नई दिल्ली: प्रधानमंत्री के साथ मुख्यमंत्रियों की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग मीटिंग में सीएम केजरीवाल ने सबसे पहले दिल्ली का ऑक्सीजन कोटा बढ़ाने के लिए प्रधानमंत्री का धन्यवाद किया. उसके बाद मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं आपसे हाथ जोड़कर प्रार्थना करता हूं कि इस बढ़े हुए कोटे को दिल्ली को उपलब्ध कराया जाए. सीएम ने कहा कि एक स्टीमेट के हिसाब से दिल्ली को 700 टन ऑक्सीजन की जरूरत है, आपने हमारा कोटा 480 टन कर दिया है, लेकिन पिछले 24 घंटे में 480 टन में से भी केव 350 टन ऑक्सीजन ही दिल्ली पहुंच सकी है.
'संसाधनों पर 130 करोड़ का अधिकार'मुख्यमंत्री ने कहा कि जब से ऑक्सीजन का संकट शुरू हुआ है, मेरे फोन बजते रहते हैं. कभी कोई अस्पताल कहता है कि कुछ घंटे की ऑक्सीजन बची है, कभी कोई अस्पताल. हम कारण जानने की कोशिश करते हैं, तो पता चलता है कि किसी राज्य ने ऑक्सीजन लाने वाले ट्रक को रोक दिया. हमने मदद के लिए केंद्र सरकार के कुछ मंत्रियों को फोन किए उन्होंने खूब सहयोग किया. लेकिन वे भी बेचारे थक गए. अरविंद केजरीवाल ने कहा कि देश के संसाधनों पर 130 करोड़ लोगों का अधिकार है.'क्या कोई राज्य रोक सकता है ऑक्सीजन'सीएम ने कहा, अगर दिल्ली में ऑक्सीजन की फैक्ट्री नहीं है, तो क्या दिल्ली के दो करोड़ लोगों को ऑक्सीजन नहीं मिलेगी. जिस राज्य में ऑक्सीजन की फैक्ट्री है, क्या वे दिल्ली के ऑक्सीजन को रोक सकते हैं. ऐसे में हम क्या करें. मुख्यमंत्री ने कहा कि सर मैं आपका बेहद शुक्रिया अदा करना चाहता हूं कि आज आपने यह मीटिंग बुलाई है. मैं यह जानना चाहता हूं कि आज या कल या किसी भी समय हमारे दिल्ली के किसी भी अस्पताल में आधे-एक घंटे का ऑक्सीजन त जाए और लोगों को मरने की नौबत आ जाए और मैं फोन करना चाहूं, तो केंद्र में किससे बात करूं.'लोगों को मरने के लिए नहीं छोड़ सकते'सीएम केजरीवाल ने कहा कि स्थिति अभी ज्यादा गंभीर हो चुकी है. हम अपने लोगों को मरने के लिए नहीं छोड़ सकते, हमें लोगों को विश्वास दिलाना पड़ेगा कि जिंदगी हम सबके लिए कीमती है. अगर तुरंत कोई कठोर और सार्थक कदम नहीं उठाया गया, तो शायद दिल्ली के अंदर कोई बड़ी त्रासदी हो सकती है. प्रधानमंत्री से मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं आपका मार्गदर्शन चाहता हूं. कुछ राज्य हैं, जहां से दिल्ली के लिए सबसे ज्यादा ऑक्सीजन आती है और वहीं से सबसे ज्यादा दिक्कत आ रही है.'प्रधानमंत्री का एक फोन काफी है'केजरीवाल ने कहा कि मेरी आपसे विनती है, अगर आप उन राज्यों के मुख्यमंत्रियों को एक बार बोल दें कि हमारे टैंकर ना रोकें, तो दिल्ली को तुरंत ऑक्सीजन मिल जाएगी. आपका एक फोन ही बहुत है. दिल्ली के दो करोड़ लोगों की तरफ से हाथ जोड़कर विनती करता हूं कि आप हमारी मदद कर सकते हैं, कृपया हमारी मदद कीजिए. मुख्यमंत्री ने कहा कि अस्पताल में जो हालत बने हुए हैं, वो देखे नहीं जाते, लोग बहुत ज्यादा तकलीफ में हैं, पूरी-पूरी रात हम सो नहीं पाते हैं. इनका मुख्यमंत्री रहते हुए मैं कुछ नहीं कर पा रहा हूं.'आर्मी टेकओवर करे ऑक्सीजन प्लांट'अरविंद केजरीवाल ने कहा कि ईश्वर ना करे लेकिन ऑक्सीजन ना होने से कोई अनहोनी हो गई तो हम कभी खुद को माफ़ नहीं कर पाएंगे. कोरोना से देश को बचाने के लिए नेशनल प्लान बनना चाहिए. अरविंद केजरीवाल ने कहा कि इस नेशनल प्लान के अंतर्गत देश के सभी ऑक्सीजन प्लांट को तुरंत आर्मी के जरिए केंद्र सरकार टेकओवर करे. अगर ऑक्सीजन प्लांट से निकलने वाले हर ट्रक के साथ आर्मी का सपोर्ट रहे, तो कोई उसको आगे रोक नहीं पाएगा.'दिल्ली को मिले ऑक्सीजन एक्सप्रेस'दिल्ली के ऑक्सीजन का जो नया कोटा निर्धारित हुआ है, उसमें 100 टन से ज्यादा ऑक्सीजन ओड़िशा और पश्चिम बंगाल से आने वाली है. सीएम ने मांग की कि अगर हो सके, तो वो ऑक्सीजन हवाई जहाज से उपलब्ध कराई जाए. मुख्यमंत्री ने कहा कि आपका आईडिया है, ऑक्सीजन एक्सप्रेस शुरू करने का. इसमें से एक एक्सप्रेस हमें पश्चिम बंगाल और ओड़िशा से सप्लाई मंगाने के लिए दी जाए, अगर हमें दिल्ली के लिए कॉरिडोर मिल जाए, तो बड़ी मेहरबानी होगी.'सबको वैक्सीन लगाने का प्रयास करें'मुख्यमंत्री की इस बात पर प्रधानमंत्री ने कहा कि ऑक्सीजन एक्सप्रेस चल रही है. इसके बाद, सीएम केजरीवाल ने वैक्सीन को लेकर भी बात रखी. अरविंद केजरीवाल ने कहा कि हमारे देश के वैज्ञानिकों ने इतने कम समय में जो वैक्सीन बनाई है, उसके लिए साधुवाद के पात्र हैं. आपने इसमें जो प्रयास किया, उसके लिए आपका बहुत-बहुत शुक्रिया. अब हम सब लोगों को मिलकर कम से कम समय में अपने नागरिकों को वैक्सीन लगवानी चाहिए.'वन नेशन, वन रेट होना चाहिए'वैक्सीन की निर्धारित कीमत को लेकर मुख्यमंत्री ने सवाल उठाया और कहा कि एक देश में वैक्सीन के दो रेट कैसे हो सकते हैं. वन नेशन, वन रेट होना चाहिए. इस वक्त हर भारतीय को यह एहसास कराना होगा. इसलिए मेरा मानना है कि देश में सबको दवाई, सबको वैक्सीन और सबको ऑक्सीजन मिलनी चाहिए और वो भी बिना किसी विवाद और रुकावट के. मुख्यमंत्री ने कहा कि मेरा विश्वास है, देश में अगर सभी राज्य सरकारें और केंद्र सरकार मिलकर एक दिशा में काम करेंगे, तो हम सफल होंगे.