भोपाल। उज्जैन में पाकिस्तान के समर्थन में हुई नारेबाजी और इंदौर में एक चूड़ीवाले से हुई मॉब लिंचिंग के मामले के बाद मध्य प्रदेश की राजनीति गर्माई हुई है. इन घटनाओं को लेकर एआईएमआईएम प्रमुख असदउद्दीन ओवैसी ने भी बयान दिया है. ओवैसी के बयान पर अब केंद्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल और नरोत्तम मिश्रा ने भी पलटवार किया. प्रहलाद पटेल ने कहा कि मामला कानून व्यवस्था से जुड़ा हुआ है, ओवैसी जैसे लोगों के पास सांप्रदायिकता फैलाने के अलावा कोई काम नहीं है. वहीं इसपर मप्र के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा है कि ओवैसी को मध्यप्रदेश में हस्तक्षेप करने की जरूरत नहीं है, वे सिर्फ एक जाति, एक धर्म के नेता हैं इसलिए वे समर्थन जरुर करेंगे. गृहमंत्री ने इस पूरे मामले पर सफाई देते हुए कहा है कि इस मामले में दोनों पक्षों पर कार्रवाई की गई है इसलिए यहां राजनीति करने की कोई गुंजाइश नहीं है.
PFI को बैन करने पर विचार
इंदौर की घटना में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) और 'सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया' (एसडीपीआई) का नाम सामने आया था. आपको बता दें कि एसडीपीआई, पीएफआई की ही पॉलिटिकल विंग है. इससे पहले बैंगलुरू हिंसा में भी इसका नाम सामने आ चुका है. इस मामले में इंदौर में थाने का घेराव भी किया गया था. गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा है कि पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया संगठन को प्रतिबंधित करने के लिए मुस्लिम समाज ने ही आवेदन दिया है जिसपर वैधानिक स्तर पर विचार किया जा रहा है. मिश्रा ने बताया कि इस मामले में एक टीम उत्तरप्रदेश के हरदोई भी गई है जो आज शाम तक लौटेगी और मामले से जुड़ी जानकारी देगी.
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फेक न्यूज़ के आधार पर “क़ाज़ी साहब ज़िंदाबाद” को “ पाकिस्तान ज़िंदाबाद” बता कर कई लोगों पर मुक़दमे दायर हो गए। मप्र पुलिस को कार्रवाई करने के पूर्व वास्तविकता का पता लगा लेना चाहिए था। यदि गिरफ़्तारी हुई है तो प्रकरण वापस लेना चाहिए। https://t.co/a1ysNZUkFt
— digvijaya singh (@digvijaya_28) August 22, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
">फेक न्यूज़ के आधार पर “क़ाज़ी साहब ज़िंदाबाद” को “ पाकिस्तान ज़िंदाबाद” बता कर कई लोगों पर मुक़दमे दायर हो गए। मप्र पुलिस को कार्रवाई करने के पूर्व वास्तविकता का पता लगा लेना चाहिए था। यदि गिरफ़्तारी हुई है तो प्रकरण वापस लेना चाहिए। https://t.co/a1ysNZUkFt
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सोमवार का है मामला
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शिवराज जी उर्फ़ मामा उर्फ़ मामू क्या यह विडियो उज्जैन का है? यदि है तो क्या जो चूड़ी बेंच कर अपना पेट पालने वाले के साथ कुछ गुंडे ना केवल सामान लूट रहे हैं लेकिन बेरहमी से उसे पीट रहे हैं, उन्हें आपने इजाज़त दी है? https://t.co/Q2R5AiFe85
— digvijaya singh (@digvijaya_28) August 23, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
">शिवराज जी उर्फ़ मामा उर्फ़ मामू क्या यह विडियो उज्जैन का है? यदि है तो क्या जो चूड़ी बेंच कर अपना पेट पालने वाले के साथ कुछ गुंडे ना केवल सामान लूट रहे हैं लेकिन बेरहमी से उसे पीट रहे हैं, उन्हें आपने इजाज़त दी है? https://t.co/Q2R5AiFe85
— digvijaya singh (@digvijaya_28) August 23, 2021शिवराज जी उर्फ़ मामा उर्फ़ मामू क्या यह विडियो उज्जैन का है? यदि है तो क्या जो चूड़ी बेंच कर अपना पेट पालने वाले के साथ कुछ गुंडे ना केवल सामान लूट रहे हैं लेकिन बेरहमी से उसे पीट रहे हैं, उन्हें आपने इजाज़त दी है? https://t.co/Q2R5AiFe85
— digvijaya singh (@digvijaya_28) August 23, 2021
इंदौर के बाणगंगा थाना क्षेत्र में रविवार को यूपी के हरदोई जिले के चूड़ी विक्रेता पर कथिततौर पर छेड़छाड़ के आरोप लगाने के बाद स्थानीय लोगों ने उसकी बुरी तरह पिटाई कर दी थी. (Indore Mob Lynching) वीडियो वायरल होने पर पुलिस ने दोनों पक्षों पर कार्रवाई की है, पिटने वाले युवक पर पुलिस ने पॉक्सो एक्ट में गिरफ्तार किया है, जबकि पीटने वालों पर रासुका के तहत कार्रवाई की है.
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#इंदौर में चूड़ियाँ बेचने वाले तसलीम को एक उग्रवादी भीड़ ने बेरहमी से पीटा।अब पुलिस ने तसलीम के खिलाफ़ ही FIR दर्ज कर दिया।तसलीम का जुर्म ये है के वो मुसलमान होने के बावजूद चुप-चाप लिंच नहीं हुआ। उसको लूटने और मारने वाले अभी तक गिरफ़्तार नहीं हुए। १/२
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) August 23, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
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म.प्र के गृह मंत्री भी खुल के अपराधियों के लिए बहाने बना रहे है। चुनी हुई सरकारों और उग्रवादी भीड़ों में कोई फ़र्क़ नहीं रहा २/२
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) August 23, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
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दिग्विजय सिंह के ट्वीट के बाद हुई ओवैसी की एंट्री
इंदौर मॉब लिंचिंग (Indore Mob Lynching) मामले पर सोमवार को किए गए कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह के ट्वीट के जरिए एआईएमआईएम के नेता असदउद्दीन ओवैसी की भी इस मामले में एंट्री हो गई. उन्होंने इंदौर मॉब लिंचिंग की घटना का जिक्र करते हुए ट्वीट किया कि 'म.प्र के गृह मंत्री भी खुल के अपराधियों के लिए बहाने बना रहे है. चुनी हुई सरकारों और उग्रवादी भीड़ों में कोई फ़र्क़ नहीं रहा'. इस ट्वीट के बाद बीजेपी ओवैसी और कांग्रेस के खिलाफ मुखर हो गई है. ओवैसी (AIMIM Chief Asaduddin Owaisi) के ट्वीट पर प्रदेश सरकार के मंत्री विश्वास सारंग ने ट्वीट करते हुए लिखा की उनकी टिप्पणी पर टिप्पणी नहीं करनी चाहिए, उनकी औकात ही नहीं है कि उनकी बात पर टिप्पणी की जाए. ओवैसी ने इंदौर में एक चूड़ी बेचने वाले के साथ हुई मॉब लिंचिंग मामले में ट्वीट कर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर निशाना साधा था। उन्होंने मॉब लिंचिंग को गोडसे की हिन्दुत्ववादी सोच का नतीजा बताया है.
राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग ने लिया संज्ञान
इंदौर मॉब लिंचिंग की इस घटना पर राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग ने भी संज्ञान लिया है. आयोग ने कहा कि सांप्रदायिक हमले की ऐसी घटनाएं देश के धर्मनिरपेक्ष ढांचे के लिए खतरा है, और अल्पसंख्यकों की धार्मिक भावनाओं को आहत करती हैं. घटना भले ही सोमवार को हुई हो और सरकार ने मामले में संबंधित दोनों पक्षों पर कार्रवाई भी की हो, लेकिन जिस तरह से एक के बाद बड़े नेताओं के बीच तल्ख बयानबाजी हो रही है उसे देखते हुए यही लगता है कि फिलहाल यह मामला थमता हुआ दिखाई नहीं देता है.