बैतूल। एक दिन में सर्वाधिक बिजली की डिमांड का नया रिकॉर्ड मध्य प्रदेश के इतिहास में दर्ज हो गया है. मंगलवार को प्रदेश में सर्वाधिक 15083 मेगावाट बिजली की मांग रही. इससे पहले 4 दिसंबर को 14,856 मेगावाट और 3 फरवरी को 14,500 मेगावाट से अधिक बिजली की डिमांड रही थी. बिजली की अचानक मांग बढ़ने की वजह मौसम का साफ होना और इरीगेशन लोड बढ़ाना है.
मध्य प्रदेश पावर जनरेटिंग कंपनी के लिए अच्छी खबर
मध्य प्रदेश पावर जनरेटिंग कंपनी के लिए अच्छी खबर यह है कि इन दिनों जैनको से 3400 मेगावाट के आसपास बिजली उत्पादन हो रहा है. जबकि 1740 मेगावाट विद्युत उत्पादन क्षमता की 4 इकाइयां तकनीकी कारणों और कंपनी की गलत नीतियों के चलते बंद है. मध्य प्रदेश पावर जेनरेटिंग कंपनी की विद्युत उत्पादन क्षमता 5,400 मेगावाट है. फिलहाल जैनको के पास चारों पावर प्लांटों के यार्डों में लगभग 12 लाख 7 हजार मीट्रिक टन कोयले का भंडारण है. यह भंडारण आगामी दिनों में बिजली उत्पादन में सहायक होगा. दरअसल जनवरी और फरवरी माह में भी रिकॉर्ड बिजली की मांग रहने का अनुमान है.
कहां है कोयले का कितना भंडारण
घोड़ाडोंगरी तहसील के सतपुड़ा ताप गृह सारणी से 837 मेगावाट बिजली का उत्पादन हो रहा है, जबकि कोयले का भंडारण 2,71,000 मेट्रिक टन है. बिरसिंहपुर पावर प्लांट से 1201 मेगावाट उत्पादन हो रहा है. वहां कोल स्टॉक दो लाख 50 हजार मैट्रिक टन है. अमरकंटक ताप गृह से 211 मेगावाट उत्पादन हो रहा है, यहां 36 हजार मैट्रिक टन कोल स्टॉक है. श्री सिंगाजी पावर प्लांट खंडवा से 1166 मेगावाट उत्पादन हो रहा है और यहां छह लाख 50 हजार मैट्रिक टन कोयले का स्टॉक है.
पीआरओ ने दी जानकारी
घोड़ाडोंगरी तहसील के सतपुड़ा ताप गृह सारणी के पीआरओ अमित बंसोड़ ने बताया बिजली की मांग 15,000 मेगावाट से अधिक है. सतपुड़ा पावर प्लांट से 825 मेगावाट से अधिक विद्युत उत्पादन हो रहा है. यहां की आठ और नौ नंबर इकाई का कोयला श्री सिंगाजी पावर प्लांट खंडवा डायवर्ट किया गया है. यह दोनों इकाइयां बंद है.