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भिंड में चंबल नदी का कहर, 20 गांव बाढ़ ग्रस्त, सेना चला रही रेस्क्यू ऑपरेशन

भिंड के अटेर इलाके के चंबल किनारे बसे करीब 20 गांव बाढ़ की चपेट में हैं. इन सभी गांव का जिला मुख्यालय से पूरी तरह संपर्क टूट चुका है. बाढ़ में फंसे लोगों को बचाने के लिए सेना रेस्क्यू ऑपरेशन चला रही है.

सेना चला रही रेस्क्यू ऑपरेशन
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Published : Sep 17, 2019, 3:56 AM IST

भिंड। राजस्थान के कोटा बैराज डैम से 6लाख क्यूसेक और गांधी सागर डैम से 16लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने से भिंड में बाढ़ के हालात बने हैं. अटेर इलाके के चंबल किनारे बसे करीब 20 गांव बाढ़ की चपेट में हैं. इन सभी गांव का जिला मुख्यालय से पूरी तरह संपर्क टूट चुका है. बाढ़ में फंसे लोगों को बचाने के लिए सेना रेस्क्यू ऑपरेशन चला रही है.

सेना चला रही रेस्क्यू ऑपरेशन

जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन के आला अधिकारी भी आर्मी और होमगार्ड टीमों के साथ मौके पर मौजूद हैं. जो लगातार बाढ़ में फंसे ग्रामीणों को निकालने और गांव खाली कराने का काम कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि देर रात तक चंबल नदी में और ज्यादा पानी आने की संभावना है. ऐसे में पुलिस बल के साथ आर्मी के 60 जवान मौके पर रेस्क्यू ऑपरेशंस को अंजाम दे रहे हैं. वहीं हालातों का जायजा लेने चंबल कमिश्नर और आईजी चंबल रेंज भी मौके पर पहुंचे.

चंबल नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर
दरअसल भिंड जिला अब तक अपनी औसत बारिश से काफी पीछे है. बावजूद इसके अटेर इलाके में बाढ़ के हालात बने हैं. जिसका कारण चंबल नदी का जलस्तर बढ़ना है. यह पानी राजस्थान से चंबल नदी में छोड़ा जा रहा है. शनिवार को छोड़े गए राजस्थान के गांधी सागर और कोटा बैराज डैम से करीब 22 लाख क्यूसेक पानी का सरटर इलाके में दिखाई दिया. जहां चंबल नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर बह रहा है.

हालातों का कमिश्रर और आईजी ने लिया जायजा
कलेक्टर के मुताबिक रात के वक्त यह पानी करीब 129 मीटर के लेवल को पार कर सकता है. जो कि खतरे के निशान से करीब 7 मीटर ऊपर है. ऐसे में चंबल नदी का जलस्तर बढ़ने से करीब 20 गांव जिला मुख्यालय से कट गए हैं. अटेर के इन हालातों को देखते हुए जिला कलेक्टर एसपी समेत तमाम आला अधिकारी इलाके में मौजूद हैं. गांव-गांव पहुंचकर लोगों तक मदद भी पहुंचाई जा रही है. इन बाढ़ ग्रस्त इलाकों का दौरा करने और हालातों का जायजा लेने चंबल कमिश्नर रेनू तिवारी और चंबल आईजी डीपी गुप्ता भी मौके पर पहुंचे.

करीब 400 लोग अभी भी हैं बाढ़ में फंसे
बता दें कि बाढ़ ग्रस्त इलाकों से सुबह से करीब दो सौ से ज्यादा लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है. वहीं करीब 400 से ज्यादा लोग अभी भी फंसे हुए हैं, जिनके लिए रेस्क्यू ऑपरेशन चलाए जा रहे हैं .इसके साथ ही प्रशासन द्वारा राहत शिविरों में इन लोगों के लिए रुकने और खाने-पीने की व्यवस्था की गई है. आर्मी और प्रशासन को उम्मीद है कि समय रहते सभी को सुरक्षित स्थानों तक पहुंचा दिया जाएगा.

भिंड। राजस्थान के कोटा बैराज डैम से 6लाख क्यूसेक और गांधी सागर डैम से 16लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने से भिंड में बाढ़ के हालात बने हैं. अटेर इलाके के चंबल किनारे बसे करीब 20 गांव बाढ़ की चपेट में हैं. इन सभी गांव का जिला मुख्यालय से पूरी तरह संपर्क टूट चुका है. बाढ़ में फंसे लोगों को बचाने के लिए सेना रेस्क्यू ऑपरेशन चला रही है.

सेना चला रही रेस्क्यू ऑपरेशन

जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन के आला अधिकारी भी आर्मी और होमगार्ड टीमों के साथ मौके पर मौजूद हैं. जो लगातार बाढ़ में फंसे ग्रामीणों को निकालने और गांव खाली कराने का काम कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि देर रात तक चंबल नदी में और ज्यादा पानी आने की संभावना है. ऐसे में पुलिस बल के साथ आर्मी के 60 जवान मौके पर रेस्क्यू ऑपरेशंस को अंजाम दे रहे हैं. वहीं हालातों का जायजा लेने चंबल कमिश्नर और आईजी चंबल रेंज भी मौके पर पहुंचे.

चंबल नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर
दरअसल भिंड जिला अब तक अपनी औसत बारिश से काफी पीछे है. बावजूद इसके अटेर इलाके में बाढ़ के हालात बने हैं. जिसका कारण चंबल नदी का जलस्तर बढ़ना है. यह पानी राजस्थान से चंबल नदी में छोड़ा जा रहा है. शनिवार को छोड़े गए राजस्थान के गांधी सागर और कोटा बैराज डैम से करीब 22 लाख क्यूसेक पानी का सरटर इलाके में दिखाई दिया. जहां चंबल नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर बह रहा है.

हालातों का कमिश्रर और आईजी ने लिया जायजा
कलेक्टर के मुताबिक रात के वक्त यह पानी करीब 129 मीटर के लेवल को पार कर सकता है. जो कि खतरे के निशान से करीब 7 मीटर ऊपर है. ऐसे में चंबल नदी का जलस्तर बढ़ने से करीब 20 गांव जिला मुख्यालय से कट गए हैं. अटेर के इन हालातों को देखते हुए जिला कलेक्टर एसपी समेत तमाम आला अधिकारी इलाके में मौजूद हैं. गांव-गांव पहुंचकर लोगों तक मदद भी पहुंचाई जा रही है. इन बाढ़ ग्रस्त इलाकों का दौरा करने और हालातों का जायजा लेने चंबल कमिश्नर रेनू तिवारी और चंबल आईजी डीपी गुप्ता भी मौके पर पहुंचे.

करीब 400 लोग अभी भी हैं बाढ़ में फंसे
बता दें कि बाढ़ ग्रस्त इलाकों से सुबह से करीब दो सौ से ज्यादा लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है. वहीं करीब 400 से ज्यादा लोग अभी भी फंसे हुए हैं, जिनके लिए रेस्क्यू ऑपरेशन चलाए जा रहे हैं .इसके साथ ही प्रशासन द्वारा राहत शिविरों में इन लोगों के लिए रुकने और खाने-पीने की व्यवस्था की गई है. आर्मी और प्रशासन को उम्मीद है कि समय रहते सभी को सुरक्षित स्थानों तक पहुंचा दिया जाएगा.

Intro:राजस्थान के कोटा बैराज डैम से 600000 क्यूसेक और गांधी सागर डैम से 1600000 क्यूसेक पानी छोड़े जाने से भिंड जिले में बाढ़ के हालात बने हैं अटेर इलाके के चंबल किनारे बसे करीब 20 गांव बाढ़ की चपेट में हैं इन सभी गांव का जिला मुख्यालय से पूरी तरह संपर्क टूट चुका है हालात यह हैं कि लोगों को एक गांव से सुरक्षित निकालने के लिए सेना की मदद लेनी पड़ी है वहीं जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन के आला अधिकारी भी आर्मी और होमगार्ड टीमों के साथ मौके पर मौजूद हैं जो लगातार बाढ़ में फंसे ग्रामीणों को निकालने और गांव खाली कराने का काम कर रहे हैं बताया जा रहा है कि देर रात तक चंबल नदी में और ज्यादा पानी आने की संभावना है ऐसे में जिलेभर से पुलिस बल के साथ आर्मी के 60 जवान मौके पर रेस्क्यू ऑपरेशंस को अंजाम दे रहे हैं वहीं हालातों का जायजा लेने चंबल कमिश्नर और आईजी चंबल रेंज भी मौके पर पहुंचे


Body:दरअसल भिंड जिला अब तक अपनी औसत बारिश से काफी पीछे है बावजूद इसके जिले के अटेर इलाके में बाढ़ के हालात बने हैं जिसका कारण चंबल नदी का जलस्तर बढ़ना है यह पानी राजस्थान से चंबल नदी में छोड़ा जा रहा है शनिवार को छोड़े गए राजस्थान के गांधी सागर और कोटा बैराज डैम से करीब 22 लाख क्यूसेक पानी का सरटर इलाके में दिखाई दिया जहां चंबल नदी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर बह रहा है भिंड कलेक्टर के अनुसार रात के समय यह पानी करीब 129 मीटर के लेवल को पार कर सकता है जो कि खतरे के निशान से करीब 7 मीटर ऊपर है ऐसे में चंबल नदी का जलस्तर बढ़ने से करीब 20 गांव जिला मुख्यालय से कट गए हैं अटेर के इन हालातों को देखते हुए जिला कलेक्टर एसपी समेत तमाम आला अधिकारी इलाके में मौजूद हैं और लगातार होमगार्ड सुरेश की टीमों के साथ आर्मी के 60 जवानों के दल बल की मदद से लोगों को डूब प्रभावित इलाकों से नाव के जरिए बाहर निकाल रहे हैं इसके साथ ही लगातार गांव-गांव तक पहुंचकर लोगों तक मदद भी पहुंचाई जा रही है इन बाढ़ ग्रस्त इलाकों का दौरा करने और हालातों का जायजा लेने चंबल कमिश्नर रेनू तिवारी और चंबल आईजीडीपी गुप्ता भी मौके पर पहुंचे वही भिंड कलेक्टर छोटे सिंह ने बताया कि कई लोग ऐसे हैं जो गांव छोड़ने को तैयार नहीं है ऐसी स्थिति में इन लोगों को समझाएं और ना मानने पर फोर्सफुली इवेक्युएट किया जाएगा


Conclusion:बता दें कि बाढ़ ग्रस्त इलाकों से सुबह से करीब दो सौ से ज्यादा लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है वहीं करीब 400 से ज्यादा लोग अभी भी फंसे हुए हैं जिनके लिए रेस्क्यू ऑपरेशन चलाए जा रहे हैं इसके साथ ही प्रशासन द्वारा राहत शिविरों में इन लोगों के लिए रुकने और खाने-पीने की व्यवस्था की गई है आर्मी और प्रशासन को उम्मीद है कि समय रहते सभी को सुरक्षित स्थानों तक पहुंचा दिया जाएगा।

वॉक थ्रू- ऑपरेशन बेस

नोट- वॉक थ्रू में पूर्व विधायक हेमंत कटारे और भिंड कलेक्टर छोटे सिंह से बातचीत भी शामिल है)
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