ETV Bharat / state

कुल्लू के मातृ शिशु खंड में हुए 1239 प्रसव और 219 सिजेरियन, अलग भवन मिलने से हुआ फायदा

कुल्लू क्षेत्रीय अस्पताल में बने मातृ शिशु खंड से मां और बच्चे दोनों को लाभ मिल रहा है. यहां पर पांच महीने पहले ही मातृ शिशु खंड अलग से बनाया गया था जिससे ओपीडी के साथ इंडोर मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है. (Mother Child Section in Kullu Regional Hospital) (Kullu Regional Hospital) (Separate Mother Child Section in Kullu Hospital)

Kullu Regional Hospital Mother Child Section
कुल्लू क्षेत्रीय अस्पताल मातृ शिशु खंड
author img

By

Published : Dec 16, 2022, 11:34 AM IST

कुल्लू: जिला कुल्लू के मुख्यालय ढालपुर के क्षेत्रीय अस्पताल कुल्लू में बने मातृ शिशु खंड (एमसीएच) को पांच महीने का समय हो चुका है. यहां पर ओपीडी के साथ इंडोर मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है. इससे पहले कुल्लू अस्पताल में 100 गर्भवती महिलाएं दाखिल होती थीं, जबकि अब 200 गर्भवती महिलाओं को उपचार और अन्य सुविधाएं मिल रही हैं. कुल्लू अस्पताल के मातृ शिशु ब्लॉक में गर्भवती महिलाओं, नवजात शिशुओं और बच्चों का उपचार करने के लिए अलग से एमसीएच का निर्माण किया गया है. अब तक मातृ शिशु खंड में 1239 प्रसव और 219 का सिजेरियन किए जा चुके हैं. (Mother Child Section in Kullu Regional Hospital) (Kullu Regional Hospital) (Separate Mother Child Section in Kullu Hospital)

गौरतलब है कि इसी साल जून माह के तीसरे सप्ताह में पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने इसका लोकार्पण किया था. इसके बाद यहां महिला मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है. अस्पताल में कुल्लू समेत लाहौल-स्पीति, चंबा और मंडी जिले के कुछ क्षेत्रों के मरीज उपचार करवाने पहुंचते हैं. वर्तमान समय में अस्पताल में दो गायनिक विशेषज्ञ गर्भवती महिलाओं का उपचार करने के लिए तैनात हैं. इस संबंध में गायनिक विशेषज्ञ डॉ. अनु ने कहा कि मातृ शिशु खंड अलग बनने के बाद से मरीजों की संख्या दोगुणा हुई है. ओपीडी और इंडोर में भर्ती मरीजों को बेहतर उपचार सुविधा प्रदान की जा रही है.

गर्भवती और नवजात बच्चों का हो रहा उपचार- मातृ शिशु खंड में गर्भवती और नवजात बच्चों का अलग से उपचार करने की व्यवस्था है. ओपीडी के साथ इस खंड में मरीजों को भर्ती करने की सुविधा भी है. अस्पताल में दो गायनिक विशेषज्ञ तैनात हैं.

माह प्रसव सिजेरियन
जून (20 के बाद) 150 24
जुलाई 169 14
अगस्त 217 59
सितंबर 239 65
अक्तूबर 248 36
नवंबर 216 63

ये भी पढ़ें: सर्दी के मौसम में ऐसे रखें छोटे बच्चों का ध्यान, बचाव को लेकर KNH अस्पताल ने की एडवाइजरी जारी

कुल्लू: जिला कुल्लू के मुख्यालय ढालपुर के क्षेत्रीय अस्पताल कुल्लू में बने मातृ शिशु खंड (एमसीएच) को पांच महीने का समय हो चुका है. यहां पर ओपीडी के साथ इंडोर मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है. इससे पहले कुल्लू अस्पताल में 100 गर्भवती महिलाएं दाखिल होती थीं, जबकि अब 200 गर्भवती महिलाओं को उपचार और अन्य सुविधाएं मिल रही हैं. कुल्लू अस्पताल के मातृ शिशु ब्लॉक में गर्भवती महिलाओं, नवजात शिशुओं और बच्चों का उपचार करने के लिए अलग से एमसीएच का निर्माण किया गया है. अब तक मातृ शिशु खंड में 1239 प्रसव और 219 का सिजेरियन किए जा चुके हैं. (Mother Child Section in Kullu Regional Hospital) (Kullu Regional Hospital) (Separate Mother Child Section in Kullu Hospital)

गौरतलब है कि इसी साल जून माह के तीसरे सप्ताह में पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने इसका लोकार्पण किया था. इसके बाद यहां महिला मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है. अस्पताल में कुल्लू समेत लाहौल-स्पीति, चंबा और मंडी जिले के कुछ क्षेत्रों के मरीज उपचार करवाने पहुंचते हैं. वर्तमान समय में अस्पताल में दो गायनिक विशेषज्ञ गर्भवती महिलाओं का उपचार करने के लिए तैनात हैं. इस संबंध में गायनिक विशेषज्ञ डॉ. अनु ने कहा कि मातृ शिशु खंड अलग बनने के बाद से मरीजों की संख्या दोगुणा हुई है. ओपीडी और इंडोर में भर्ती मरीजों को बेहतर उपचार सुविधा प्रदान की जा रही है.

गर्भवती और नवजात बच्चों का हो रहा उपचार- मातृ शिशु खंड में गर्भवती और नवजात बच्चों का अलग से उपचार करने की व्यवस्था है. ओपीडी के साथ इस खंड में मरीजों को भर्ती करने की सुविधा भी है. अस्पताल में दो गायनिक विशेषज्ञ तैनात हैं.

माह प्रसव सिजेरियन
जून (20 के बाद) 150 24
जुलाई 169 14
अगस्त 217 59
सितंबर 239 65
अक्तूबर 248 36
नवंबर 216 63

ये भी पढ़ें: सर्दी के मौसम में ऐसे रखें छोटे बच्चों का ध्यान, बचाव को लेकर KNH अस्पताल ने की एडवाइजरी जारी

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.