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रांची हिंसा मामला: एसआईटी की जांच तेज, डीसी, एसएसपी समेत कई अफसरों के बयान दर्ज

रांची हिंसा मामले में एसआईटी की जांच जारी है. मामले को लेकर एसआईटी ने डीसी, एसएसपी समेत कई अफसरों के बयान दर्ज किए गए हैं.

SIT regarding Ranchi violence case
SIT regarding Ranchi violence case
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Published : Jul 1, 2022, 11:17 AM IST

रांची: राजधानी रांची में 10 जून को हुए हिंसा मामले (Ranchi violence case) की जांच कर रही एसआईटी के समक्ष रांची डीसी, एसएसपी सहित कई अफसरों के बयान दर्ज कर लिए गए हैं. गौरतलब है कि रांची में 10 जून को हुई हिंसा और गोलीबारी में हुई दो युवकों की मौत के बाद सरकार ने आपदा प्रबंधन विभाग के सचिव अमिताभ कौशल और एडीजी अभियान संजय आनंद लाठकर के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया था. दो सदस्यीय एसआईटी को एक सप्ताह में रिपोर्ट देनी थी लेकिन, एसआईटी ने सरकार से पूरी जांच करने के लिए एक माह का वक्त मांगा है.

इसे भी पढ़ें: रांची हिंसा मामला: 48 में से 20 FIR सोशल मीडिया ग्रुप पर, रिमांड पर लिए गए आरोपियों ने दी अहम जानकारी


अब तक 100 के बयान दर्ज: रांची में 10 जून को हिंसक प्रदर्शन के मामले में एसआईटी जांच कर रही है. अब तक इस मामले में रांची डीसी छविरंजन, एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा, सिटी एसपी अंशुमन कुमार समेत मौके पर तैनात सीओ स्तर के अधिकारी और थानेदारों का बयान दर्ज कर लिया है. अबतक की जांच में एसआईटी ने 100 से अधिक लोगों का बयान दर्ज किया है.

डीसी समेत अन्य अधिकारियों ने क्या बयान दिया: डीसी छविरंजन, एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा समेत अन्य लोगों ने डेली मार्केट थाने में दर्ज केस 17/22 के समर्थन में ही बयान दिया है. अफसरों ने बताया है कि 10 जून को प्रदर्शन के लिए किसी तरह की सूचना जिला प्रशासन को नहीं दी गई थी. ना ही किसी तरह की रैली निकालने की बात थी. जिला प्रशासन और पुलिस की टीमों ने प्रदर्शन के अंदेशे पर सुरक्षाबलों की प्रतिनियुक्ति की थी लेकिन, नमाज के बाद भीड़ अचानक उग्र हो गई. उग्र भीड़ में शामिल लोगों को पुलिस ने समझाने की कोशिश की, माइक से कई बार एनाउंस कर बताया गया कि उन्होंने नाजायज मजमा लगाया है लेकिन, भीड़ में शामिल लोग नहीं माने. मेन रोड में तीन धर्मस्थलों पर उपद्रवियों ने पथराव किया. वहीं हनुमान मंदिर के सामने भीड़ में शामिल अराजक तत्वों ने फायरिंग और पथराव किया. भीड़ को नियंत्रित करने के लिए दंडाधिकारी के आदेश पर नियंत्रित फायरिंग की गई.

थानेदारों ने बतायी हवाई फायरिंग की: घटना के वक्त मौके पर मौजूद थानेदारों ने बताया है कि उग्र भीड़ को नियंत्रित करने के लिए व दूसरी तरफ से फायरिंग होने पर भीड़ को तीतर बीतर करने के लिए हवाई फायरिंग की गई थी. एसआईटी को यह भी बताया गया है कि उपद्रव में डेली मार्केट थाना प्रभारी सहित कई पुलिसकर्मी भी जख्मी हुए थे.

रांची: राजधानी रांची में 10 जून को हुए हिंसा मामले (Ranchi violence case) की जांच कर रही एसआईटी के समक्ष रांची डीसी, एसएसपी सहित कई अफसरों के बयान दर्ज कर लिए गए हैं. गौरतलब है कि रांची में 10 जून को हुई हिंसा और गोलीबारी में हुई दो युवकों की मौत के बाद सरकार ने आपदा प्रबंधन विभाग के सचिव अमिताभ कौशल और एडीजी अभियान संजय आनंद लाठकर के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया था. दो सदस्यीय एसआईटी को एक सप्ताह में रिपोर्ट देनी थी लेकिन, एसआईटी ने सरकार से पूरी जांच करने के लिए एक माह का वक्त मांगा है.

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अब तक 100 के बयान दर्ज: रांची में 10 जून को हिंसक प्रदर्शन के मामले में एसआईटी जांच कर रही है. अब तक इस मामले में रांची डीसी छविरंजन, एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा, सिटी एसपी अंशुमन कुमार समेत मौके पर तैनात सीओ स्तर के अधिकारी और थानेदारों का बयान दर्ज कर लिया है. अबतक की जांच में एसआईटी ने 100 से अधिक लोगों का बयान दर्ज किया है.

डीसी समेत अन्य अधिकारियों ने क्या बयान दिया: डीसी छविरंजन, एसएसपी सुरेंद्र कुमार झा समेत अन्य लोगों ने डेली मार्केट थाने में दर्ज केस 17/22 के समर्थन में ही बयान दिया है. अफसरों ने बताया है कि 10 जून को प्रदर्शन के लिए किसी तरह की सूचना जिला प्रशासन को नहीं दी गई थी. ना ही किसी तरह की रैली निकालने की बात थी. जिला प्रशासन और पुलिस की टीमों ने प्रदर्शन के अंदेशे पर सुरक्षाबलों की प्रतिनियुक्ति की थी लेकिन, नमाज के बाद भीड़ अचानक उग्र हो गई. उग्र भीड़ में शामिल लोगों को पुलिस ने समझाने की कोशिश की, माइक से कई बार एनाउंस कर बताया गया कि उन्होंने नाजायज मजमा लगाया है लेकिन, भीड़ में शामिल लोग नहीं माने. मेन रोड में तीन धर्मस्थलों पर उपद्रवियों ने पथराव किया. वहीं हनुमान मंदिर के सामने भीड़ में शामिल अराजक तत्वों ने फायरिंग और पथराव किया. भीड़ को नियंत्रित करने के लिए दंडाधिकारी के आदेश पर नियंत्रित फायरिंग की गई.

थानेदारों ने बतायी हवाई फायरिंग की: घटना के वक्त मौके पर मौजूद थानेदारों ने बताया है कि उग्र भीड़ को नियंत्रित करने के लिए व दूसरी तरफ से फायरिंग होने पर भीड़ को तीतर बीतर करने के लिए हवाई फायरिंग की गई थी. एसआईटी को यह भी बताया गया है कि उपद्रव में डेली मार्केट थाना प्रभारी सहित कई पुलिसकर्मी भी जख्मी हुए थे.

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