रांची: लोक आस्था के महापर्व छठ पूजा को लेकर झारखंड सरकार की गाइडलाइन का चौतरफा विरोध किया जा रहा है. विपक्षी बीजेपी के साथ छठ पूजा समितियों ने लगातार विरोध किया है. इसी कड़ी में रांची के मोरहाबादी स्थित गांधी प्रतिमा के पास छठ पूजा समितियों ने धरना प्रदर्शन किया और सरकार की गाइडलाइन तुगलकी फरमान बताया.
उन्होंने कहा है कि तत्काल सरकार ने जारी निर्देश को वापस लिया जाए. छठ में भगवान सूर्य को अर्ध्य दिया जाता है. ऐसे में अर्द्ध तालाब और नदी में ही दिया जाता है उसे सरकार कैसे रह सकती है सरकार आखिर कैसे हिंदुओं के आस्थाओं को आघात पहुंचा सकती है.
सरकार के छठ पूजा को लेकर जारी गाइडलाइन का विरोध करते हुए उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को झारखंड मुक्ति मोर्चा और राष्ट्रीय जनता दल के नेताओं को घेरने का काम किया है. उनका मानना है कि जब बड़े-बड़े आयोजन राज्य में किए जा रहे हैं. यहां तक कि 2 उपचुनाव भी संपन्न कराया गया तो ऐसे में महामारी फैलने का डर नहीं था लेकिन जब धार्मिक आस्था की बात आई तो सरकार ने छठ पूजा को लेकर गाइडलाइन जारी किया है, यह बिल्कुल गलत है.
ये भी पढ़े- रांची एयरपोर्ट पर शाम 6 बजे तक फ्लाइट के लैंडिंग और टेक ऑफ पर रोक
झारखंड सरकार के छठ पूजा को लेकर जारी गाइडलाइन का तमाम पार्टियों ने विरोध किया है. गठबंधन में शामिल कांग्रेस, झारखंड मुक्ति मोर्चा ने भी पत्र लिखकर गाइडलाइन में संशोधन करने को लेकर मुख्यमंत्री से आग्रह किया है. वहीं, लगातार भाजपा और छठ पूजा समितियों ने विरोध किया है.