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कुल्लू: एक डॉक्टर के सहारे सैंज घाटी की 15 पंचायत के लोगों का स्वास्थ्य

सैंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में विशेषज्ञ डॉक्टरों और स्टाफ की खासी कमी है. ऐसे में मरीजों को उपचार करवाने में मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. स्वास्थ्य केंद्र एक डॉक्टर और चतुर्थ श्रेणी स्टाफ के सहारे चल रहा है. कुल्लू जिले की सैंज घाटी में 15 पंचायतों के करीब 25 हजार लोगों का स्वास्थ्य सामुदायिक केंद्र के सहारे ही है.

सैंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र
सैंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र
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Published : Dec 4, 2020, 2:22 PM IST

कुल्लू: बंजार के सैंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में इन दिनों स्वास्थ्य सेवाएं बदहाल हैं. स्वास्थ्य केंद्र में विशेषज्ञ डॉक्टरों और स्टाफ की खासी कमी है. ऐसे में मरीजों को उपचार करवाने में मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. इससे पहले सैंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में सेवाएं दे रहे एक डॉक्टर को स्थानांतरित किया गया. अब हाल ही में दो आउट सोर्स नर्सों की भी छुट्टी कर दी गई है.

लोगों में सरकार के प्रति रोष

ऐसे में स्वास्थ्य केंद्र एक डॉक्टर और चतुर्थ श्रेणी स्टाफ के सहारे चल रहा है. उपचार करवाने आए मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं नहीं मिल पा रही है. बीमारी की हालत में मरीजों को कई किलोमीटर दूर उपमंडल बंजार और कुल्लू का रुख करना पड़ रहा है, जिससे घाटी के लोगों में सरकार के प्रति रोष बना हुआ है.

लोगों का स्वास्थ्य इस केंद्र के भरोसे

बता दें कि कुल्लू जिले की सैंज घाटी में 15 पंचायतों के करीब 25 हजार लोगों का स्वास्थ्य सामुदायिक केंद्र के सहारे ही है. स्वास्थ्य केंद्र में स्वास्थ्य कर्मी ना होने से लोगों की स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं भी बढ़ गई है. हालांकि समिति के 11 दिनों के क्रमिक अनशन के बाद एक विशेषज्ञ डॉक्टर को नियुक्त किया गया था, लेकिन उसे भी कुछ समय में ही स्थानांतरित कर दिया गया.

वीडियो रिपोर्ट.

सरकार से की यह मांग

सैंज संयुक्त संघर्ष समिति के अध्यक्ष महेश शर्मा ने सरकार से स्वास्थ्य केंद्र को अपग्रेड करने और विशेषज्ञों को नियुक्त करने की मांग रखी है, जिससे सैंज की आबादी को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा मिल सके.

पढ़ें: सैंज में संदिग्ध परिस्थितियों में महिला की मौत, पिता ने दर्ज करवाया मामला

कुल्लू: बंजार के सैंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में इन दिनों स्वास्थ्य सेवाएं बदहाल हैं. स्वास्थ्य केंद्र में विशेषज्ञ डॉक्टरों और स्टाफ की खासी कमी है. ऐसे में मरीजों को उपचार करवाने में मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. इससे पहले सैंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में सेवाएं दे रहे एक डॉक्टर को स्थानांतरित किया गया. अब हाल ही में दो आउट सोर्स नर्सों की भी छुट्टी कर दी गई है.

लोगों में सरकार के प्रति रोष

ऐसे में स्वास्थ्य केंद्र एक डॉक्टर और चतुर्थ श्रेणी स्टाफ के सहारे चल रहा है. उपचार करवाने आए मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं नहीं मिल पा रही है. बीमारी की हालत में मरीजों को कई किलोमीटर दूर उपमंडल बंजार और कुल्लू का रुख करना पड़ रहा है, जिससे घाटी के लोगों में सरकार के प्रति रोष बना हुआ है.

लोगों का स्वास्थ्य इस केंद्र के भरोसे

बता दें कि कुल्लू जिले की सैंज घाटी में 15 पंचायतों के करीब 25 हजार लोगों का स्वास्थ्य सामुदायिक केंद्र के सहारे ही है. स्वास्थ्य केंद्र में स्वास्थ्य कर्मी ना होने से लोगों की स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं भी बढ़ गई है. हालांकि समिति के 11 दिनों के क्रमिक अनशन के बाद एक विशेषज्ञ डॉक्टर को नियुक्त किया गया था, लेकिन उसे भी कुछ समय में ही स्थानांतरित कर दिया गया.

वीडियो रिपोर्ट.

सरकार से की यह मांग

सैंज संयुक्त संघर्ष समिति के अध्यक्ष महेश शर्मा ने सरकार से स्वास्थ्य केंद्र को अपग्रेड करने और विशेषज्ञों को नियुक्त करने की मांग रखी है, जिससे सैंज की आबादी को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा मिल सके.

पढ़ें: सैंज में संदिग्ध परिस्थितियों में महिला की मौत, पिता ने दर्ज करवाया मामला

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