ETV Bharat / city

कलेक्टर की जानकारी के बिना एक सप्ताह से बंद शराब दुकानें, राजस्व घाटे की प्रशासन को नहीं चिंता - ग्वालियर

आबकारी विभाग की एक कार्रवाई विवादों के घेरे में, पुरानी छावनी स्थित हाईवे की देसी और अंग्रेजी शराब की दुकानें पिछले एक सप्ताह से है बंद, राजस्व घाटे की प्रशासन को नहीं चिंता

शराब दुकान
author img

By

Published : Feb 10, 2019, 11:35 PM IST

ग्वालियर। शहर के आबकारी विभाग की एक कार्रवाई विवादों में घिर गई है. पुरानी छावनी स्थित हाईवे की देसी और अंग्रेजी शराब की दुकानें पिछले एक सप्ताह से बंद पड़ी हुई हैं. बीती 4 फरवरी की रात विभाग ने दुकान में छापेमार कार्रवाई कर पूरी शराब को लोडिंग वाहन में जब्त कर लिया, तभी से दुकान बंद है. जिला प्रशासन इस कार्रवाई से बेखबर है.

gwalior
शराब दुकान
undefined

जानकारी के अनुसार पुरानी छावनी की अंग्रेजी और देसी शराब की यह दुकानें किसी शैंकी गुप्ता के नाम से रजिस्टर्ड हैं. शैंकी पर कई महीनों से लाइसेंस फीस नहीं चुकाने का आरोप है. इस मामले में जब आबकारी विभाग से दुकानों के बंद करने के मामले में जानकारी ली गई, तो उन्होंने कुछ भी जानकारी देने से इनकार कर दिया. हालांकि विभाग ने जिला प्रशासन को शनिवार को एक रिपोर्ट सौंप दी.

शराब दुकान
undefined

वहीं दुकानों को सील नहीं किया गया है और ना ही दुकान को खुद विभाग संचालित कर रहा है. दुकान का रखा माल कहां गया इसे लेकर भी आबकारी विभाग कुछ बताने को तैयार नहीं है. जिला प्रशासन का कहना है कि अब इस मामले की जांच की जा रही है. साथ ही यह भी देखा जा रहा है कि असिस्टेंट कमिश्नर को दुकान बंद करने का अधिकार था या नहीं.

बता दें कि हर साल करोड़ों रुपए के ठेके के रूप में उठने वाली यह दुकानें बिना कलेक्टर की अनुमति के बंद नहीं की जा सकती हैं. यदि लाइसेंस धारी फीस जमा नहीं करता है तो विभाग कई बार खुद ही दुकानों का संचालन करता है, ताकि राजस्व का घाटा पूरा किया जा सके. इस मामले में पता चला है कि आबकारी विभाग ने जिला प्रशासन को बिना विश्वास में लिए दुकान बंद कर दी, जिससे अब तक लाखों रुपए के राजस्व का खामियाजा भुगतना पड़ा है.

undefined

ग्वालियर। शहर के आबकारी विभाग की एक कार्रवाई विवादों में घिर गई है. पुरानी छावनी स्थित हाईवे की देसी और अंग्रेजी शराब की दुकानें पिछले एक सप्ताह से बंद पड़ी हुई हैं. बीती 4 फरवरी की रात विभाग ने दुकान में छापेमार कार्रवाई कर पूरी शराब को लोडिंग वाहन में जब्त कर लिया, तभी से दुकान बंद है. जिला प्रशासन इस कार्रवाई से बेखबर है.

gwalior
शराब दुकान
undefined

जानकारी के अनुसार पुरानी छावनी की अंग्रेजी और देसी शराब की यह दुकानें किसी शैंकी गुप्ता के नाम से रजिस्टर्ड हैं. शैंकी पर कई महीनों से लाइसेंस फीस नहीं चुकाने का आरोप है. इस मामले में जब आबकारी विभाग से दुकानों के बंद करने के मामले में जानकारी ली गई, तो उन्होंने कुछ भी जानकारी देने से इनकार कर दिया. हालांकि विभाग ने जिला प्रशासन को शनिवार को एक रिपोर्ट सौंप दी.

शराब दुकान
undefined

वहीं दुकानों को सील नहीं किया गया है और ना ही दुकान को खुद विभाग संचालित कर रहा है. दुकान का रखा माल कहां गया इसे लेकर भी आबकारी विभाग कुछ बताने को तैयार नहीं है. जिला प्रशासन का कहना है कि अब इस मामले की जांच की जा रही है. साथ ही यह भी देखा जा रहा है कि असिस्टेंट कमिश्नर को दुकान बंद करने का अधिकार था या नहीं.

बता दें कि हर साल करोड़ों रुपए के ठेके के रूप में उठने वाली यह दुकानें बिना कलेक्टर की अनुमति के बंद नहीं की जा सकती हैं. यदि लाइसेंस धारी फीस जमा नहीं करता है तो विभाग कई बार खुद ही दुकानों का संचालन करता है, ताकि राजस्व का घाटा पूरा किया जा सके. इस मामले में पता चला है कि आबकारी विभाग ने जिला प्रशासन को बिना विश्वास में लिए दुकान बंद कर दी, जिससे अब तक लाखों रुपए के राजस्व का खामियाजा भुगतना पड़ा है.

undefined
Intro:ग्वालियर
शहर के आबकारी विभाग की एक कार्रवाई विवादों में घिर गई है। पुरानी छावनी स्थित हाईवे की देसी और अंग्रेजी शराब की दुकानें पिछले एक सप्ताह से बंद पड़ी हुई है। 4 फरवरी की रात को एक्साइज विभाग ने दुकान में छापामार कार्रवाई कर पूरी शराब को लोडिंग वाहन में लेकर जप्त कर लिया तभी से दुकान बंद है। लेकिन जिला प्रशासन इस कार्रवाई से बेखबर है।


Body:खास बात यह है कि करोड़ों रुपए के हर साल ठेके के रूप में उठने वाली यह दुकाने बिना कलेक्टर की अनुमति के बंद नहीं की जा सकती है। यदि लाइसेंस धारी अपनी फीस जमा नहीं करता है तो विभाग कई बार खुद ही दुकानों का संचालन करता है। ताकि राजस्व का घाटा पूरा किया जा सके। लेकिन इस मामले में पता चला है कि आबकारी विभाग ने जिला प्रशासन को विश्वास में ही नहीं लिया और दुकान बंद कर दी। इससे अब तक सरकार को लाखों रुपए के राजस्व का खामियाजा भुगतना पड़ा है। लेकिन दुकानों को सील नहीं किया गया है। और ना ही विभाग दुकान को खुद संचालित कर रहा है ।दुकान का रखा माल कहां गया इसे लेकर भी आबकारी विभाग कुछ बताने को तैयार नहीं है।


Conclusion:पता चला है कि पुरानी छावनी की अंग्रेजी और देसी शराब की यह दुकानें किसी शैंकी गुप्ता के नाम से रजिस्टर्ड है। शैंकी पर कई महीनों से लाइसेंस फीस नहीं चुकाने का आरोप है। इस मामले में जब आबकारी विभाग से दो दुकानों के बंद करने के मामले में जानकारी ली गई। तो उन्होंने कुछ भी जानकारी देने से इंकार कर दिया। लेकिन जिला प्रशासन को शनिवार को एक रिपोर्ट सौंप दी। जिला प्रशासन का कहना है कि अब इस मामले की जांच की जा रही है। साथ ही यह भी देखा जा रहा है कि असिस्टेंट कमिश्नर को दुकान बंद करने का अधिकार था या नहीं।
बाइट संदीप केरकेट्टा एडीएम ग्वालियर
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.