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लाउडस्पीकर विवाद में कूदे कमलनाथ कहा यह निजी मामला, इसे मुद्दा बनाना ठीक नहीं, दुरुपयोग होने पर हो कार्रवाई

कमलनाथ ने कहा कि लाउडस्पीकर एक निजी मामला है इसको मुद्दा बनाना ठीक नहीं है. लाउडस्पीकर से लोगों की भावनाएं जुड़ी हैं.

loudspeaker controversy
लाउड स्पीकर पब्लिक मेटर
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Published : Apr 30, 2022, 4:23 PM IST

भोपाल। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि लाउडस्पीकर एक निजी मामला है इसको मुद्दा बनाना ठीक नहीं है. लाउडस्पीकर से लोगों की भावनाएं जुड़ी हैं. हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि लाउडस्पीकर पर कोई भड़काने वाली सामाग्री का प्रसारण किया जा रहा है तो हो तो उस पर कार्रवाई जरूर होना चाहिए. कमलनाथ ने कहा कि लाउडस्पीकर का हर जगह उपयोग होता है. ऐसा नहीं किसी विशेष जगह ही इसका इस्तेमाल किया जाता हो, लेकिन इसका दुरुपयोग ना हो इससे मैं सहमत हूं. कमलनाथ ने यह बयान रवींद्र भवन में आयोजित दलित पिछड़ा वर्ग संगठन के एक कार्यक्रम में दिया है.

लाउड स्पीकर पब्लिक मेटर

देश में उठी लाउड स्पीकर पर प्रतिबंध की मांग: महाराष्ट्र में राज ठाकरे ने मस्जिद पर लाउड स्पीकर से अजान बंद किए जाने जो मुद्दा शुरू किया था उसे देश भऱ में समर्थन मिला. जिसके बाद दूसरे राज्यों में इसी तरह की मांग उठी है. मस्जिदों में लाउड स्पीकर का उपयोग बंद नहीं होने पर हिंदू संगठनों ने हनुमान चालीसा पाठ का ऐलान किया था. इसके बाद उत्तर प्रदेश सरकार ने इसके उपयोग को लेकर कानून बना दिया था. मध्य प्रदेश में इसी तरह की कार्रवाई की सुगबुगाहट है. गृहमंत्रालय मध्य प्रदेश कोलाहल अधिनियम 1985 में संशोधन किए जाने पर विचार कर रहा है, गृहसचिव को इस बारे में निर्देश भी जारी किए गए हैं. माना जा रहा है कि लाउड स्पीकर की ध्वनि नियंत्रित करने के अलावा दुरुपयोग होने पर लाउड स्पीकर हटाए जाने का कानून बनाने को लेकर अधिनियम में संशोधन किया जा सकता है. कमलनाथ का बयान इसी सवाल के जबाव में था.

बिजली संकट से आंख मूंदे रही सरकार: कमलनाथ ने कहा कि आज पूरे प्रदेश में बिजली और कोयले का संकट है. उन्होंने कहा कि ये संकट को आज अचानक नहीं आया है, लेकिन सरकार की इससे निपटने को लेकर कोई तैयारी नहीं दिखाई देती. उन्होंने आरोप लगाया कि आज पूरे प्रदेश बिजली और कोयला संकट से परेशान चल रहा है. बिजली संकट से किसान परेशान है ,व्यापारी और छात्र परेशान हैं और भाजपा सरकार बिजली संकट में मजा ले रही है. उन्होंने कहा कि पिछले दो-तीन महीने से यह संकट दिख रहा था, लेकिन सरकार हमेशा इससे इनकार करती रही. इस संकट से निपटने को लेकर भाजपा सरकार ने कोई प्लानिंग नहीं की है. इसकी वजह है भ्रष्टाचार, बिना कमीशन के कोई सौदा नहीं होता.

हमारी छोड़े, अपनी चिंता करें भाजपा: नेता प्रतिपक्ष का पद छोड़े जाने के बाद आए भाजपा नेताओँ के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कमलनाथ ने कहा कि भाजपा अपने संगठन की चिंता करे, हमारी छोड़ दे. उन्होंने कहा कि मुझे चुनावी तैयारी में जुटना है इसलिए मैनें नेता प्रतिपक्ष का पद छोड़ा. इसे छोड़ने के लिए मैं 2 माह पहले ही हाईकमान को कह चुका था. मैं चाहता था कि ये जिम्मेदारी किसी और मिले ताकि मैं चुनाव पर ध्यान लगा सकूं. उन्होंने दावा किया कि कांग्रेस मिशन 2023 के लिए पूरी तरह तैयार है. कांग्रेस का हर नेता इस मिशन में सक्रिय भूमिका निभाएगा.

भोपाल। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि लाउडस्पीकर एक निजी मामला है इसको मुद्दा बनाना ठीक नहीं है. लाउडस्पीकर से लोगों की भावनाएं जुड़ी हैं. हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि लाउडस्पीकर पर कोई भड़काने वाली सामाग्री का प्रसारण किया जा रहा है तो हो तो उस पर कार्रवाई जरूर होना चाहिए. कमलनाथ ने कहा कि लाउडस्पीकर का हर जगह उपयोग होता है. ऐसा नहीं किसी विशेष जगह ही इसका इस्तेमाल किया जाता हो, लेकिन इसका दुरुपयोग ना हो इससे मैं सहमत हूं. कमलनाथ ने यह बयान रवींद्र भवन में आयोजित दलित पिछड़ा वर्ग संगठन के एक कार्यक्रम में दिया है.

लाउड स्पीकर पब्लिक मेटर

देश में उठी लाउड स्पीकर पर प्रतिबंध की मांग: महाराष्ट्र में राज ठाकरे ने मस्जिद पर लाउड स्पीकर से अजान बंद किए जाने जो मुद्दा शुरू किया था उसे देश भऱ में समर्थन मिला. जिसके बाद दूसरे राज्यों में इसी तरह की मांग उठी है. मस्जिदों में लाउड स्पीकर का उपयोग बंद नहीं होने पर हिंदू संगठनों ने हनुमान चालीसा पाठ का ऐलान किया था. इसके बाद उत्तर प्रदेश सरकार ने इसके उपयोग को लेकर कानून बना दिया था. मध्य प्रदेश में इसी तरह की कार्रवाई की सुगबुगाहट है. गृहमंत्रालय मध्य प्रदेश कोलाहल अधिनियम 1985 में संशोधन किए जाने पर विचार कर रहा है, गृहसचिव को इस बारे में निर्देश भी जारी किए गए हैं. माना जा रहा है कि लाउड स्पीकर की ध्वनि नियंत्रित करने के अलावा दुरुपयोग होने पर लाउड स्पीकर हटाए जाने का कानून बनाने को लेकर अधिनियम में संशोधन किया जा सकता है. कमलनाथ का बयान इसी सवाल के जबाव में था.

बिजली संकट से आंख मूंदे रही सरकार: कमलनाथ ने कहा कि आज पूरे प्रदेश में बिजली और कोयले का संकट है. उन्होंने कहा कि ये संकट को आज अचानक नहीं आया है, लेकिन सरकार की इससे निपटने को लेकर कोई तैयारी नहीं दिखाई देती. उन्होंने आरोप लगाया कि आज पूरे प्रदेश बिजली और कोयला संकट से परेशान चल रहा है. बिजली संकट से किसान परेशान है ,व्यापारी और छात्र परेशान हैं और भाजपा सरकार बिजली संकट में मजा ले रही है. उन्होंने कहा कि पिछले दो-तीन महीने से यह संकट दिख रहा था, लेकिन सरकार हमेशा इससे इनकार करती रही. इस संकट से निपटने को लेकर भाजपा सरकार ने कोई प्लानिंग नहीं की है. इसकी वजह है भ्रष्टाचार, बिना कमीशन के कोई सौदा नहीं होता.

हमारी छोड़े, अपनी चिंता करें भाजपा: नेता प्रतिपक्ष का पद छोड़े जाने के बाद आए भाजपा नेताओँ के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कमलनाथ ने कहा कि भाजपा अपने संगठन की चिंता करे, हमारी छोड़ दे. उन्होंने कहा कि मुझे चुनावी तैयारी में जुटना है इसलिए मैनें नेता प्रतिपक्ष का पद छोड़ा. इसे छोड़ने के लिए मैं 2 माह पहले ही हाईकमान को कह चुका था. मैं चाहता था कि ये जिम्मेदारी किसी और मिले ताकि मैं चुनाव पर ध्यान लगा सकूं. उन्होंने दावा किया कि कांग्रेस मिशन 2023 के लिए पूरी तरह तैयार है. कांग्रेस का हर नेता इस मिशन में सक्रिय भूमिका निभाएगा.

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