शिमलाः डीडीयू अस्पताल के कोविड स्टाफ का कहना है कि हॉस्पिटल स्टाफ को ठहरने की सुविधा का प्रावधान तक नहीं है. ऐसे में कोविड वार्ड में ड्यूटी दे रहे डॉक्टर, नर्स व चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी सहित अन्य स्टाफ को रात के समय में ठंड का भी सामना करना पड़ रहा है.
यहां अधिकारियों ने स्टाफ को ठहरने के निर्देश दिए हैं, लेकिन अस्पताल में स्टाफ को ठहरने की सारी सुविधाओं का प्रावधान स्वयं करना पड़ रहा है. इन दिनों स्टाफ के कुछ लोग अस्पताल में रह रहे हैं, उन्हें स्पेशल वार्ड के 11 कमरे दिए गए हैं. वहां पर न तो सफाई हो रही है और ना ही सोने की कोई व्यवस्था है.
हिटिंग सिस्टम की नहीं सुविधा
वहीं, अगर सारा स्टाफ वहां पर रहे तो 11 कमरे में कैसे ठहर पाएंगे. कमरों की भी कमी है, जिसके चलते कुछ स्टाफ घर चले जाते हैं. हैरानी की बात यह है कि यहां पर हिटिंग सिस्टम तक ऑन नहीं किए जा रहे हैं.
स्टाफ ने की प्रशासन से ये मांग
यहां तक प्रशासन द्वारा स्टाफ को यह भी बोला जा रहा है कि वे बस में न जाएं और अपने लिए गाड़ी का स्वयं इंतजाम करें. स्टाफ प्रशासन से मांग कर रहा है कि ठहरने के लिए सुविधा का प्रावधान करें, क्योंकि स्टाफ के परिवार वाले भी संक्रमित हो सकते हैं.
कोरोना मरीजों को हो रही पानी की दिक्कत
वार्ड में भर्ती मरीजों की पानी को लेकर भी शिकायतें आ रही हैं. मरीजों का कहना है कि उनको जो पानी दिया जा रहा है, उसका टेस्ट बिल्कुल खराब है. मरीजों को पानी कहां से दिया जा रहा है, इसको लेकर जांच होनी चाहिए. डीडीयू में पहले भी मरीजों की काफी शिकायतें आ रही थीं.
मरीजों को दिया जा रहा स्वच्छ व गर्म पानी
वहीं, एमएस डीडीयू रविंद्र मोक्टा का कहना है कि स्टाफ के लिए होटल में ठहरने की व्यवस्था कर दी गई है. उन्होंने कहा कि जिन लोगों को वहां पर ठहरना होगा, वह ठहर सकते हैं. इसके अलावा स्टाफ को अस्पताल में किसी भी प्रकार की कोई दिक्कतें नहीं आने दी जाएगी. उन्होंने कहा कि जहां तक मरीजों के लिए पानी की बात है, इस बीमारी में वैसे भी खाने व पानी का टेस्ट बिगड़ जाता है. मरीजों को स्वच्छ व गर्म पानी दिया जा रहा है.
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