छिंदवाड़ा। 40 सालों से मुख्यमंत्री कमलनाथ को वोट देते आ रहे ग्रामीणों ने इस साल मतदान के बहिष्कार का फैसला किया है. पानी की समस्या से जूझते हुए ग्रामीणों ने कहा कि पहले पानी दीजिए फिर वोट मांगिए.
सीएम कमलनाथ के गृह जिले छिंदवाड़ा के विधानसभा अमरवाड़ा जहां से कांग्रेस के विधायक चुने गए हैं, इसी से महज 2 किलोमीटर दूर ग्राम पिपरिया राजगुरु में सैकड़ों की तादाद में ग्रामीणों ने इकठ्ठे होकर लोकसभा चुनाव के बहिष्कार की चेतावनी दी है. हाथ में बैनर-पोस्टर लेकर ग्रामीणों ने रैली निकालकर 'पानी नहीं तो वोट नहीं और विकास नहीं तो वोट नहीं' का नारा लगाते हुए चुनाव का बहिष्कार किया है.
ग्रामीणों का कहना है कि गांव में पिछले 6 महीने से पानी की समस्या झेल रहे हैं. पानी की तलाश में सुबह से ही दो-तीन किलोमीटर दूर जाना पड़ता है, तब जाकर पीने का पानी नसीब होता है. वहीं उनका कहना है कि पानी भरने के चक्कर में बच्चे भी स्कूल नहीं जा पाते हैं. गांव में कोई भी शासकीय बोर नहीं है. जिसके यहां बोर है उससे पानी खरीदना पड़ता है. लोगों का कहना है कि टैंकर वाले को 500 रुपए देकर बुलाना पड़ता है, तब जाकर पानी पीने का मिलता है. जनपद पंचायत से शिकायत करने के बाद भी समस्या का समाधान नहीं हुआ है.
विधानसभा चुनाव में आदर्श मतदान केंद्र रहा पिपरिया राजगुरु
विधानसभा चुनाव में जिस मतदान केंद्र को आदर्श मतदान केंद्र बनाया गया था, अब उसी मतदान केंद्र में लोकसभा चुनाव के बहिष्कार का ग्रामीणों ने ऐलान कर दिया है. प्रशासन द्वारा स्वीप प्लान चलाकर अधिक से अधिक मतदान करने के लिए प्रेरित किया जा रहा है.