जमशेदपुर: अधिवक्ता सुधीर कुमार ने झारखंड उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश को एक अनुरोध पत्र लिखा है. जिसमें अधिवक्ता ने अनुरोध किया कि जमशेदपुर में श्रम न्यायालय रेलवे, अनुमंडल दंडाधिकारी न्यायालय (एसडीओ कोर्ट), बाल किशोर न्यायालय को जमशेदपुर व्यवहार न्यायालय परिसर में स्थानांतरित किया जाए. आपको बता दें कि उपरोक्त तीनों न्यायालय जमशेदपुर शहर में अलग-अलग क्षेत्र में स्थापित हैं. जिसके कारण संबंधित न्यायालय जाने में लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है.
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अलग-अलग जगह न्यायालय रहने से अधिवक्ताओं और पक्षकारों को हो रही परेशानीः अधिवक्ता सुधीर कुमार पप्पू ने मुख्य न्यायाधीश से पत्र के माध्यम से निवेदन किया है कि जमशेदपुर व्यवहार न्यायालय परिसर में श्रम न्यायालय रेलवे, अनुमंडल दंडाधिकारी न्यायालय (एसडीओ कोर्ट), बाल किशोर न्यायालय के नहीं होने से हम अधिवक्ताओं को और पक्षकारों को काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है. व्यवहार न्यायालय से रेलवे न्यायालय और बाल किशोर न्यायालय 10 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है. वहीं श्रम न्यायालय अब तक अनुमंडल दंडाधिकारी न्यायालय के पुराना व्यवहार न्यायालय परिसर में चल रहा है.
चारों न्यायालय एक ही परिसर में लाने का अनुरोधः उन्होंने लिखा है कि हम अधिवक्ताओं को और पक्षकारों को मुकदमे की पैरवी के लिए न्यायालय जाने में काफी परेशानी होती है. साथ ही बाल किशोर न्यायालय में अभी तक अस्थाई न्यायिक अधिकारी होने से मुकदमे की सुनवाई पूरी अवधि में नहीं होने से पक्षकारों को न्याय मिलने में देर होती है. हम अधिवक्ताओं को समय के अभाव के कारण उपरोक्त चारों न्यायालय जाने में अतिरिक्त आर्थिक बोझ उठाना पड़ता है. अधिवक्ता सुधीर कुमार ने मुख्य न्यायाधीश से आग्रह किया है कि अधिवक्ता और पक्षकारों की परेशानी को देखते हुए उपरोक्त चारों न्यायालय जमशेदपुर व्यवहार न्यायालय में लाने का कष्ट करें.