डिंडोरी (Agency, ANI)। यहां की जिला अदालत परिसर में यौन उत्पीड़न की शिकार नाबालिग लड़की के रिश्तेदारों और वकील को आरोपी के पक्ष में गवाही देने के लिए धमकी दी गई और दबाव डाला गया. बता दें कि नाबालिग लड़कियों के कथित यौन उत्पीड़न का मामला बीती 4 मार्च को बाल कल्याण समिति राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग द्वारा छात्रावास में किए गए निरीक्षण के दौरान सामने आया था. छात्रावास में लगभग 600 स्टूडेंडस् निवास कर रहे हैं. निरीक्षण दल के साथ बातचीत के दौरान छात्राओं के एक समूह ने स्कूल के कर्मचारियों द्वारा यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया.
केस से पीछे हटने की धमकी : अगले दिन (5 मार्च) को स्कूल के प्रिंसिपल नान सिंह यादव को गिरफ्तार कर लिया गया, जबकि चार अन्य जिनमें एक महिला भी शामिल हैं, के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया. आरोपी नान सिंह यादव जमानत के लिए आ रहे थे, जिसके लिए परिजनों व पीड़िता को कोर्ट में गवाही के लिए बुलाया गया था. इन लड़कियों की सुरक्षा के लिए वन-स्टॉप सेंटर में रखा गया. पीड़ित परिजनों का कहना है कि लड़कियों को उनके माता-पिता को सौंपने वाले थे, लेकिन गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के कुछ कार्यकर्ताओं और सदस्यों ने पीछे हटने की धमकी दी.
ये खबरें भी पढ़ें.. |
डिंडोरी थाने में शिकायत : इस मामले की शिकायत डिंडोरी थाने में की गई है. लेकिन आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं होने से परिजनों में भय का माहौल है. परिजनों ने तत्काल गिरफ्तारी की मांग की है. वहीं, इसे देखते हुए डिंडोरी बार एसोसिएशन ने फैसला किया है कि उक्त यौन उत्पीड़न मामले में कोई भी अधिवक्ता आरोपी के पक्ष में नहीं लड़ेगा. एसोसिएसन ने प्रशासन के साथ ही पुलिस से मांग की है कि धमकी देने वालों को तुरंत गिरफ्तार किया जाए. क्योंकि ये एक संवेदशील मामला है. वहीं, पुलिस का कहना है कि मामले की जांच की जा रही है.