भोपाल। आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस चौपाल-चौपाल घेरने की रणनीति तैयार कर रही है. अपनी इस रणनीति का ऐलान कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ कांग्रेस समर्थित पंच सरपंच जनपद सदस्य और जिला पंचायत के प्रतिनिधियों के सम्मेलन में करेंगे. कांग्रेस ने सोमवार को पंचायत प्रतिनिधियों का सम्मेलन बुलाया है. जिसमें कांग्रेस हर गांव में प्रदेश और केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ मजबूती से खड़े होने के लिए अपने जनप्रतिनिधियों को कहेगी. कॉलेज के पहले बीजेपी भी पंचायत प्रतिनिधियों और नगरी निकाय प्रतिनिधियों का सम्मेलन बुला चुकी है.
रविंद्र भवन में होगा कांग्रेस का पंचायत सम्मेलन: कांग्रेस का पंचायत सम्मेलन सोमवार को भोपाल के रविंद्र भवन में आयोजित किया जाएगा. सम्मेलन में 2,000 से ज्यादा पंचायत प्रतिनिधियों के शामिल होने की संभावना जताई जा रही है. सम्मेलन में कमलनाथ आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर पंचायत प्रतिनिधियों से कई वादे कर सकते हैं. कांग्रेस ने पंचायत प्रतिनिधियों से क्षेत्रीय समस्याओं की जानकारी भी मांगी है. इसको लेकर कांग्रेस अपने घोषणा पत्र में कई मुद्दों को शामिल कर सकती है. सम्मेलन में इसको लेकर पंचायत प्रतिनिधियों से खुले मंच पर चर्चा की जाएगी. सम्मेलन में पंचायती राज अधिनियम 1993 को जस का तस लागू करने के प्रस्ताव पर सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कराया जा सकता है. उधर बीजेपी के बाद कांग्रेस सोमवार को प्रदेश भर के तमाम सम्मेलन में कई स्थानीय मुद्दों को लेकर चुनाव तक धरना प्रदर्शन और आंदोलन करने को लेकर रणनीति तैयार होगी. जिससे इसके जरिए स्थानीय समस्याओं को सरकार के सामने उठाया जा सके.
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कमलनाथ ने माझी समाज के प्रतिनिधियों से की चर्चा: उधर आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर मध्य प्रदेश कांग्रेस अलग-अलग समाज के प्रतिनिधियों से चर्चा कर रही है. पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ ने आज अपने आवास पर माझी समाज के प्रतिनिधियों से चर्चा की. इस दौरान माली समाज के प्रतिनिधियों से चर्चा के बाद कमलनाथ ने कहा कि मैं काम करता हूं दिखावा नहीं. इंदौर में समिट हो रही है लेकिन इससे प्रदेश को लाभ नहीं मिलता, क्योंकि उन्हें विश्वास नहीं है. कमलनाथ ने कहा कि मैंने मुख्यमंत्री रहते हुए प्रयास किया था कि हमारे प्रदेश पर पूरे देश और निवेशकों का विश्वास बने. कमलनाथ ने कहा कि मुझे माझी समाज के प्रतिनिधियों ने बताया है कि उन्हें समाज का प्रमाण पत्र मिलने में परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है, इस समस्या का समाधान जरूरी है, इसका निराकरण होना चाहिए.