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नीट और जेईई परीक्षा पर रायशुमारी, 78.2% प्रतिशत युवाओं को परीक्षा टालने से दिक्कत नहीं

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Published : Aug 31, 2020, 5:00 PM IST

नीट और आईआईटी जेईई परीक्षा आयोजित करने को लेकर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने युवा डॉक्टरों और इंजीनियरों से राय मागी थी, जिसमें 1,87,730 लोगों ने हिस्सा लिया. 78.2% साफ कहा कि परीक्षाएं स्थगित करने से उन्हें समस्याएं नहीं होंगी, जबकि 20.6% लोगों ने कहा कि उन्हें समस्याएं होंगी. मुख्यमंत्री सोरेन के ट्विटर अकाउंट से 30 अगस्त को एक रायशुमारी शुरू की थी.

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छात्रों ने दी प्रतिक्रिया

रांची: नीट और आईआईटी जेईई परीक्षा आयोजित करने को लेकर केंद्र और राज्य सरकार में चल रही तनातनी के बीच मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के ओर से पूछे गए रायशुमारी में 78% युवाओं ने साफ तौर पर कहा है कि परीक्षाएं स्थगित करने से उन्हें कोई परेशानी नहीं होगी. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के ट्विटर एकाउंट से पूछे गए रायशुमारी में 1,87,730 लोगों ने हिस्सा लिया है. उनमें से 78.2% साफ कहा कि परीक्षाएं स्थगित करने से उन्हें समस्याएं नहीं होंगी, जबकि 20.6% लोगों ने कहा कि उन्हें समस्याएं होंगी. वहीं 1.1% वैसे लोग थे जिन्होंने पता नहीं का विकल्प चुना है.

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सीएम का ट्वीट
30 अगस्त को 2 बजे शुरू की गई थी रायशुमारीमुख्यमंत्री सोरेन के ट्विटर अकाउंट से 30 अगस्त को 2:00 बजे एक रायशुमारी शुरू की गई, जिसमें सीएम ने खासकर युवा डॉक्टरों और इंजीनियरों से इस संबंध में उनका फीडबैक पूछा था. 24 घंटे तक चली इस रायशुमारी के नतीजे में 26 हजार से अधिक रीट्वीट हुए, जबकि 31,000 से अधिक लोगों ने इसे पसंद किया और 7,500 से अधिक लोगों ने इस पर ट्वीट कर अपनी प्रतिक्रिया दी है.कुछ इस तरह की प्रतिक्रियाएं दी लोगों नेमुख्यमंत्री सोरेन की इस रायशुमारी में लोगों ने साफ तौर पर कहा कि परीक्षा स्थगित करने से समस्याएं नहीं होंगी, बल्कि आयोजित करने से ज्यादा बढ़ेगी. उनमें से एक हर्षवर्धन सिंह ने ट्वीट कर लिखा है कि हजारों ऐसे परीक्षार्थी हैं जो कोविड-19 संक्रमण से ग्रसित हैं, ऐसे में वह एग्जाम में कैसे शामिल होंगे, वैसे छात्र न केवल अपनी समस्याएं बढ़ाएंगे बल्कि दूसरों के लिए भी इंफेक्शन का खतरा होगा, इसके अलावा बहुत सारे ऐसे छात्र हैं जो बाढ़ में फंसे हुए हैं ऐसे में वह अपने सेंटर तक तैर कर जाएंगे क्या?


इसे भी पढ़ें:- मारवाड़ी कॉलेज में ऑनलाइन परीक्षा की तिथि जारी, 14 सितंबर से होगी परीक्षा


वहीं दानिश ने लिखा कि उनलोगों ने एडमिट कार्ड सिर्फ इसलिए डाउनलोड किया ताकि उन्हें जानकारी मिल सके, ऐसा नहीं है कि वह परीक्षा के लिए तैयार हैं. वही आदित्य शिंदे ने रायशुमारी में हिस्सा लेते हुए लिखा है कि हाल में ली गई कुछ परीक्षाओं में एसओपी भी फॉलो नहीं किया गया, इसके अलावा छात्रों को जो आश्वासन दिया गया था वह झूठा साबित हुआ, साथ ही आदित्य ने कुछ तस्वीरें भी शेयर की है, जिसमें सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ती साफ दिख रही है.



ये है अनुमानित आंकड़ा
एक अनुमानित आंकड़े के अनुसार झारखंड में जेईई के लगभग 22,000 से अधिक परीक्षार्थी हैं, जबकि इतने ही नीट के भी परीक्षार्थी हैं. वहीं अगर कोरोना संक्रमण की बात करें तो राज्य में अब तक 38,400 से अधिक लोग संक्रमित हो चुके हैं, जबकि 26,000 से अधिक स्वस्थ्य भी हो गए हैं. आंकड़ों के अनुसार राज्य में 11,500 से अधिक एक्टिव मरीज हैं.

रांची: नीट और आईआईटी जेईई परीक्षा आयोजित करने को लेकर केंद्र और राज्य सरकार में चल रही तनातनी के बीच मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के ओर से पूछे गए रायशुमारी में 78% युवाओं ने साफ तौर पर कहा है कि परीक्षाएं स्थगित करने से उन्हें कोई परेशानी नहीं होगी. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के ट्विटर एकाउंट से पूछे गए रायशुमारी में 1,87,730 लोगों ने हिस्सा लिया है. उनमें से 78.2% साफ कहा कि परीक्षाएं स्थगित करने से उन्हें समस्याएं नहीं होंगी, जबकि 20.6% लोगों ने कहा कि उन्हें समस्याएं होंगी. वहीं 1.1% वैसे लोग थे जिन्होंने पता नहीं का विकल्प चुना है.

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सीएम का ट्वीट
30 अगस्त को 2 बजे शुरू की गई थी रायशुमारीमुख्यमंत्री सोरेन के ट्विटर अकाउंट से 30 अगस्त को 2:00 बजे एक रायशुमारी शुरू की गई, जिसमें सीएम ने खासकर युवा डॉक्टरों और इंजीनियरों से इस संबंध में उनका फीडबैक पूछा था. 24 घंटे तक चली इस रायशुमारी के नतीजे में 26 हजार से अधिक रीट्वीट हुए, जबकि 31,000 से अधिक लोगों ने इसे पसंद किया और 7,500 से अधिक लोगों ने इस पर ट्वीट कर अपनी प्रतिक्रिया दी है.कुछ इस तरह की प्रतिक्रियाएं दी लोगों नेमुख्यमंत्री सोरेन की इस रायशुमारी में लोगों ने साफ तौर पर कहा कि परीक्षा स्थगित करने से समस्याएं नहीं होंगी, बल्कि आयोजित करने से ज्यादा बढ़ेगी. उनमें से एक हर्षवर्धन सिंह ने ट्वीट कर लिखा है कि हजारों ऐसे परीक्षार्थी हैं जो कोविड-19 संक्रमण से ग्रसित हैं, ऐसे में वह एग्जाम में कैसे शामिल होंगे, वैसे छात्र न केवल अपनी समस्याएं बढ़ाएंगे बल्कि दूसरों के लिए भी इंफेक्शन का खतरा होगा, इसके अलावा बहुत सारे ऐसे छात्र हैं जो बाढ़ में फंसे हुए हैं ऐसे में वह अपने सेंटर तक तैर कर जाएंगे क्या?


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वहीं दानिश ने लिखा कि उनलोगों ने एडमिट कार्ड सिर्फ इसलिए डाउनलोड किया ताकि उन्हें जानकारी मिल सके, ऐसा नहीं है कि वह परीक्षा के लिए तैयार हैं. वही आदित्य शिंदे ने रायशुमारी में हिस्सा लेते हुए लिखा है कि हाल में ली गई कुछ परीक्षाओं में एसओपी भी फॉलो नहीं किया गया, इसके अलावा छात्रों को जो आश्वासन दिया गया था वह झूठा साबित हुआ, साथ ही आदित्य ने कुछ तस्वीरें भी शेयर की है, जिसमें सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ती साफ दिख रही है.



ये है अनुमानित आंकड़ा
एक अनुमानित आंकड़े के अनुसार झारखंड में जेईई के लगभग 22,000 से अधिक परीक्षार्थी हैं, जबकि इतने ही नीट के भी परीक्षार्थी हैं. वहीं अगर कोरोना संक्रमण की बात करें तो राज्य में अब तक 38,400 से अधिक लोग संक्रमित हो चुके हैं, जबकि 26,000 से अधिक स्वस्थ्य भी हो गए हैं. आंकड़ों के अनुसार राज्य में 11,500 से अधिक एक्टिव मरीज हैं.

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