भोपाल। राजधानी के जल और भूमि प्रबंधन संस्थान में मध्यप्रदेश मानव अधिकार आयोग के 25वें स्थापना दिवस पर 'जल का अधिकार-मानव अधिकार' संगोष्ठी का आयोजन किया गया. इस संगोष्ठी में मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री कमलनाथ और न्यायमूर्ति नरेंद्र कुमार जैन मुख्य रूप से उपस्थित हुए. इस अवसर पर मुख्यमंत्री कमल नाथ ने आयोग द्वारा आम लोगों की ऑनलाइन शिकायत करने के लिए बनाए गए पोर्टल का लोकार्पण किया. पोर्टल पर शिकायतकर्ता अपनी शिकायतों पर हुई कार्रवाई भी देख सकेंगे.
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सीएम कमल नाथ ने कहा है कि सिर्फ कानून बनाने से मानव अधिकारों की रक्षा नहीं हो सकती. लोगों की सोच में मानव अधिकारों की रक्षा का भाव होना जरूरी है. उन्होंने कहा कि स्वच्छ जल मानव का अधिकार है. भविष्य में पानी को लेकर जो चुनौतियां हमारे सामने हैं, उससे निपटने के लिए राज्य सरकार ने 'जल का अधिकार' कानून बनाने के साथ ही नदियों को पुनर्जीवित करने की योजना बनाई है.
मध्यप्रदेश मानव आधिकार आयोग के अध्यक्ष न्यायमूर्ति नरेन्द्र कुमार जैन ने मुख्यमंत्री कमल नाथ के 'जल का अधिकार-मानव अधिकार' कानून बनाने के निर्णय की सराहना करते हुए उन्हें बधाई दी. जैन ने बताया कि इस कानून का मसौदा लगभग तैयार हो गया है. इसमें स्टेट वाटर मैनेजमेंट अथॉरिटी को पानी उपलब्ध करवाने और उससे जुड़े वित्तीय अधिकार प्राप्त होंगे.