भोपाल। कांग्रेस नेता डॉक्टर गोविंद सिंह ने केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के खिलाफ दायर की गई याचिका सुप्रीम कोर्ट से वापस ले ली है. गोविंद सिंह ने 13 जुलाई को हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की थी. डॉक्टर गोविंद सिंह का कहना था कि केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने राज्यसभा चुनाव के दौरान अपने केस को छुपाया था. मध्य प्रदेश से अपना नामांकन दाखिल करते समय उन्होने खुद पर दर्ज प्राथमिकी की जानकारी नहीं जाहिर की जो आपराधिक किस्म की थी. गोविंद सिंह ने हाईकोर्ट में सिंधिया के चुनाव को चुनौती दी थी.
यह है पूरा मामला: केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने राज्यसभा का नामांकन दाखिल करते समय उसमें भोपाल के श्यामला हिल्स थाने में दर्ज की गई प्राथमिकी का उल्लेख नहीं किया था. इस मामले को लेकर विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉक्टर गोविंद सिंह ने ज्योतिरादित्य सिंधिया के हलफनामे में जानकारी छुपाने के मामले को लेकर हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी इस याचिका में डॉक्टर गोविंद सिंह ने आरोप लगाया था कि ज्योतिरादित्य सिंधिया ने अपने हलफनामे में बताया था कि उनके खिलाफ कोई आपराधिक मामला लंबित नहीं है जबकि भोपाल के श्यामला हिल्स थाने में आईपीसी की धारा 465 468 और 120 बी के तहत प्राथमिकी लंबित है.
हाईकोर्ट के बाद सुप्रीम कोर्ट से सरसरी तौर पर खारिज हो गई थी अपील: बताया जाता है कि डॉक्टर गोविंद सिंह की याचिका पर 17 मार्च को हाई कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया था लेकिन हाईकोर्ट के फैसले से नाखुश डॉक्टर गोविंद सिंह की तरफ से द्व कोर्ट के फैसले से नाखुश होकर डॉक्टर गोविंद सिंह ने पुनर्विचार याचिका दायर की गई लेकिन कोर्ट ने 13 जुलाई को आदेश पर पुनर्विचार करने से इनकार कर दिया था.
इसके खिलाफ डॉक्टर गोविंद सिंह ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने उनकी अपील को सरसरी तौर पर खारिज कर दिया था इसके बाद न्यायमूर्ति ऋषिकेश राय और न्यायमूर्ति पंकज मित्तल की पीठ ने डॉक्टर गोविंद सिंह के अधिवक्ता को याचिका वापस लेने की अनुमति दी थी गोविंद सिंह ने अन्य फैसलों का हवाला देते हुए कोर्ट में बताया था कि उनकी एक पुनर्विचार याचिका हाईकोर्ट में दायर है जिसके बाद उनकी अपील को वापस लेने की अनुमति दे दी गई.
कोर्ट में सिंधिया की तरफ से दी गई थी यह दलील: सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई याचिका को लेकर सिंधिया की तरफ से कोर्ट में बताया गया था कि उनके खिलाफ कोई आपराधिक प्रकरण पंजीबद्ध नहीं है भोपाल के श्यामला हिल्स थाने में दर्ज प्राथमिकी लंबित आपराधिक प्रकरणों में नहीं गिनी जानी चाहिए.