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नर्मदा नदी में धड़ल्ले से अवैध रेत उत्खनन जारी, 5 मजदूरों की मौत के बाद भी नहीं खुली प्रशासन की नींद

रेत माफिया बरसात को देखते हुए अवैध रेत संग्रहण में धड़ल्ले से लगे हैं. इसका ताजा उदाहरण बसाहटों में आसानी से देखने को मिल जाएगा. वहीं गृहमंत्री बाला बच्चन इस तरह के संग्रहण को लेकर कड़ी कार्रवाई की बात कह रहे हैं.

अवैध रेत उत्खनन
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Published : Jun 24, 2019, 2:36 PM IST

बड़वानी। जिला प्रशासन की निष्क्रियता के चलते रेत माफियाओं के हौसले बुलंद हैं. नर्मदा नदी के किनारों को खोदकर पुनर्वास बसाहटों में जगह-जगह अवैध रेत भंडारण दिखाई दे रहा है. छोटा बड़दा में अवैध रेत उत्खनन के दौरान 5 मजदूरों की मौत के बाद भी प्रशासन हरकत में नहीं आया है.

अवैध रेत उत्खनन


रेत माफियाओं ने अवैध खनन कर नर्मदा के किनारे खोखले कर दिए हैं. वहीं बारिश के दौरान पानी खदानों में भर जाएगा. इसके चलते रेत माफिया अवैध रेत उत्खनन कर उसका संग्रहण कर रहे हैं. छोटा बड़दा हादसे के बाद जिला मुख्यालय से सटे कल्याणपुरा और पेंड्रा बसाहटों में हर तरफ रेत के छोटे-बड़े ढेर दिखाई दिए. इस बारे में गृहमंत्री ने बताया कि कलेक्टर, एसपी और खनिज विभाग को लगातार इस बारे में बताने के बाद भी कार्रवाई नहीं हुई है. अवैध रेत उत्खनन करने वालो को छोड़ेंगे नहीं.


वहीं उन्होंने बताया कि बसाहटों में रेत का संग्रहण वैध है या अवैध है, इस बारे में सरकारी स्तर पर पता करते हैं. नई रेत नीति के तहत इस तरह के अवैध उत्खनन पर रोक लगेगी.

बड़वानी। जिला प्रशासन की निष्क्रियता के चलते रेत माफियाओं के हौसले बुलंद हैं. नर्मदा नदी के किनारों को खोदकर पुनर्वास बसाहटों में जगह-जगह अवैध रेत भंडारण दिखाई दे रहा है. छोटा बड़दा में अवैध रेत उत्खनन के दौरान 5 मजदूरों की मौत के बाद भी प्रशासन हरकत में नहीं आया है.

अवैध रेत उत्खनन


रेत माफियाओं ने अवैध खनन कर नर्मदा के किनारे खोखले कर दिए हैं. वहीं बारिश के दौरान पानी खदानों में भर जाएगा. इसके चलते रेत माफिया अवैध रेत उत्खनन कर उसका संग्रहण कर रहे हैं. छोटा बड़दा हादसे के बाद जिला मुख्यालय से सटे कल्याणपुरा और पेंड्रा बसाहटों में हर तरफ रेत के छोटे-बड़े ढेर दिखाई दिए. इस बारे में गृहमंत्री ने बताया कि कलेक्टर, एसपी और खनिज विभाग को लगातार इस बारे में बताने के बाद भी कार्रवाई नहीं हुई है. अवैध रेत उत्खनन करने वालो को छोड़ेंगे नहीं.


वहीं उन्होंने बताया कि बसाहटों में रेत का संग्रहण वैध है या अवैध है, इस बारे में सरकारी स्तर पर पता करते हैं. नई रेत नीति के तहत इस तरह के अवैध उत्खनन पर रोक लगेगी.

Intro:बड़वानी। जिला प्रशासन की निष्क्रियता के चलते रेत माफियाओं के हौसले बुलंद है , नर्मदा के किनारों को खोदकर पुनर्वास बसाहटों में जगह जगह अवैध रेत भंडारण दिखाई दे रही है। छोटा बड़दा जहा अवैध रेत उत्खनन के दौरान 5 मजदूरों की मौत के बाद भी प्रशासन हरकत में नही आया है । ईटीवी भारत ने ग्राउंड रिपोर्टिंग के तहत बसाहटों में अवैध रेत भंडारण की पड़ताल की तो वहाँ घरों के पीछे, नालो में बड़ी मात्रा में रेत के ढेर दिखाई दिए इस सबंध में प्रदेश के गृह एवं जेल मंत्री बाला बच्चन ने ईटीवी को बताया कि इस तरह संग्रहण नही होना चाहिए,छोटा बड़दा जैसी घटनाए नही होनी चाहिए।


Body:रेत माफियाओं ने अवैध खनन कर नर्मदा के किनारे खोखले कर दिए है वही बारिश के दौरान पानी खदानों में भर जाएगा इसके चलते रेत माफिया सक्रिय है और अवैध रेत उत्खनन कर उसका संग्रहण कर रहे है। छोटा बड़दा हादसे के बाद ईटीवी ने जिला मुख्यालय से सटे कल्याणपुरा व पेंड्रा बसाहटों में पड़ताल की तो हर तरफ बालू रेत के छोटे बड़े ढेर दिखाई दिए। इस बारे में गृहमंत्री ने बताया कि कलेक्टर , एसपी और खनिज विभाग को लगातार इस बारे में बताने के बाद भी कार्यवाही नही हुई है। अवैध रेत उत्खनन करने वालो को छोड़ेंगे नही वही बसाहटों में रेत का संग्रहण वैध है या अवैध है इस बारे में सरकारी स्तर पर पता करते है। नई रेत नीति के तहत इस तरह के अवैध उत्खनन पर रोक लगेगी, नई नीति के तहत सरकारी निर्माण कार्य,प्रधानमंत्री आवास योजना और अजा-अजजा वर्ग को निर्माण कार्यो में रेत मुफ्त में मिलेगी।


Conclusion:रेत माफिया बरसात को देखते हुए अवैध संग्रहण में धड़ल्ले से लगे है इसका ताजा उदाहरण बसाहटों में आसानी से देखने को मिल जाएगा वही गृहमंत्री इस तरह के संग्रहण को लेकर कड़ी कार्यवाही की बात कह रहे है।
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