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करसोग अस्पताल में डॉक्टरों की कमी से गुस्साए लोग, आंदोलन की दी चेतावनी

सिविल अस्पताल करसोग में डॉक्टरों की भारी कमी को लेकर लोग अब सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतर गए हैं. शुक्रवार को लोगों ने सिविल अस्पताल करसोग के पास धरना प्रदर्शन कर अपनी नाराजगी जाहिर की. लोगों ने एसडीएम ऑफिस पहुंचकर मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा.

civil hospital karsog
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Published : Aug 30, 2019, 11:46 PM IST

करसोग: सिविल अस्पताल करसोग में डॉक्टरों की भारी कमी को लेकर लोग अब सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतर गए हैं. लोगों ने अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद भरने की मांग की है. लोगों ने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर अस्पताल में डॉक्टर्स के पद जल्द नहीं भरे गए तो करसोग की जनता एक बड़ा आंदोलन करेगी.

बता दें कि करसोग विधानसभा क्षेत्र की 1.25 लाख की आबादी के लिए ये केवल एक ही सिविल अस्पताल है, जहां दूरदराज और दुर्गम क्षेत्रों से लोग इलाज करवाने के लिए आते हैं. अस्पताल में डॉक्टरों के 11 पद खाली हैं. अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टर न होने से गरीब लोगों को इलाज के लिए जिला अस्पताल मंडी या आईजीएमसी शिमला जाना पड़ता है. वहीं, पिछले दिनों सरकार ने यहां से एक सीनियर डॉक्टर का भी तबादला कर दिया है, जिससे लोगों में काफी रोष पनप रहा है.

ये भी पढ़ें-सिरमौर में धड़ल्ले से हो अवैध रेत खनन, सरकार को लग रहा लाखों का चूना

सराहन वार्ड से जिला परिषद सदस्य श्याम सिंह चौहान ने कहा कि करसोग अस्पताल में रोजाना औसतन 500 मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं, इसमें मुश्किल से 250 मरीज की देखे जाते हैं बाकी सभी मरीजों को बिना दवाई लिखाए ही मंडी या फिर शिमला इलाज के लिए जाना पड़ता है. उन्होंने कहा कि अगर सरकार ने जल्द विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद नहीं भरे तो करसोग की जनता आने वाले दिनों में बड़ा आंदोलन करेगी और भूख हड़ताल पर बैठने से भी पीछे नहीं हटेगी.

वीडियो

चौहान ने कहा कि आज तक कभी अस्पताल की इतने खराब हालात नहीं देखे. जिस कारण अब यहां की जागरूक जनता, महिला मंडल व युवक मंडलों ने निर्णय लिया है कि जब तक सिविल अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद नहीं भरे जाते, तब तक ये सभी लोग अपना संघर्ष जारी रखेंगे.
एसडीएम करसोग सुरेंद्र कुमार ठाकुर का कहना है कि सिविल अस्पताल में डॉक्टरों की कमी को लेकर बड़ी संख्या में ग्रामीण ऑफिस आए और मुख्यमंत्री को एक ज्ञापन सौंपा, जिसे अब उपायुक्त के माध्यम से मुख्यमंत्री तक पहुंचाया जाएगा.

बता दें कि शुक्रवार को लोगों ने सिविल अस्पताल करसोग के पास धरना प्रदर्शन कर अपनी नाराजगी जाहिर की. लोगों ने एसडीएम ऑफिस पहुंचकर मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा.

ये भी पढ़ें-कारगर साबित होने लगा पीएम मोदी का ये अभियान, प्राचीन बावड़ी को बनाया आधुनिक

करसोग: सिविल अस्पताल करसोग में डॉक्टरों की भारी कमी को लेकर लोग अब सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतर गए हैं. लोगों ने अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद भरने की मांग की है. लोगों ने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर अस्पताल में डॉक्टर्स के पद जल्द नहीं भरे गए तो करसोग की जनता एक बड़ा आंदोलन करेगी.

बता दें कि करसोग विधानसभा क्षेत्र की 1.25 लाख की आबादी के लिए ये केवल एक ही सिविल अस्पताल है, जहां दूरदराज और दुर्गम क्षेत्रों से लोग इलाज करवाने के लिए आते हैं. अस्पताल में डॉक्टरों के 11 पद खाली हैं. अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टर न होने से गरीब लोगों को इलाज के लिए जिला अस्पताल मंडी या आईजीएमसी शिमला जाना पड़ता है. वहीं, पिछले दिनों सरकार ने यहां से एक सीनियर डॉक्टर का भी तबादला कर दिया है, जिससे लोगों में काफी रोष पनप रहा है.

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सराहन वार्ड से जिला परिषद सदस्य श्याम सिंह चौहान ने कहा कि करसोग अस्पताल में रोजाना औसतन 500 मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं, इसमें मुश्किल से 250 मरीज की देखे जाते हैं बाकी सभी मरीजों को बिना दवाई लिखाए ही मंडी या फिर शिमला इलाज के लिए जाना पड़ता है. उन्होंने कहा कि अगर सरकार ने जल्द विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद नहीं भरे तो करसोग की जनता आने वाले दिनों में बड़ा आंदोलन करेगी और भूख हड़ताल पर बैठने से भी पीछे नहीं हटेगी.

वीडियो

चौहान ने कहा कि आज तक कभी अस्पताल की इतने खराब हालात नहीं देखे. जिस कारण अब यहां की जागरूक जनता, महिला मंडल व युवक मंडलों ने निर्णय लिया है कि जब तक सिविल अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद नहीं भरे जाते, तब तक ये सभी लोग अपना संघर्ष जारी रखेंगे.
एसडीएम करसोग सुरेंद्र कुमार ठाकुर का कहना है कि सिविल अस्पताल में डॉक्टरों की कमी को लेकर बड़ी संख्या में ग्रामीण ऑफिस आए और मुख्यमंत्री को एक ज्ञापन सौंपा, जिसे अब उपायुक्त के माध्यम से मुख्यमंत्री तक पहुंचाया जाएगा.

बता दें कि शुक्रवार को लोगों ने सिविल अस्पताल करसोग के पास धरना प्रदर्शन कर अपनी नाराजगी जाहिर की. लोगों ने एसडीएम ऑफिस पहुंचकर मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा.

ये भी पढ़ें-कारगर साबित होने लगा पीएम मोदी का ये अभियान, प्राचीन बावड़ी को बनाया आधुनिक

Intro:लोगों ने अस्पताल के समीप धरना प्रदर्शन कर अपनी नाराजगी जाहिर की। इसके बाद यहां से लोग रैली निकाल कर एसडीएम ऑफिस पहुंचे और यहां मुख्यमंत्री के लिए ज्ञापन सौपा गया। जिसमें मुख्यमंत्री से विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद भरने की मांग की गई है।Body:डॉक्टरों की कमी पर सड़कों में उतरे लोग, यहां सरकार के खिलाफ जताई नारजगी
करसोग
करसोग सिविल अस्पताल में चल डॉक्टरों की भारी कमी को लेकर लोग अब सरकार के खिलाफ सड़कों में उतर गए हैं। शुक्रवार को लोगों ने अस्पताल के समीप धरना प्रदर्शन कर अपनी नाराजगी जाहिर की। इसके बाद यहां से लोग रैली निकाल कर एसडीएम ऑफिस पहुंचे और यहां मुख्यमंत्री के लिए ज्ञापन सौपा गया। जिसमें मुख्यमंत्री से विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद भरने की मांग की गई है। लोगों ने ये भी चेतावनी दी है कि अगर डॉक्टर के पद नहीं भरे गए तो करसोग की जनता एक बड़ा आंदोलन करेगी। करसोग विधानसभा क्षेत्र की 1.25 लाख की आबादी के लिए ये केवल एक मात्र सिविल हॉस्पिटल है। जहां दूरदराज और दुर्गम क्षेत्रों से लोग इस अस्पताल में इलाज के लिए आते हैं, लेकिन डॉक्टरों के 11 पद खाली होने और विशेषज्ञ डॉक्टर न होने से गरीब लोगों को इलाज के लिए जिला अस्पताल मंडी या फिर शिमला में स्थित आईजीएमसी अस्पताल जाना पड़ रहा है। यही नहीं डॉक्टरों की इतनी कमी होने के बाद भी सरकार ने यहां से एक सीनियर डॉक्टर का भी तबादला कर दिया। सरकार के इस निर्णय से जनता भड़क गई और लोगों ने सड़क पर उतर कर सरकार के प्रति अपनी नाराजगी जाहिर की।

अगर विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद नहीं भरे तो होगी भूख हड़ताल:
सराहन वार्ड से जिला परिषद सदस्य श्याम सिंह चौहान ने कहा कि अगर सरकार ने अब भी विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद नहीं भरे तो करसोग की जनता आने वाले दिनों में बड़ा आंदोलन करेगी। यहां तक कि जनता भूख हड़ताल पर बैठने से भी पीछे नही हटेगी। उन्होंने कहा कि करसोग अस्पताल में रोजाना औसतन 500 मरीज इलाज के लिए पहुंचते है। इसमें मुश्किल से 250 मरीज की देखे जाते हैं बाकी सभी मरीजों को बिना दवाई लिखाए ही मंडी या फिर शिमला इलाज के लिए जाना पड़ता है। इतनी खराब हालात आज तक इस अस्पताल के नहीं देखे। इसलिए यहां की जागरूक जनता, महिला मंडल व युवक मंडलों ने निर्णय लिया है कि जब तक सिविल अस्पताल में विशेषज्ञ डॉक्टरों के पद नहीं भरे जाते हैं, ये सभी लोग अपना संघर्ष जारी रखेंगे। इसके लिए लोग आंदोलन करेंगे और भूख हड़ताल पर बैठेंगे। उन्होंने कहा कि डॉक्टरों के पद भरने के लिए मुख्यमंत्री को एसडीएम के माध्यम से एक ज्ञापन भी सौंपा गया है।

उपयुक्त के माध्यम से मुख्यमंत्री भेजेगे ज्ञापन: एसडीएम
एसडीएम करसोग सुरेंद्र कुमार ठाकुर का कहना है कि सिविल अस्पताल भी डॉक्टरों की कमी है, इसको लेकर बड़ी संख्या में ग्रामीण ऑफिस आये और मुख्यमंत्री को एक ज्ञापन सौपा। जिसे अब उपायुक्त के माध्यम से मुख्यमंत्री तक पहुंचाया जाएगा।
Conclusion:एसडीएम करसोग सुरेंद्र कुमार ठाकुर का कहना है कि सिविल अस्पताल भी डॉक्टरों की कमी है, इसको लेकर बड़ी संख्या में ग्रामीण ऑफिस आये और मुख्यमंत्री को एक ज्ञापन सौपा। जिसे अब उपायुक्त के माध्यम से मुख्यमंत्री तक पहुंचाया जाएगा।
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