भोपाल। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने हनीट्रैप मामले में गठित SIT में हुए फेरबदल पर सवाल उठाए हैं. उन्होंने SIT के गठन की मंशा पर सवाल उठाते हुए कहा है कि ये ऐसा मजाक है, जो ऐसी गम्भीर घटना के प्रति सरकार के दृष्टिकोण को दर्शाता है. अब शिवराज सिंह के बयान पर कांग्रेस ने पलटवार करते हुए कहा है कि 'जैसी संवेदनशीलता अब दिखा रहे हैं, वैसी पहले दिखाए होते तो यह मामला सामने ही नहीं आता'.
गौरतलब है हनीट्रैप मामले में तीसरी बार सरकार ने SIT चीफ का बदलाव किया है. जिस पर पूर्व सीएम ने सरकार की मंशा पर सवाल उठाते हुए कहा कि, रोज रोज जिस तरह से SIT में परिवर्तन हो रहे है, वो शुभ नहीं है. मैंने पहले भी कहा था कि कानून को अपना काम करने देने चाहिए. यदि रोज आप SIT में बदलाव करेगे, तो संदेह के बादल तो खड़े होंगे और ऐसे मामले में शासन को संदेह से परे रहना चाहिए.
शिवराज सिंह के इस बयान पर मध्य प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता अजय सिंह यादव पलटवार किया है. उन्होंने कहा है कि शिवराज सिंह जिस तरह अब हनीट्रैप के मामले में संवेदनशीलता और सतर्कता दिखाने की कोशिश कर रहे हैं. वैसी सतर्कता और संवेदनशीलता उन्होंने मुख्यमंत्री रहते हुए बरती होती, तो प्रदेश में हनीट्रैप का मामला ही नहीं हुआ होता. यह प्रदेश की जनता जानती है कि हनीट्रैप के जरिए टेंडर, पोस्टिंग, बड़े-बड़े मंत्रालय में महिलाओं का दखल 15 साल की भाजपा सरकार के दौरान हुआ. दूसरी तरफ कांग्रेस की सरकार है, जिसने हनी ट्रैप के मामले को उजागर किया है.
उन्होंने साथ ही कहा कि 'मैं तो चाहता हूं कि शिवराज सिंह को एसआईटी को उन लोगों के प्रमाण देना चाहिए. जिन्होंने हनी ट्रैप के जरिए महिलाओं के कहने पर काम किए हैं. ट्रांसफर, पोस्टिंग ठेके दिए हैं', ताकि एसआईटी की जांच में गति आए. वहीं एसआईटी में बदलाव में चर्चा करते हुए अजय सिंह यादव ने कहा है कि रही बात एसआईटी में चीफ या टीम में परिवर्तन की, तो प्रशासनिक दृष्टिकोण से यह रूटीन प्रक्रिया है. ऐसे परिवर्तन होते रहते हैं, लेकिन एसआईटी जल्द ही समय सीमा के अंदर काम करेगी और रिपोर्ट सौंपेगी जिसके बाद सभी आरोपी बेनकाब होंगे.