गढ़वा : गढ़वा में किसान उत्पादक समूह की कृषि उत्पादन बाजार समिति गढ़वा के ट्रेडर्स के साथ बैठक हुई. इसमें गढ़वा के छोटे किसानों की कृषि लागत कम करने, उनके उत्पाद को बढ़ाने और उन्हें सीधे व्यापार से जोड़कर उनके उत्पाद को अधिक मूल्य दिलाने पर चर्चा की गई. बैठक में नाबार्ड और बाजार समिति के पदाधिकारियों ने किसान उत्पादक समूह (FPO) के डायरेक्टर्स और बाजार समिति गढ़वा के ट्रेडर्स को कई अहम सलाह दी. इस दौरान वक्ताओं ने किसानों व्यापारियों को eNAM के जरिये ही कारोबार करने के लिए भी प्रेरित किया.
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बता दें कि देशभर के छोटे और मझोले किसानों के विकास के लिए 10 हजार किसान उत्पादक समूह (FPO) बनाने का निर्णय लिया गया है. इसके तहत गढ़वा जिले में 6 एफपीओ का गठन किया गया है. एफपीओ में ऐसे किसानों को जोड़ा गया है जिनके पास खेती के लिए एक हेक्टेयर से भी कम जमीन है. ऐसे किसानों को कम लागत में खेती के लिए सस्ते दाम पर खाद, बीज उपलब्ध कराने और उनके उत्पाद का उचित मूल्य दिलाने की योजना है. इन किसानों को National Agriculture Market (eNAM) से जोड़कर उनके उत्पाद को ऑनलाइन बोली लगाने और मनचाहे दाम पर ऑनलाइन बिक्री में मदद के लिए यह बैठक की गई. नाबार्ड के डीडीएम लक्ष्मण कुमार ने कहा कि नाबार्ड के तहत गढ़वा जिले के गढ़वा, मझिआंव और मेराल में तीन एफपीओ का गठन किया गया है. एफपीओ किसानों की आर्थिक स्थिति बदलने में काफी हद तक मददगार साबित होंगे. अब उनके उत्पाद को उचित मूल्य मिल पाएगा. वहीं बाजार समिति के सचिव राहुल कुमार ने कहा कि गढ़वा बाजार समिति के व्यापारी दूसरे राज्यों से बड़े पैमाने पर सब्जी का व्यापार करते हैं. उन्हें बाजार समिति में काम करना है तो गढ़वा के किसानों के उत्पाद को प्राथमिकता के अधार पर लेना होगा.राहुल कुमार ने किसानों और व्यापारियों को ई-नाम के माध्यम ही से व्यापार करने की सलाह दी. ताकि किसानों को बाजार न जाना पड़े और व्यापारियों को भी उच्च गुणवत्ता का उत्पाद मिल सके. मझिआंव एफपीओ के डायरेक्टर आनंद मेहता ने कहा कि एफपीओ और ई-नाम से किसानों को काफी लाभ मिलेगा. किसानों के उत्पाद को उचित मूल्य मिलेगा. इससे किसानों की आर्थिक स्थिति सुधरेगी और कृषि उत्पाद की गुणवत्ता में भी सुधार होगा.