेंगे. जिन्हें कोरोना संक्रमण के दौर में आर्थिक रूप से परेशानियों का सामना करना पड़ा है. कुछ वकीलों को ढाई हजार रुपए की मदद मिल चुकी है. जबकि जिन्हें मदद नहीं मिली है उन्हें एक मुश्त 5 हजार रुपये की राशि उपलब्ध कराई जाएगी. उधर विजेंद्र तोमर ने पाठक के खिलाफ एक शिकायती आवेदन भी इंदरगंज थाने में दिया है.