पलामू: खाना और पेंशन की आस में पलामू के राम प्रसाद पासवान की मौत गुरुवार को हो गई. यह घटना पलामू के छतरपुर नगर पंचायत क्षेत्र की है. पूरे मामले में सीएम हेमंत सोरेन ने संज्ञान लिया है और पलामू जिला प्रशासन को जांच कर परिवार को राहत पंहुचाने का निर्देश दिया है. करीब 81 वर्षीय राम प्रसाद पासवान को पिछले पांच वर्षों से वृद्धा अवस्था पेंशन का लाभ नहीं मिलता था. जबकि घर में सिर्फ एक वक्त का खाना बनता था. गुरुवार को प्रसाद पासवान की मौत हो गई.
मृतक की बेटी ने बताया कि घर के राशन को उनका भाई बेच देता था, जिस कारण घर मे अनाज का अभाव रहता था. उनके पिता पिछले कई दिनों से ठीक से खाना नहीं खा रहे थे जिसके कारण वह कमजोर हो गए और उनकी मौत हो गई. मृतक की बेटी का कहना है कि उनके पिता को पिछले पांच वर्षो से वृद्धावस्था का पेंशन का लाभ भी नहीं मिल रहा था. उन्होंने कई बार बैंक और सरकारी कार्यालयों के चक्कर भी लगाए लेकिन पेंशन चालू नहीं हो सका.
प्रसाद पासवान के परिजन इतने गरीबी हैं कि उनके पास अंतिम संस्कार के लिए भी पैसे नहीं थे. इसलिए आसपास के लोगों ने 10 हजार रुपये चंदा किया और परिजनों की मदद की. जानकारी के अनुसार मृतक के परिजनों को पीडीएस सिस्टम से प्रत्येक महीने राशन मिलता था. लेकिन मृतक का बेटा शराबी है और वह पीडीएस से मिले राशन को बेच कर शराब पी जाता था. पूरे मामले में एक्टिविस्ट अरविंद प्रताप ने सीएम हेमंत सोरेन को ट्वीट किया था जिसके बाद सीएम हेमंत सोरेन ने इस पर संज्ञान लेते हुए पलामू जिला प्रशासन को कार्रवाई करने का निर्देश दिया है.
सीएम के निर्देश मिलने के बाद छतरपुर के प्रखंड विकास पदाधिकारी अशोक कुमार और कार्यपालक पदाधिकारी परिजनों से पूरे मामले की जानकारी ली. प्रखंड विकास पदाधिकारी ने परिजनों को पांच हजार रुपये आर्थिक मदद की और 50 किलो अनाज दिया. छतरपुर के प्रखंड विकास पदाधिकारी अशोक कुमार ने बताया कि परिजनों को राशन मिल रहा था. पेंशन स्वीकृत था लेकिन फिंगर प्रिंट वेरिफाई नहीं होने के कारण नहीं मिल पा रहा था. प्रखंड विकास पदाधिकारी ने साफ किया कि यह भूख से मौत नहीं है. प्रसाद पासवान 81 वर्ष के वृद्ध थे और काफी दिनों से बीमार चल थे. बीमारी की हालत में उनका उचित देखभाल नहीं हो रहा था जिसकी वजह से उनकी मौत हुई.