गिरिडीह: फरवरी माह में ही बाबूलाल मरांडी ने जेवीएम का विलय भाजपा में कर दिया. चूंकि गिरिडीह जिले का तिसरी प्रखंड में बाबूलाल का पैतृक निवास है ऐसे में जिले के लिए यह खबर सबसे महत्वपूर्ण रही.
9 जून की सुबह झझकोर देने वाली घटना सामने आयी. जिले के परसन ओपी क्षेत्र के पूरे खुर्द गांव में एक महिला व उसके तीन बच्चों की जलने से मौत हो गयी. मृतकों में इसी गांव की सोनिया देवी के अलावा सोनिया आठ वर्षीय पुत्र दिलीप कुमार यादव, पांच वर्षीय सुमन कुमारी व दस माह का एक पुत्र शामिल था. इस मामले की जांच डीआईजी ने की वहीं सीआईडी भी इस मामले की जांच कर चुकी थी.
1 जुलाई 2020 गिरिडीह जिला के लिए खुशखबरी लेकर आया. इस दिन यहां आदिवासी युवक नीरज मुर्मू को ब्रिटेन का प्रसिद्ध डायना अवार्ड मिला. नीरज को आदिवासी युवकों को स्कूल भेजने के लिए यह पुरस्कार दिया गया. नीरज तिसरी प्रखंड के दुलियाकरम गांव का रहनेवाला है. इससे पहले गावां की चम्पा को भी डायना अवार्ड मिल चुका है.
अगस्त माह में एक और खुशखबरी जिले के लोगों को मिली. इस बार गिरिडीह के तात्कालिक एसपी सुरेंद्र कुमार झा और एएसपी दीपक कुमार को पुलिस पदक का सम्मान मिला. यह सम्मान खून का एक कतरा बहाये बगैर एक साथ 15 नक्सलियों को पकड़ने के लिए दिया गया.
इस वर्ष नक्सली भी अपनी उपस्थिति दर्ज कराते रहे. जगह-जगह पोस्टर चिपकाया तो डुमरी व बिरनी प्रखंड में विकास को बाधित करने के लिए निर्माण कंपनी पर हमला बोलकर आगजनी भी की. हालांकि इस दौरान एसपी अमित रेणू के नेतृत्व में नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के कई कैडरों को गिरफ्तार भी किया.
भाजपा में अंदुरुनी कलह
गिरिडीह में भाजपा की अंदुरुनी कलह सामने आयी. दरअसल गिरिडीह जिलाध्यक्ष के पद पर महादेव दुबे को मनोनीत किया गया. मनोनयन के कई माह बाद तक संगठन का विस्तार नहीं किया गया. दिसम्बर में जैसे ही संगठन के पदाधिकारियों का मनोनयन हुआ वैसे ही विरोध के स्वर भी फूट पड़ा. जगह जगह कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन किया.
अत्याचार से लोगों की रक्षा करने का वचन देनेवाला थाना प्रभारी खुद ही यौन उत्पीड़न के आरोपों से जा घिरे. देवरी के थाना प्रभारी गौरव कुमार के खिलाफ एक युवती ने एफआईआर दर्ज करवायी और उसे गिरफ्तार भी करवाया.
सीसीएल गिरिडीह कोलियरी के लिए यह वर्ष परेशानियों से भरा रहा. एक ओर सीटीओ नहीं मिलने के कारण कबरीबाद माइंस का उत्पादन बाधित रहा. दूसरी तरफ गिरिडीह कोलियरी को ढोरी एरिया में मर्ज करने का प्रस्ताव भी पारित हो गया.
विदेशों में फंसे मजदूरों की वापसी
2020 में गिरिडीह के प्रवासी मजदूरों की परेशानी कम नहीं रही. मजदूरों के विदेशों में फंसने व काफी मशक्कत से वापसी का सिलसिला चलता रहा. इन सबों के बीच अफगानिस्तान में तालिबानियों के चंगुल में फंसे बगोदर के दो मजदूरों की घर वापसी की खबर सुखद देने वाली रही.
गिरिडीह के तिसरी व गांव इलाके में अभ्र्ख व कीमती पत्थर के अवैध खदानों में मौत का सिलसिला जारी रहा. मई माह में लोकाय नयनपुर थाना इलाके के डुब्बा व असनातरी गांव के जंगल में अवैध खनन के दौरान चार की मौत हो गयी. वहीं नवम्बर माह में भी गिरिडीह कोडरमा के बॉर्डर इलाके में चार की मौत हो गयी. इस तरह की कई घटना हुई जिसमें मजदूरों की मौत होती रही. इन घटनाओं के बावजूद माफियाओं की गिरफ्तारी व उसपर लगाम लगाने के लिए समुचित कदम नहीं उठाया गया.