कोडरमा: जिले में कौशल दीक्षांत समारोह का आयोजन किया गया. जिसमें प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना के तहत इमरजेंसी केयर सपोर्ट की ट्रेनिंग ले चुके प्रशिक्षुओं के बीच सर्टिफिकेट वितरण (Certificate to Emergency Care Trainees) किया गया. इस दीक्षांत समारोह में बतौर मुख्य अतिथि सिविल सर्जन डॉक्टर अनिल कुमार मुख्य रूप से मौजूद थे. प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना के तहत कोरोना काल में तकरीबन 100 से ज्यादा प्रशिक्षुओं को इमरजेंसी केयर सपोर्ट की ट्रेनिंग दी गई थी, ताकि बिगड़ते हालात में अस्पताल पहुंचने वाले मरीजों को आपातकालीन सेवा मिल सके.
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सर्टिफिकेट पाकर उत्साहित दिखीं प्रशिक्षु छात्राएं: कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर में जब लोगों की जान जा रही थी और डॉक्टर के अलावा अस्पतालों में काम करने वाले नर्सिंग स्टाफ भी संक्रमित हो रहे थे. ऐसे में कौशल विकास योजना के तहत फ्रंटलाइन वर्कर के रूप में इन प्रशिक्षुओं को इमरजेंसी केयर की ट्रेनिंग दी गई. इन लोगों को 1 महीने की थ्योरी के साथ 3 महीने की प्रैक्टिकल ट्रेनिंग सदर अस्पताल में दी गई थी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन पर सर्टिफिकेट पाकर प्रशिक्षु छात्राएं उत्साहित नजर आईं और कोरोना काल में बिताए अपने अनुभव को साझा किया.
सिविल सर्जन डॉ अनिल कुमार ने की प्रशिक्षुओं की सराहना: सर्टिफिकेट वितरण को लेकर आयोजित दीक्षांत समारोह में बतौर मुख्य अतिथि जिले के सिविल सर्जन डॉ अनिल कुमार शामिल हुए. उन्होंने छात्राओं को ट्रेनिंग से जुड़े सर्टिफिकेट प्रदान किया और कोरोना काल में उनके द्वारा किए गए कार्यों की सराहना की. सर्जन डॉ अनिल कुमार ने कहा कि यह ट्रेनिंग स्वास्थ्य विभाग के लिए मील का पत्थर साबित होगा और एएनएम, नर्सिंग स्टाफ के पदों पर बहाल होकर इन प्रशिक्षुओं को रोजगार भी मिल सकेगा.
चार महीने की ट्रेनिंग पाकर प्रशिक्षुओं ने बचाई थी कई जानें: कौशल विकास योजना के तहत हर हाथ को कुशल बनाया जा रहा है, ताकि विपरीत परिस्थितियों से निपटने के लिए लोग तैयार रहे. कोरोना काल में जब लोग संक्रमित हो रहे थे, उस दौरान 4 महीने की ट्रेनिंग पाकर इन प्रशिक्षुओं ने कई लोगों की जान बचाई थी.