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पार्किंग विवाद में अधिवक्ता पर फायरिंग, रिटायर्ड जमादार हिरासत में

गिरिडीह में पार्किंग के मामूली विवाद को लेकर मारपीट के बाद फायरिंग हुई. फायरिंग में किसी को गोली नहीं लगी. घटना शहर के पंपू तालाब के समीप की है.

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Published : May 14, 2019, 3:37 AM IST

अधिवक्ता पर फायरिंग

गिरिडीह: जिले के पंपू तालाब के समीप पार्किंग के मामूली विवाद को लेकर मारपीट के बाद फायरिंग हुई. जिसमें बताया जा रहा कि अधिवक्ता सह पत्रकार अंजनी सिन्हा अपने वाहन का पार्किंग कर रहे थे. इसी दौरान एक रिटायर्ड जमादार से कहा सुनी हो गयी थी.

अधिवक्ता पर फायरिंग

जानकारी के मुताबिक पार्किंग को लेकर हुए हाथापाई के बाद अंजनी शहर के जेपी चौक के समीप पहुंचे. जहां पहले से रिटायर्ड जमादार के साथ उसका पुत्र आ धमका. इसी दौरान रिटायर्ड जमादार के हाथ में राइफल था और दोनों पिता पुत्र अधिवक्ता को जबरन उठाकर पंपू तालाब के पास ले गए जहां अधिवक्ता के साथ मारपीट की गई और रिटायर्ड जमादार द्वारा गोली भी चलायी गयी.

इधर इस मामले की जानकारी मिलते ही थाना प्रभारी आदिकान्त महतो मौके पर पहुंचे और आरोपी रिटायर्ड जमादार के साथ उसके पुत्र को हिरासत में लिया गया. राइफल को भी पुलिस जब्त कर लिया.

मामले की हो रही है जांच
थाना प्रभारी का कहना है कि रिटायर्ड जमादार मिथलेश को हिरासत में लिया गया है. जमादार के का व्यवहार देखकर लगता है कि वह नशे में हो सकता है. जमादार का मेडिकल चेकअप भी करवाया जाएगा. इस मामले में मिले आवेदन पर जांच की का रही है.

चुनाव में जमा नहीं करवाया था हथियार
इधर बताया जाता है जिस हथियार से रिटायर्ड जमादार ने फायरिंग की थी और वह हथियार लाइसेंसी है. आम चुनाव के समय ही हथियार को प्रशासन के पास जमा करवाना था. लेकिन जमादार ने हथियार जमा नहीं किया है. ऐसे में जानकारों का कहना है कि इस मामले में रिटायर्ड जमादार के खिलाफ आर्म्स एक्ट का भी मामला बन सकता है.

गिरिडीह: जिले के पंपू तालाब के समीप पार्किंग के मामूली विवाद को लेकर मारपीट के बाद फायरिंग हुई. जिसमें बताया जा रहा कि अधिवक्ता सह पत्रकार अंजनी सिन्हा अपने वाहन का पार्किंग कर रहे थे. इसी दौरान एक रिटायर्ड जमादार से कहा सुनी हो गयी थी.

अधिवक्ता पर फायरिंग

जानकारी के मुताबिक पार्किंग को लेकर हुए हाथापाई के बाद अंजनी शहर के जेपी चौक के समीप पहुंचे. जहां पहले से रिटायर्ड जमादार के साथ उसका पुत्र आ धमका. इसी दौरान रिटायर्ड जमादार के हाथ में राइफल था और दोनों पिता पुत्र अधिवक्ता को जबरन उठाकर पंपू तालाब के पास ले गए जहां अधिवक्ता के साथ मारपीट की गई और रिटायर्ड जमादार द्वारा गोली भी चलायी गयी.

इधर इस मामले की जानकारी मिलते ही थाना प्रभारी आदिकान्त महतो मौके पर पहुंचे और आरोपी रिटायर्ड जमादार के साथ उसके पुत्र को हिरासत में लिया गया. राइफल को भी पुलिस जब्त कर लिया.

मामले की हो रही है जांच
थाना प्रभारी का कहना है कि रिटायर्ड जमादार मिथलेश को हिरासत में लिया गया है. जमादार के का व्यवहार देखकर लगता है कि वह नशे में हो सकता है. जमादार का मेडिकल चेकअप भी करवाया जाएगा. इस मामले में मिले आवेदन पर जांच की का रही है.

चुनाव में जमा नहीं करवाया था हथियार
इधर बताया जाता है जिस हथियार से रिटायर्ड जमादार ने फायरिंग की थी और वह हथियार लाइसेंसी है. आम चुनाव के समय ही हथियार को प्रशासन के पास जमा करवाना था. लेकिन जमादार ने हथियार जमा नहीं किया है. ऐसे में जानकारों का कहना है कि इस मामले में रिटायर्ड जमादार के खिलाफ आर्म्स एक्ट का भी मामला बन सकता है.

Intro:गिरिडीह। पार्किंग के मामूली विवाद को लेकर हुई मारपीट के बाद फायरिंग हो गयी. फायरिंग में किसी को गोली नहीं लगी. घटना शहर के पंपू तालाब के समीप की है.


Body:बताया जाता है कि अधिवक्ता सह पत्रकार अंजनी सिन्हा अपने वाहन का पार्किंग कर रहे थे इसी दौरान एक रिटायर्ड जमादार से कहा सुनी हो गयी है. इस घटना के थोड़ी देर बाद जब अंजनी शहर के जेपी चौक के समीप पहुंचे तो वहां पर रिटायर्ड जमादार के साथ उसका पुत्र आ धमका. रिटायर्ड जमादार के हाथ मे राइफल था और दोनों पिता पुत्र अधिवक्ता को जबरन उठाकर पंपू तालाब के पास ले गए जहां अधिवक्ता के साथ मारपीट की गई और रिटायर्ड जमादार द्वारा गोली भी चलायी गयी. इधर इस मामले की जानकारी मिलते ही थाना प्रभारी आदिकान्त महतो पहुंचे और आरोपी रिटायर्ड जमादार के साथ उसके पुत्र को हिरासत में लिया गया. राइफल को भी पुलिस जब्त कर लिया.

मामले की हो रही है जांच: थाना प्रभारी
थाना प्रभारी का कहना है कि रिटायर्ड जमादार मिथलेश को हिरासत में लिया गया है. जमादार के का व्यवहार देखकर लगता है कि वह नशे में हो सकता है. जमादार का मेडिकल चेकअप भी करवाया जाएगा. इस मामले में मिले आवेदन पर जांच की का रही है.

चुनाव में जमा नहीं करवाया था हथियार
इधर बताया जाता है जिस हथियार से रिटायर्ड जमादार ने फायरिंग की थी वह हथियार लाइसेंसी है. आम चुनाव के समय ही हथियार को प्रशासन के पास जमा करवाना था लेकिन जमादार ने हथियार जमा नहीं किया है. ऐसे में जानकारों का कहना है कि इस मामले में रिटायर्ड जमादार के खिलाफ आर्म्स एक्ट का भी मामला बन सकता है.


Conclusion:नोट
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