शिमला: राष्ट्रीय राजमार्ग 5 पर स्थित पर्यटन स्थल नारकण्डा में कारोड़ों की लागत से निर्मित अस्पताल में इन दिनों स्वास्थ्य सुविधाओं के साथ-साथ कर्मचारियों का टोंटा है. अस्पताल में कर्मचारी न होने की वजह से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है.
आलम ये है कि अस्पताल में एक्सरे मशीन के साथ अन्य टेस्ट की सुविधाएं तो सरकार ने दी है, लेकिन इनको चलाने के लिए कर्मचारी नियुक्त करना भूल गए. ऐसे में एक्सरे मशीन के बाहर ताला लग गया है और चेंकअप के लिए मरीज ठियोग और शिमला जा रहे हैं. पर्यटन स्थल नारकण्डा अपने आस पास की 9 पंचायतों के अलावा यहां से आने-जाने वाले लोगों का मुख्य केंद्र है, लेकिन अस्पताल में स्वास्थ्य सेवाओं से लोग वंचित हैं.
नारकण्डा के साथ लगती पंचायत सिंहल के प्रधान ने बताया कि लोगों को इलाज के लिए ठियोग ओर शिमला जाना पड़ता है. उन्होंने सरकार से मांग की है कि जल्द ही सरकार नारकण्डा की ओर ध्यान दे. जिससे स्थानीय पंचायत के लोगों के साथ पर्यटकों को भी स्वास्थ्य सेवाएं सही समय पर मिल सके. साथ ही कहा कि पर्यटन स्थल होने के कारण देश और दूसरे प्रदेशों के पर्यटक यहां घूमने आते हैं, लेकिन किसी भी आपातकाल के समय पर्यटकों को प्राथमिक उपचार नहीं मिलता है, तो प्रदेश की छवि खराब होती है.
बता दें कि नारकण्डा प्रदेश के मुख्य पर्यटन स्थलों में से एक है, जंहा विदेशों से भी सैलानी घूमने आते हैं. ऐसे में लोगों ने सरकार पर नारकण्डा की अनदेखी का आरोप लगाए है और जल्द ही नारकण्डा में बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं देने की मांग की है.