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Himachal News: सीएम सुखविंदर सिंह का NHAI के अफसरों को निर्देश, कुल्लू दशहरे से पहले मंडी-मनाली हाईवे को करें बहाल

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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Aug 30, 2023, 3:00 PM IST

हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने NHAI अफसरों को निर्देश दिए कि अंतरराष्ट्रीय कुल्लू दशहरे से पहले मंडी-मनाली राजमार्ग को बहाल लिया जाए. वहीं, राज्य में तीन प्रमुख सुरंगों के निर्माण पर जोर दिया. पढ़ें पूरी खबर... (CM Sukhvinder Singh Sukhu) (CM Sukhu meeting with NHAI officials) (Himachal News).

CM Sukhvinder Singh Sukhu
हिमाचल आए NHAI के चेयरमैन संतोष यादव व अन्य अफसरों के साथ सीएम सुक्खू की मीटिंग.

शिमला: पीएमओ के निर्देश पर हिमाचल आए NHAI के चेयरमैन संतोष यादव व अन्य अफसरों ने राज्य में बरसात से सड़कों को हुए नुकसान का जायजा लिया. बाद में शिमला में सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के साथ मीटिंग के दौरान सभी हाईवे की बहाली पर चर्चा हुई. सीएम सुक्खू ने NHAI अफसरों को निर्देश दिए कि अंतरराष्ट्रीय कुल्लू दशहरे से पहले मंडी-मनाली राजमार्ग को बहाल लिया जाए. इसके अलावा राज्य के विभिन्न प्रोजेक्ट्स पर भी चर्चा हुई.

सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि आपदा के कारण मंडी-मनाली फोरलेन, विशेषकर पंडोह के पास कैंची मोड़ में सर्वाधिक प्रभावित हुआ है. CM ने निर्देश दिए कि बहाली कार्यों में और तेजी लाने के लिए इस फोरलेन के संवेदनशील बिंदुओं पर अतिरिक्त अधिकारियों को तैनात किया जाए. उन्होंने कहा कि समस्या के स्थाई समाधान के लिए आने वाले समय में मंडी जिले में कैंची मोड़ के नीचे सुरंग बनाने की संभावनाएं तलाशी जाएं. मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में सेब सीजन चल रहा है और किसानों की उपज को समय पर मंडियों तक पहुंचाना राज्य सरकार की प्राथमिकता है. उन्होंने कहा कि शीघ्र ही लाहौल क्षेत्र में आलू की फसल भी तैयार हो जाएगी और राष्ट्रीय राजमार्गों की समय पर बहाली के लिए उचित कदम उठाए जाने की आवश्यकता है.

सुरंगों के निर्माण पर फोक्स: सीएम सुक्खू ने राज्य में तीन प्रमुख सुरंगों के निर्माण पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि कांगड़ा और कुल्लू घाटी को जोड़ने के लिए घटासनी-शिल्ह-बुधाणी-भुभु जोत सुरंग का निर्माण किया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि यह सुरंग न केवल पर्यटन की दृष्टि से वरदान साबित होगी बल्कि इसका सामरिक महत्व भी है. इससे कांगड़ा से मनाली के बीच की दूरी लगभग 55 किलोमीटर कम हो जाएगी. उन्होंने यह भी कहा कि चंबा जिले में चुवाड़ी-चंबा सुरंग और भावा घाटी से पिन घाटी को जोड़ने वाली सुरंग राज्य के लिए सबसे महत्वपूर्ण हैं. ये सुरंगें सभी मौसमों में सड़क सम्पर्क बनाए रखने में सहायक होंगी.

मुख्यमंत्री ने कहा कि शिमला-मटौर फोरलेन परियोजना के निर्माण से प्रदेश के आठ जिलों को लाभ होगा. उन्होंने कहा कि सरकार ने हिमाचल में आने वाले पर्यटकों की संख्या प्रति वर्ष 5 करोड़ तक बढ़ाने का लक्ष्य रखा गया है. शिमला-मटौर फोरलेन परियोजना राज्य में पर्यटन गतिविधियों को बढ़ाने में महत्त्वपूर्ण साबित होगी. परवाणु-सोलन फोरलेन की चर्चा करते हुए सीएम ने कहा कि ढलानों में बेहतर स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए इनकी कटाई तकनीकी रूप से की जाए. उन्होंने कहा कि NHAI को राजमार्गों पर ड्रेनेज और क्रॉस ड्रेनेज का निर्माण कर पानी की उचित निकासी सुनिश्चित करनी चाहिए. उन्होंने बाढ़ के कारण सोलन जिले के बद्दी क्षेत्र में क्षतिग्रस्त हुए दो पुलों के जीर्णोद्धार में तेजी लाने के निर्देश दिए.

मुख्यमंत्री ने नालागढ़-भरतगढ़ सड़क को फोरलेन बनाने पर बल दिया, जो दो राष्ट्रीय राजमार्गों को जोड़ेगी. उन्होंने कहा कि पूरे पठानकोट-मंडी राष्ट्रीय राजमार्ग को फोरलेन बनाया जाना चाहिए क्योंकि टुकड़ों में इस राजमार्ग को फोरलेन बनाने से यातायात में समस्या होगी. भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अध्यक्ष संतोष कुमार यादव ने मुख्यमंत्री को आश्वासन दिया कि एनएचएआई जल्द से जल्द राष्ट्रीय राजमार्गों को स्थायी रूप से बहाल करने में पूरा प्रयास करेगा.

ये भी पढ़ें- Himachal High Court ने कहा हाउस वाइफ के काम को पैसों में नहीं तोल सकते, ट्रिब्यूनल ने दिया था ₹ 15,000 का मुआवजा, हाइकोर्ट ने 3.21 लाख किया

शिमला: पीएमओ के निर्देश पर हिमाचल आए NHAI के चेयरमैन संतोष यादव व अन्य अफसरों ने राज्य में बरसात से सड़कों को हुए नुकसान का जायजा लिया. बाद में शिमला में सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू के साथ मीटिंग के दौरान सभी हाईवे की बहाली पर चर्चा हुई. सीएम सुक्खू ने NHAI अफसरों को निर्देश दिए कि अंतरराष्ट्रीय कुल्लू दशहरे से पहले मंडी-मनाली राजमार्ग को बहाल लिया जाए. इसके अलावा राज्य के विभिन्न प्रोजेक्ट्स पर भी चर्चा हुई.

सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि आपदा के कारण मंडी-मनाली फोरलेन, विशेषकर पंडोह के पास कैंची मोड़ में सर्वाधिक प्रभावित हुआ है. CM ने निर्देश दिए कि बहाली कार्यों में और तेजी लाने के लिए इस फोरलेन के संवेदनशील बिंदुओं पर अतिरिक्त अधिकारियों को तैनात किया जाए. उन्होंने कहा कि समस्या के स्थाई समाधान के लिए आने वाले समय में मंडी जिले में कैंची मोड़ के नीचे सुरंग बनाने की संभावनाएं तलाशी जाएं. मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में सेब सीजन चल रहा है और किसानों की उपज को समय पर मंडियों तक पहुंचाना राज्य सरकार की प्राथमिकता है. उन्होंने कहा कि शीघ्र ही लाहौल क्षेत्र में आलू की फसल भी तैयार हो जाएगी और राष्ट्रीय राजमार्गों की समय पर बहाली के लिए उचित कदम उठाए जाने की आवश्यकता है.

सुरंगों के निर्माण पर फोक्स: सीएम सुक्खू ने राज्य में तीन प्रमुख सुरंगों के निर्माण पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि कांगड़ा और कुल्लू घाटी को जोड़ने के लिए घटासनी-शिल्ह-बुधाणी-भुभु जोत सुरंग का निर्माण किया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि यह सुरंग न केवल पर्यटन की दृष्टि से वरदान साबित होगी बल्कि इसका सामरिक महत्व भी है. इससे कांगड़ा से मनाली के बीच की दूरी लगभग 55 किलोमीटर कम हो जाएगी. उन्होंने यह भी कहा कि चंबा जिले में चुवाड़ी-चंबा सुरंग और भावा घाटी से पिन घाटी को जोड़ने वाली सुरंग राज्य के लिए सबसे महत्वपूर्ण हैं. ये सुरंगें सभी मौसमों में सड़क सम्पर्क बनाए रखने में सहायक होंगी.

मुख्यमंत्री ने कहा कि शिमला-मटौर फोरलेन परियोजना के निर्माण से प्रदेश के आठ जिलों को लाभ होगा. उन्होंने कहा कि सरकार ने हिमाचल में आने वाले पर्यटकों की संख्या प्रति वर्ष 5 करोड़ तक बढ़ाने का लक्ष्य रखा गया है. शिमला-मटौर फोरलेन परियोजना राज्य में पर्यटन गतिविधियों को बढ़ाने में महत्त्वपूर्ण साबित होगी. परवाणु-सोलन फोरलेन की चर्चा करते हुए सीएम ने कहा कि ढलानों में बेहतर स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए इनकी कटाई तकनीकी रूप से की जाए. उन्होंने कहा कि NHAI को राजमार्गों पर ड्रेनेज और क्रॉस ड्रेनेज का निर्माण कर पानी की उचित निकासी सुनिश्चित करनी चाहिए. उन्होंने बाढ़ के कारण सोलन जिले के बद्दी क्षेत्र में क्षतिग्रस्त हुए दो पुलों के जीर्णोद्धार में तेजी लाने के निर्देश दिए.

मुख्यमंत्री ने नालागढ़-भरतगढ़ सड़क को फोरलेन बनाने पर बल दिया, जो दो राष्ट्रीय राजमार्गों को जोड़ेगी. उन्होंने कहा कि पूरे पठानकोट-मंडी राष्ट्रीय राजमार्ग को फोरलेन बनाया जाना चाहिए क्योंकि टुकड़ों में इस राजमार्ग को फोरलेन बनाने से यातायात में समस्या होगी. भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अध्यक्ष संतोष कुमार यादव ने मुख्यमंत्री को आश्वासन दिया कि एनएचएआई जल्द से जल्द राष्ट्रीय राजमार्गों को स्थायी रूप से बहाल करने में पूरा प्रयास करेगा.

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