शिमला: पहाड़ों की राजधानी शिमला में कोरोना वायरस को लेकर रोज नई-नई सावधानियां बरती जा रही हैं. कोरोना वायरस के चलते लोगों में भय का माहौल है. ऐसे में लोग मास्क, सेनिटाइजर का इस्तेमाल कर रहे हैं. कोरोना वायरस संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने, संक्रमित व्यक्ति के खांसने, छींकने से भी फैलता है. ऐसे में लोग मास्क का इस्तेमाल कर रहे हैं. बाजारों में मास्क की मांग भी लगातार बढ़ गई है.
मांग को पूरा करने के लिए कांडा जेल के कैदी मास्क बना रहा हैं. कैदियों के बनाए मास्क को शिमला में बेचा जा रहा है. जिला प्रशासन रेडक्रॉस के माध्यम से मास्क काउंटर लगाकर इन मास्क को वितरित कर रहा है. प्रशिक्षित कैदी डबल लेयर वाले मास्क तैयार कर रहे हैं. मास्क की कीमत मात्र 10 रुपए है. कंडा जेल के कैदियों को और अधिक मास्क तैयार करने का ऑर्डर दिया गया है. यहां से इन मास्क को दूसरे स्थानों पर भी बांटा जाएगा.
अधिकारियों का कहना है कि मास्क और सैनिटाइजर की कालाबाजारी करने वालों पर सख्ती से कार्रवाई की जाएगी. डिप्टी कमिश्नर अमित कश्यप ने बताया शिमला पर्यटन नगरी है. इसलिए यहां कोरोनो को लेकर काफी समय पहले ही प्रयास शुरु किए गए थे. पहली बैठक 3 फरवरी को ली गई थी. हमने इसमे किस तरह से आगे बढ़ना है यह तय किया था. इस विषय पर पूरी गंभीरता से काम किया जा रहा है. लोगों में जागरूकता के लिए प्रयास किए जा रहे हैं. स्वास्थ्य के लिहाज से जो आवश्यक कदम हैं उन्हे तत्काल उठाया जा रहा है.