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CM सुक्खू का अफसरों को आदेश, फोरलेन प्रभावितों को भू अधिग्रहण का समय पर दें मुआवजा - shimla news hindi

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने लोक निर्माण विभाग और भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ फोरलेन परियोजनाओं को लेकर बैठक की. इस दौरान उन्होंने अधिकारियों को जरूरी दिशा निर्देश जारी किए. उन्होंने कहा कि भू-अधिग्रहण के मुआवजे से संबंधित मामलों का समयबद्ध निस्तारण करने के लिए संबंधित जिला प्रशासन कदम उठाएं.(CM Sukhvinder Singh Sukhu) (Fourlane projects In Himachal)

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू
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Published : Feb 15, 2023, 8:36 PM IST

शिमला: मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि फोरलेन के लिए अधिग्रहित भूमि के प्रभावितों को एक समयबद्ध सीमा के भीतर मुआवजा दें. मुख्यमंत्री ने लोक निर्माण विभाग और भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ फोरलेन परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए ये निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं के लिए भू-अधिग्रहण के मुआवजे से संबंधित मामलों का समयबद्ध निस्तारण करने के लिए संबंधित जिला प्रशासन कदम उठाएं. राशि प्रदान करने में अनावश्यक देरी से लोगों को असुविधा का सामना करना पड़ता है.

सीएम सुक्खू ने अधिकारियों को दिए निर्देश: उन्होंने भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे इन सड़कों का निर्माण भविष्य की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए करें और सुरंगों और पुलों के निर्माण पर विशेष ध्यान केंद्रित करें. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सुचारू यातायात संचालन के लिए इन मार्गों में तंग गलियारों व मोड़ों में सुधार के भी निर्देश दिए. उन्होंने प्राधिकरण को विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार करने और निविदा प्रक्रिया की समय सीमा घटाने के भी निर्देश दिए ताकि परियोजना का कार्य शीघ्र प्रारंभ किया जा सके. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि सड़कें हिमाचल प्रदेश के लोगों की जीवन रेखाएं हैं क्योंकि यहां रेल और हवाई संपर्क सीमित स्तर पर ही उपलब्ध है. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार यात्रियों को विश्व स्तरीय सड़क ढांचा उपलब्ध करवाने की दिशा में कार्य कर रही है और इससे राज्य में आने वाले पर्यटकों को भी सुविधा होगी.

अधिकारियों के साथ फोरलेन परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री
अधिकारियों के साथ फोरलेन परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री

फोरलेन के कार्यों को तेज करने के दिए निर्देश: मुख्यमंत्री ने शिमला-मटौर, कीरतपुर-नेरचौक और मंडी-पठानकोट राष्ट्रीय राजमार्गों को फोरलेन मार्गों में स्तरोन्नत करने के कार्य को गति प्रदान करने के भी निर्देश दिए. सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि ऊना जिले में बिढ़ू से लठियाणी को जोड़ने के लिए गोबिंद सागर झील पर 900 करोड़ रुपये अनुमानित लागत से एक पुल का निर्माण किया जाएगा. जिसके लिए उन्होंने 25 फरवरी तक विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार करने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि नालागढ़ से स्वारघाट फोरलेन के विस्तारीकरण पर 600 करोड़ रुपये, कालाअम्ब-पावंटा साहिब-देहरादून फोरलेन के विस्तारीकरण पर 1200 करोड़ रुपये, राष्ट्रीय राजमार्ग-503 अम्ब से ऊना और पंजाब सीमा से नादौन तक राष्ट्रीय राजमार्ग-03 के फोरलेन विस्तारीकरण पर 1500 करोड़ रुपये और ऊना बाईपास के निर्माण पर अनुमानित 500 करोड़ रुपये व्यय किए जाएंगे. उन्होंने कहा कि 4700 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से प्रदेश में शीघ्र ही 178 किलोमीटर लंबी फोरलेनिंग परियोजनाओं का निर्माण किया जाएगा.

जलोड़ी दर्दे पर एप्रोच रोड के साथ दो लेन सुरंग बनेगी: मुख्यमंत्री ने कहा कि 750 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से जलोड़ी दर्रे पर एप्रोच रोड के साथ दो-लेन की सुरंग, 700 करोड़ रुपये की लागत से सैंज-लुहरी- जलोड़ी-बंजार-औट सड़क, 100 करोड़ रुपये की लागत से नाहन-सराहन-कुमारहट्टी सड़क पर नाहन शहर के लिए दो लेन की सुरंग, 700 करोड़ रुपये के परिव्यय से नाहन से कुमारहट्टी खंड-एनएच-907ए तक के दो लेन के सुधारीकरण और 300 करोड़ रुपये के परिव्यय से एनएच-154ए पंजाब सीमा से बनीखेत-चंबा-भरमौर सड़क के अपग्रेडेशन कार्य स्वीकृत भी मंजूर हो चुके हैं.

मुख्यमंत्री ने कहा कि एफआरए और एफसीए मामलों की समयबद्ध स्वीकृति सुनिश्चित करने के लिए राज्य सरकार ने संबंधित उपायुक्तों की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया है और डीएफओ और यूजर एजेंसी इसके सदस्य होंगे. लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह, मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव भरत खेड़ा, प्रमुख अभियंता लोक निर्माण अजय गुप्ता, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के क्षेत्रीय अधिकारी अब्दुल बासित तथा मंडी, शिमला, पालमपुर और हमीरपुर के परियोजना निदेशक एवं संबंधित जिलों के उपायुक्त वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक में शामिल हुए.

ये भी पढ़ें: 'हार जीत चलती रहती है मुकाबला कैसा रहा यह मायने रखता है'

शिमला: मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि फोरलेन के लिए अधिग्रहित भूमि के प्रभावितों को एक समयबद्ध सीमा के भीतर मुआवजा दें. मुख्यमंत्री ने लोक निर्माण विभाग और भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ फोरलेन परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए ये निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं के लिए भू-अधिग्रहण के मुआवजे से संबंधित मामलों का समयबद्ध निस्तारण करने के लिए संबंधित जिला प्रशासन कदम उठाएं. राशि प्रदान करने में अनावश्यक देरी से लोगों को असुविधा का सामना करना पड़ता है.

सीएम सुक्खू ने अधिकारियों को दिए निर्देश: उन्होंने भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे इन सड़कों का निर्माण भविष्य की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए करें और सुरंगों और पुलों के निर्माण पर विशेष ध्यान केंद्रित करें. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सुचारू यातायात संचालन के लिए इन मार्गों में तंग गलियारों व मोड़ों में सुधार के भी निर्देश दिए. उन्होंने प्राधिकरण को विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार करने और निविदा प्रक्रिया की समय सीमा घटाने के भी निर्देश दिए ताकि परियोजना का कार्य शीघ्र प्रारंभ किया जा सके. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि सड़कें हिमाचल प्रदेश के लोगों की जीवन रेखाएं हैं क्योंकि यहां रेल और हवाई संपर्क सीमित स्तर पर ही उपलब्ध है. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार यात्रियों को विश्व स्तरीय सड़क ढांचा उपलब्ध करवाने की दिशा में कार्य कर रही है और इससे राज्य में आने वाले पर्यटकों को भी सुविधा होगी.

अधिकारियों के साथ फोरलेन परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री
अधिकारियों के साथ फोरलेन परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री

फोरलेन के कार्यों को तेज करने के दिए निर्देश: मुख्यमंत्री ने शिमला-मटौर, कीरतपुर-नेरचौक और मंडी-पठानकोट राष्ट्रीय राजमार्गों को फोरलेन मार्गों में स्तरोन्नत करने के कार्य को गति प्रदान करने के भी निर्देश दिए. सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि ऊना जिले में बिढ़ू से लठियाणी को जोड़ने के लिए गोबिंद सागर झील पर 900 करोड़ रुपये अनुमानित लागत से एक पुल का निर्माण किया जाएगा. जिसके लिए उन्होंने 25 फरवरी तक विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार करने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि नालागढ़ से स्वारघाट फोरलेन के विस्तारीकरण पर 600 करोड़ रुपये, कालाअम्ब-पावंटा साहिब-देहरादून फोरलेन के विस्तारीकरण पर 1200 करोड़ रुपये, राष्ट्रीय राजमार्ग-503 अम्ब से ऊना और पंजाब सीमा से नादौन तक राष्ट्रीय राजमार्ग-03 के फोरलेन विस्तारीकरण पर 1500 करोड़ रुपये और ऊना बाईपास के निर्माण पर अनुमानित 500 करोड़ रुपये व्यय किए जाएंगे. उन्होंने कहा कि 4700 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से प्रदेश में शीघ्र ही 178 किलोमीटर लंबी फोरलेनिंग परियोजनाओं का निर्माण किया जाएगा.

जलोड़ी दर्दे पर एप्रोच रोड के साथ दो लेन सुरंग बनेगी: मुख्यमंत्री ने कहा कि 750 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से जलोड़ी दर्रे पर एप्रोच रोड के साथ दो-लेन की सुरंग, 700 करोड़ रुपये की लागत से सैंज-लुहरी- जलोड़ी-बंजार-औट सड़क, 100 करोड़ रुपये की लागत से नाहन-सराहन-कुमारहट्टी सड़क पर नाहन शहर के लिए दो लेन की सुरंग, 700 करोड़ रुपये के परिव्यय से नाहन से कुमारहट्टी खंड-एनएच-907ए तक के दो लेन के सुधारीकरण और 300 करोड़ रुपये के परिव्यय से एनएच-154ए पंजाब सीमा से बनीखेत-चंबा-भरमौर सड़क के अपग्रेडेशन कार्य स्वीकृत भी मंजूर हो चुके हैं.

मुख्यमंत्री ने कहा कि एफआरए और एफसीए मामलों की समयबद्ध स्वीकृति सुनिश्चित करने के लिए राज्य सरकार ने संबंधित उपायुक्तों की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया है और डीएफओ और यूजर एजेंसी इसके सदस्य होंगे. लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह, मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव भरत खेड़ा, प्रमुख अभियंता लोक निर्माण अजय गुप्ता, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के क्षेत्रीय अधिकारी अब्दुल बासित तथा मंडी, शिमला, पालमपुर और हमीरपुर के परियोजना निदेशक एवं संबंधित जिलों के उपायुक्त वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक में शामिल हुए.

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